जीजेयू में शुरू होगा अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षण केंद्र, HCS और IAS भी लेंगे ट्रेनिंग

केंद्र में एचसीएस आइएएस और प्रदेश के कई विभागों के कर्मचारी विश्वविद्यालय व कालेजों के अध्यापक और विभिन्न विभागो के अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया जा सकेगा।

By Manoj KumarEdited By: Publish:Mon, 17 Feb 2020 02:53 PM (IST) Updated:Mon, 17 Feb 2020 02:53 PM (IST)
जीजेयू में शुरू होगा अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षण केंद्र, HCS और IAS भी लेंगे ट्रेनिंग
जीजेयू में शुरू होगा अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षण केंद्र, HCS और IAS भी लेंगे ट्रेनिंग

हिसार [सुभाष चंद्र] जीजेयू (गुरु जंभेश्वर विश्वविद्यालय साइंस एंड टेक्नोलॉजी) में नए शैक्षणिक सत्र से अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षण केंद्र शुरू किया जाएगा। केंद्र में एचसीएस, आइएएस और प्रदेश के कई विभागों के कर्मचारी, विश्वविद्यालय व कालेजों के अध्यापक और विभिन्न विभागो के अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया जा सकेगा। प्रदेश सरकार की ओर से लंदन के किंग्‍सटन कालेज के साथ हुए समझौते के तहत इस प्रशिक्षण केंद्र को शुरू किया जा रहा है।

लंदन से करवाए जाएंगे ऑनलाइन कोर्स

जीजेयू के प्रशिक्षण केंद्र में लंदन के किंग्‍सटन कालेज की ओर से ऑनलाइन कोर्स भी करवाएं जाएंगे। कोर्सेज की रूपरेखा तैयार की जा रही है। गौरतलब है कि पिछले वर्ष जीजेयू कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने शिक्षा मंत्री व उच्चतर शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ लंदन का दौरा किया था। इस दौरान प्रदेश में शिक्षा प्रणाली में जरूरी बदलाव करने और शिक्षा की नई गतिविधियां बढ़ाने के लिए विभिन्न शिक्षण संस्थानों से एमओयू किए गए थे। इनमें यूनिवर्सिटी ऑफ नॉर्थम्पटन और लंदन विश्वविद्यालय के साथ भी एमओयू किया गया था। लंदन विश्वविद्यालय से कंप्यूटर साइंस, डाटा साइंस, साइबर साइंस को बढ़ावा देने के लिए भी एमओयू किया गया है। इसके जरिये वहां से शिक्षक यहां आकर प्रशिक्षण देंगे और यहां के विद्यार्थी लंदन विश्वविद्यालय में उपरोक्त विषयों पर रिसर्च कर सकेंगे। साथ ही व्यापक रूप से संयुक्त अनुसंधान कार्यक्रम और रिसर्च को बढ़ावा देने के लिए नए प्रोजेक्ट पर काम किया जाएगा।

---प्रशिक्षण केंद्र के लिए बजट की डिमांड की गई है। प्रशिक्षण केंद्र शुरू होने से जीजेयू का नाम भी प्रदेश में रोशन होगा। इससे जीजेयू के विद्यार्थियों को लंदन विश्वविद्यालय के शिक्षकों से प्रशिक्षण का अवसर मिलेगा और यहां के विद्यार्थी वहां जाकर पढ़ सकेंगे।

प्रो. टंकेश्वर कुमार, कुलपति, जीजेयू, हिसार।

मलेशिया की मलाका यूनिवर्सिटी में शोध कर सकेंगे जीजेयू के छात्र

जीजेयू के छात्र अब मलेशिया की मलाका टेक्निकल यूनिवर्सिटी में साइंस विषयों में शोध कर सकेंगे। एशिया की बेस्ट यूनिवर्सिटी में शुमार मलाका यूनिवर्सिटी से एमओयू (मैमोरेंडम ऑफ अंडरस्टेंङ्क्षडग) के लिए मलेशिया सरकार ने अनुमति दे दी है। इस संबंध में मलाका यूनिवर्सिटी के वीसी व डीन से पिछले वर्ष अप्रैल माह में जीजेयू के वीसी व डीन की बैठक हुई थी। जीजेयू व मलेशिया यूनिवर्सिटी के बीच यह एमओयू तीन साल के लिए किया जाएगा। एमओयू के तहत एजुकेशन टूर, इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस, वर्कशॉप आदि भी दोनों यूनिवर्सिटी मिलकर करवाएंगी। एमओयू के तहत दोनों यूनिवर्सिटी साइंस के विभिन्न विषयों से जुड़े कार्यक्रम आयोजित करेंगी। इनमें एक साल जीजेयू कार्यक्रमों की मेजबानी करेगी तो दूसरे साल मलेशिया यूनिवर्सिटी में कार्यक्रम आयोजित होंगे।

पीएचडी भी कर सकेंगे विद्यार्थी

जीजेयू के साइंस विद्यार्थी इस एमओयू के तहत मलेशिया यूनिवर्सिटी में साइंस विषयों में पीएचडी भी कर सकेंगे। इस एमओयू के तहत जीजेयू की साइंस फैकल्टी को भी मलेशिया जाने का मौका मिल सकेगा। वहीं जीजेयू के स्टूडेंट्स को मलेशिया के एक्सपर्ट प्रोफेसर से सीखने का मौका मिलेगा। जीजेयू में साइंस विषयों में फिजिक्स, केमिस्ट्री, बायो नैनो के विद्यार्थियों के लिए यह एमओयू होगा। वहां इंटर्नशिप, कॉमन पीएचडी प्रोग्राम, कॉन्फ्रेंस भी एमओयू के तहत संयुक्त रूप से होगी। वीसी प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कहा कि जल्द ही मलेशिया की मलाका यूनिवर्सिटी का दौरा कर एमओयू साइन किया जाएगा। इस एमओयू से जीजेयू और विद्यार्थियों को काफी लाभ होगा।

chat bot
आपका साथी