Gujarat: अहमदाबाद में दो वर्ष में केवल एक दिव्यांग को ही मिली नौकरी

Gujarat Government. दो वर्षों में अहमदाबाद के केवल एक दिव्यांग को ही नौकरी मिल पाई है। राज्य सरकार ने खुद इस बात को स्वीकार किया है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Publish:Sun, 08 Mar 2020 04:38 PM (IST) Updated:Sun, 08 Mar 2020 04:38 PM (IST)
Gujarat: अहमदाबाद में दो वर्ष में केवल एक दिव्यांग को ही मिली नौकरी
Gujarat: अहमदाबाद में दो वर्ष में केवल एक दिव्यांग को ही मिली नौकरी

अहमदाबाद, जेएनएन। Gujarat Government. गुजरात के श्रम व रोजगार कार्यालयों में कुल 607 दिव्यांगों ने अपना नाम दर्ज करवा कर रोजगार की मांग की है। इन दो वर्षों में अहमदाबाद के केवल एक दिव्यांग को ही नौकरी मिल पाई है। राज्य सरकार ने खुद इस बात को स्वीकार किया है। गुजरात विधानसभा में पूछे गए एक प्रश्न के उत्तर में श्रम और रोजगार मंत्री दिलीप कुमार ठाकोर ने यह जवाब दिया। इसमें कहा गया है कि अहमदाबाद में सर्वाधिक 130 दिव्यागों ने नौकरी के लिए अपना नाम दर्ज करवाया है।

श्रम व रोजगार मंत्री से पूछा गया था कि 31 दिसंबर, 2019 की स्थिति के अनुसार राज्य में गत दो वर्ष में कितने दिव्यांगों ने श्रम एवं रोजगार कार्यालयों में अपना नाम पंजीकृत करवाया और उनमें से सरकार ने कितनों को रोजगार मुहैया करवाया।

इस प्रश्न के उत्तर में श्रम व रोजगार मंत्री ठाकोर ने बताया कि राज्य के श्रम एंड रोजगार कार्यालयों में भावनगर में 21, सूरत में 39, कच्छ में 33, वडोदरा में 20, राजकोट में 44, बोटाद  में 2, अमरेली में 10, पाटण में 24, महेसाणा में 22, तापी में 3, साबरकांठा में 26, अरवल्ली में 11, बनासकांठा में 8, पोरबंदर में 17, जूनागढ़ में 20, भरूच में 10, गांधीनगर में 14, दाहोद में 7, जामनगर में 22, गीर सोमनाथ में 16, देवभूमि द्वारका में 1, मोरबी में 12, आणंद में 18, खेड़ा में 17, सुरेंद्रनगर मेंं 11 तथा छोटाउदयपुर में 5 दिव्यांग कुल 607 ने नौकरी के लिए अपना नाम पंजीकृत करवाया था। इनमें से अहमदाबाद के केवल एक दिव्यांग को ही नौकरी मिल पाई है।

गौरतलब है कि एक तरफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा गत चार वर्षों से दिव्यांगों के लिए एक्सेसिबल इंडिया अभियान चलाया जा रहा हैं। वहीं, राज्य की विजय रूपाणी सरकार इन्हें नौकरी या रोजगार देने में उत्साहित नहीं है। इस दौरान केवल एक दिव्यांग को ही नौकरी दी गई है। 

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