Rajasthan Chunav 2018ः अपनों को टिकट देने में भाजपा से आगे कांग्रेस

राजस्थान विधानसभा चुनाव में इस बार सत्तारूढ़ दल भाजपा और सत्ता तक पहुंचने की कोशिश में जुटी कांग्रेस में वंशवाद की जमकर लहर चली है।

By Preeti jhaEdited By: Publish:Mon, 19 Nov 2018 01:12 PM (IST) Updated:Mon, 19 Nov 2018 01:12 PM (IST)
Rajasthan Chunav 2018ः अपनों को टिकट देने में भाजपा से आगे कांग्रेस
Rajasthan Chunav 2018ः अपनों को टिकट देने में भाजपा से आगे कांग्रेस

जयपुर, नरेन्द्र शर्मा। राजस्थान विधानसभा चुनाव में इस बार सत्तारूढ़ दल भाजपा और सत्ता तक पहुंचने की कोशिश में जुटी कांग्रेस में वंशवाद की जमकर लहर चली। कांग्रेस ने नेताओं के रिश्तेदारों को 20 टिकट दिए है। वहीं कांग्रेस पर वंशवाद को लेकर लगातार हमला बोलने वाली भाजपा ने नेताओं के 16 रिश्तेदारों को मैदान में उतारा है। दोनों ही दलों ने परिवारवाद को बढ़ावा देने की सारी हदें ही पार कर दी है। उधर, कांग्रेस ने राज्य की 15 सीटों पर मुस्लिम उम्मीदवार मैदान में उतारे है,वहीं भाजपा ने एकमात्र केबिनेट मंत्री युनूस खान को टोंक से टिकट दिया है।

कांग्रेस ने 20 रिश्तेदारों को दिए टिकट

कांग्रेस ने पूर्व केन्द्रीय मंत्री अबरार अहमद के बेटे दानिश अबरार,पूर्व मंत्री महिपाल मदेरणा की बेटी दिव्या मदेरणा,पूर्व मंत्री नारायण सिंह के बेटे वीरेन्द्र चौधरी,मकबूल मंडेलिया के बेटे रफीक ,पूर्व मंत्री हीरालाल इंदौरा के बेटे कुलदीप,सहदेव शर्मा के बेटे प्रशांत,पूर्व सांसद द्वारका बैरवा के बेटे प्रशांत,पूर्व मंत्री गुलाब सिंह शक्तावत के बेटे गजेन्द्र सिंह,पूर्व मंत्री रामनारायण चौधरी की बेटी रीटा,पूर्व मंत्री गोविंद सिंह गुर्जर के भाई रामनारायण,पूर्व मंत्री खेमराज कटारा के बेटे विवेक,दिग्गज नेता शीशराम ओला के बेटे बृजेन्द्र ओला,पूर्व विधायक मलखान के बेटे महेन्द्र,पूर्व सांसद झुझार सिंह के बेटे भरत सिंह,पूर्व मंत्री भीखा भाई के बेटे सुरेन्द्र,पूर्व मंत्री डॉ.हरिसिंह के बेटे विधाधर,पूर्व विधायक दुर्गा प्रसाद अग्रवाल के बेटे राजेन्द्र,पूर्व मंत्री प्रधुम्न सिंह के बेटे विवेक,पूर्व विधायक रिछपाल मिर्धा के बेटे विजयपाल और कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव जुबेर खान की पत्नी साफिया को कांग्रेस ने टिकट दिया है। रिश्तेदारों को टिकट दिए जाने को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं के जबरदस्त नाराजगी है।

भाजपा ने इन रिश्तेदारों को बनाया प्रत्याशी

पूर्व मंत्री देवी सिंह भाटी की बहू पूनम कंवर को कोलायत से प्रत्याशी बनाया है। पूनम कभी घर से नहीं निकलीं इसलिए घूंघट उठाया नहीं। अब ससुर की जगह उन्हें टिकट मिल गया तो घर से निकलने की मजबूरी हो गई है, इसलिए घूंघट में ही निकलना पड़ रहा है। जिन नेताओं के रिश्तेदारों को टिकट दिया है उनमें स्व.सांवरलाल जाट के बेटे रामस्वरूप लांबा को नसीराबाद,कैलाश भंसाली के भतीजे अतुल भंसाली को जोधपुर शहर,विधायक गुर्जंट सिंह के पोते गुरबीर सिंह को टिकट दिया गया है।

पूर्व मंत्री स्व.दिगंबर सिंह के बेटे शैलेस को डीग-कुम्हेर,राज्यसभा सदस्य किरोड़ी लाल मीणा की पत्नी गोलमा देवी को सपोटरा,किरोड़ी लाल मीणा के भतीजे राजेन्द्र मीणा को महुआ,सुंदरलाल के बेटे कैलाश चन्द्र को पिलानी,केबिनेट मंत्री नंद लाल मीणा के बेटे हेमंत को डूंगरपुर,पूर्व विधायक धर्मपाल चौधरी बेटे मनजीत को मुंडावर,पूर्व सांसद कुंजी लाल मीणा के बेटा राजेंद्र मीणा को बामनवास,सांसद राहुल कस्वा के पिता रामसिंह को सादुलपुर से टिकट दिया गया है।

कांग्रेस ने 15 मुस्लिम को दिया टिकट,भाजपा से एकमात्र यूनुस खान

कांग्रेस ने 15 मुस्लिम नेताओं को मैदान में उतारा है। इनमें किशनपोल से अमीन कागजी,आदर्श नगर से रफीक,चुरू से रफीक मंडेलिया,पुष्कर से नसीम अख्तर,पोकरण से सालेह मोहम्मद,शिव से अमीन खां, सुरसागर से प्रो.अयुब ,नागौर से हबीबुर्रहमान,तिजारा से दुर्रू मिंया,लाडपुरा से गुलनाज,फतेहपुर से हाकम अली,कांमा से जाहिदा और रामगढ़ से साफिया जुबेर,सवाई माधोपुर से दानिश अबरार को प्रत्याशी बनाया है। वहीं भाजपा ने एकमात्र यूनुस खान को टोंक से टिकट दिया है। यूनुस खान वसुंधरा सरकार में केबिनेट मंत्री है ।  

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