जीजेयू में पीएचडी के छात्र ने प्रोफेसर के फर्जी हस्ताक्षर कर फैलोशिप हड़पने का किया प्रयास

जागरण संवाददाता हिसार जीजेयू में एक पीएचडी छात्र द्वारा आवेदन फार्म पर चेयरमैन के फर्जी ह

By JagranEdited By: Publish:Fri, 17 Jan 2020 02:37 AM (IST) Updated:Fri, 17 Jan 2020 06:18 AM (IST)
जीजेयू में पीएचडी के छात्र ने प्रोफेसर के फर्जी हस्ताक्षर कर फैलोशिप हड़पने का किया प्रयास
जीजेयू में पीएचडी के छात्र ने प्रोफेसर के फर्जी हस्ताक्षर कर फैलोशिप हड़पने का किया प्रयास

जागरण संवाददाता, हिसार: जीजेयू में एक पीएचडी छात्र द्वारा आवेदन फार्म पर चेयरमैन के फर्जी हस्ताक्षर कर फैलोशिप पाने के प्रयास का मामला सामने आया है। इस मामले में प्रोफेसर ने छात्र के खिलाफ शिकायत देकर उसका रजिस्ट्रेशन निरस्त करने की भी सिफारिश की है। जीजेयू में पीएचडी कर रहे एक छात्र ने 2016 में जेआरएफ के जरिये विश्वविद्यालय के एक विभाग के चेयरमैन के अंडर ही पीएचडी में दाखिला लिया था। लेकिन यह छात्र पहले वर्ष नियमित रूप से पीएचडी के पढ़ाई के लिए विश्वविद्यालय आता रहा और पीएचडी के लिए मिलने वाली फैलोशिप भी नियमित रूप से लेता रहा। लेकिन 4 अप्रैल 2019 से यह छात्र अधिकतर समय अनुपस्थित रहा। छात्र ने फैलोशिप लेने के लिए अपने मेंटर से आवेदन पर साइन करने के लिए कहा तो विभाग के चेयरमैन ने उसे मना कर दिया। लेकिन छात्र ने चेयरमैन के हस्ताक्षर व स्टाम्प को स्कैन करवाकर तथा विश्वविद्यालय के अधिकारियों से साइन करवाकर अकाउंट ब्रांच में भेज दिया।

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जुलाई तक किया आवेदन इसलिए पकड़ में आया

इस छात्र को आवेदन में मई तक की फैलोशिप के लिए आवेदन करना था, लेकिन उसने आवेदन में जुलाई तक की राशि का क्लेम कर दिया। जिससे अकाउंट ब्रांच की ओर से छात्र के आवेदन को वेरीफाई करने के लिए वापस विभाग को भेजा गया। चेयरमैन के पास जब मामला पहुंचा तो उनके पैरों तले से जमीन खिसक गई। उन्होंने कहा कि उन्होंने तो इस आवेदन पर साइन किए ही नहीं। मामला सामने आने के बाद विभाग के चेयरमैन ने मामले को विश्वविद्यालय प्रशासन को अवगत करवा दिया है तथा छात्र के पीएचडी रजिस्ट्रेशन को भी रद करने की मांग की गई। वहीं पिछले वर्ष छात्र द्वारा ली गई करीब 8 लाख की फैलोशिप को भी वापस लेने की मांग की गई। हालांकि विभाग की ओर से इस मामले को छुपाने का भी प्रयास किया गया है।

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यह मामला संज्ञान में नहीं है। लेकिन इस मामले का पता लगाया जाएगा और दोषी छात्र के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी। इस तरह का मामला पीएचडी स्तर पर आना विश्वविद्यालय के हित में नहीं है।

प्रो. हरभजन बंसल, रजिस्ट्रार, जीजेयू।

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इस मामले में मुझे अभी तक कोई शिकायत नहीं मिली है। अगर मामले में शिकायत मिलती है तो जो दोषी होगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इस तरह से फैलोशिप पाने का प्रयास गलत है।

प्रो. टंकेश्वर कुमार, कुलपति, जीजेयू।

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