धान खरीद के दौरान किसानों और व्यापारियों को नहीं होगी दिक्कत
इस बार धान के सीजन में खरीद के दौरान किसानों और व्यापारियों को किसी प्रकार की दिक्कत नहीं आने दी जाएगी। खरीद के दौरान आने वाली सभी समस्याओं का समाधान सीजन शुरू होने से पहले करने के लिए अधिकारियों ने कमर कस ली है।
इस बार धान के सीजन में खरीद के दौरान किसानों और व्यापारियों को किसी प्रकार की दिक्कत नहीं आने दी जाएगी। खरीद के दौरान आने वाली सभी समस्याओं का समाधान सीजन शुरू होने से पहले करने के लिए अधिकारियों ने कमर कस ली है। बाकायदा सभी मंडियों में पहुंच कर व्यापारियों और आढ़तियों की बैठक ली जा रही हैं। इन्हीं बैठक में व्यापारियों और आढ़तियों की समस्याओं का पता लगा उनके समाधान की योजना तैयार की जा रही है। जिला खाद्य एवं आपूर्ति अधिकारी नरेंद्र सहरावत ने दैनिक जागरण के संवाददाता विनोद चौधरी साथ बातचीत में बताया कि धान की खरीद से लेकर उठान तक की समस्या को दूर करने पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। इतना ही नहीं किसानों को भी धान सुखाकर लाने के अपील की गई है, ताकि अनाज मंडी में किसान को परेशानी न हो। इतना ही नहीं इस सीजन में पिछले बार के मुकाबले 10 प्रतिशत अतिरिक्त धान मंडियों में पहुंचने की उम्मीद है। इसी बात को ध्यान में रखकर तैयारी को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
सीजन के दौरान उठान की समस्या सबसे गंभीर होती है, इसके समाधान के लिए क्या प्रबंध किए जाएंगे?
इस समस्या के समाधान के लिए आढ़तियों के साथ व्यापारियों से भी सुझाव लिए जा रहे हैं। इस बार किसी भी हालत में उठान को समस्या नहीं बनने दिया जाएगा। सुझाव आने के बाद ऐसी नीति लागू की जाएगी, जिससे खरीद के हिसाब से धान का उठान होगा। इस नीति के लागू होने पर उठान की समस्या नहीं आएगी।
हर बार खरीद शुरू होने तक मंडी में तैयारी पूरी नहीं हो पाती हैं। इस बार क्या योजना है?
इस बार योजना बनाई है कि सभी तैयारी खरीद शुरू होने से पहले मुक्कमल कर ली जाएंगी। इसके लिए अलग-अलग अधिकारियों की ड्यूटियां लगाई गई हैं। वह अपने अधीन मंडियों में सीजन से पहले-पहले तैयारी पूरी कराएंगे। अधिकारियों के लापरवाही बरतने पर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
अकसर खरीद शुरू होने पर बारदाने व समय पर भुगतान की समस्या रहती है। इसके लिए क्या योजना तैयार की गई है ?
इस बार यह समस्या नहीं आने दी जाएगी। अनाज मंडियों में ज्यादातर बारदाना पहुंचा दिया गया है। आप नई अनाज मंडी में जाकर देख सकते हैं। आढ़तियों के सामने ही शेड के नीचे बारदाने का स्टॉक लगा है। खरीद शुरू होते ही बारदाना बांट दिया जाएगा। ऐसा पहली बार हो रहा है कि अनाज मंडी में एक माह पहले ही बारदाना पहुंचा दिया गया हो। इसके अलावा भुगतान समय पर करने के लिए पूरी तैयारी कर ली गई है।
कई बार राइस मिलर सरकार का पूरा चावल जमा नहीं कराते, इससे सरकार का नुकसान होता है। इस पर रोक लगाने के लिए क्या योजना बनाई गई है?
धान खरीद के लिए विभाग ने एक नियम बनाया है। उस नियम के अनुसार ही मिलर को धान सप्लाई होता है और इसके बदले चावल देने होते हैं। इसके लिए समय-समय स्टॉक चेक किया जाता है। इसके लिए उनकी पूरी टीम सक्रिय रहेगी और समय-समय पर वह स्वयं भी राइस मिल में पहुंचकर स्टॉक की जांच करेंगे।