विदेश जाकर की कॉर वाशिग की जॉब, फिर निकाली अपनी एलबम
पंजाबी गायक एवं कलाकार जस्सी गिल पर गायकी का जुनून था लेकिन एलबम निकालने के लिए पैसे नहीं थे। इसी की ललक उनको विदेशों तक ले गई और वहां कार वाशिग की नौकरी कर रुपये इकट्ठा किए और अपनी पहली एलबम बैचमेट निकाली।
दीपक बहल, अंबाला
पंजाबी गायक एवं कलाकार जस्सी गिल पर गायकी का जुनून था, लेकिन एलबम निकालने के लिए पैसे नहीं थे। इसी की ललक उनको विदेशों तक ले गई और वहां कार वाशिग की नौकरी कर रुपये इकट्ठा किए और अपनी पहली एलबम बैचमेट निकाली। इसके बाद मुड़कर नहीं देखा, जिसके बाद गायिकी ही नहीं पंजाबी फिल्मों में कलाकारी के भी जौहर दिखाये। मूल रूप गांव जंडली, जिला खन्ना पंजाब के रहने वाले जस्सी गिल अंबाला में इंपीरियल ब्लू सुपरहिट नाइट्स कार्यक्रम के तहत अंबाला शहर में दैनिक जागरण से विशेष बातचीत कर रहे थे।
एक सवाल के जवाब जस्सी गिल ने कहा कि उनका सपना था कि विदेश में जाकर नौकरी करें और वहीं पर सेटल हो जाएं। लेकिन गायिकी का जुनून ऐसा सवार हुआ कि इसी रास्ते ने सफलता के द्वार खो दिए। उन्होंने बताया कि बारहवीं करने के बाद कॉलेज के फर्स्ट ईयर में म्यूजिक सब्जेक्ट लिया। इसलिए संगीत सुनने का शौक भी हो गया। फिर सोचा क्यों न मैं खुद भी इसी फील्ड में अपनी किस्मत आजमाऊं। इसके बाद टूरिस्ट वीजा पर विदेश जाकर नौकरी और इससे जो कमाई हुई, उससे अपनी पहली एलबम रिलीज की।
उन्होंने बताया कि पारिवारिक पृष्ठभूमि खेतीबाड़ी की रही और आर्थिक स्थिति ऐसी नहीं थी कि उनके लिए एलबम में पैसे लगाये जा सके। परिवार ने उन्हें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया और हर संघर्ष के लिए तैयार रहने को भी कहा। यही कारण है कि उनका हौसला कभी टूटा नहीं। पंजाब में फैले नशे के सवाल पर उन्होंने कहा कि ऐसा नही है कि सभी नशे करते हैं। लेकिन यह जरूर है कि नशा युवाओं को गर्त में ले जा रहा है। अपना विजन जब क्लीयर होगा तो ऐसे नशों की जरूरत ही नहीं पड़ेगी।