छत्तीसगढ़ के चुनावी मैदान में जब मोदी और राहुल ने एक साथ भरी हुंकार

दोनों तरफ से आरोप-प्रत्यारोप के दौर चले, लेकिन इस बीच स्थानीय मुद्दों को लेकर कोई चर्चा सामने नहीं आई।

By Sandeep ChoureyEdited By: Publish:Sat, 10 Nov 2018 12:52 PM (IST) Updated:Sat, 10 Nov 2018 12:52 PM (IST)
छत्तीसगढ़ के चुनावी मैदान में जब मोदी और राहुल ने एक साथ भरी हुंकार
छत्तीसगढ़ के चुनावी मैदान में जब मोदी और राहुल ने एक साथ भरी हुंकार

रायपुर। छत्तीसगढ़ में प्रथम चरण के चुनाव के लिए मतदान सोमवार को होने वाला है। इसमें बस्तर और राजनांदगांव क्षेत्र की 18 विधानसभा सीटें शामिल हैं। प्रथम चरण के मतदान के पूर्व प्रचार-प्रसार अभियान के थमने से पहले छत्तीसगढ़ के चुनावी रण क्षेत्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी का आमना-सामना हुआ। दोनों तरफ से आरोप-प्रत्यारोप के दौर चले, लेकिन इस बीच स्थानीय मुद्दों को लेकर कोई चर्चा सामने नहीं आई।

दोनों नेताओं ने वही बातें कहीं, जो वे पहले से कहते आ रहे हैं। शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जगदलपुर पहुंचे थे। यहां उन्होंने कांग्रेस पर अर्बन माओवादियों का समर्थन करने का आरोप लगाया। उधर पखांजूद में जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि मोदी और डॉ रमन कुछ उद्योगपतियों को संरक्षण दे रहे हैं और सिर्फ उन्हें फायदा पहुंचाने के लिए योजनाएं चला रहे हैं।

दोनों अपने भाषण के दौरान जनता को यह बताते नजर आए कि विपक्षी दल की क्या कमजोरियां हैं। इन बातों में किसानों के मुद्दों, स्थानीय विकास की बातें और बुनियादी समस्याओं के निराकरण की नीतियों जैसी बातें कहीं भी सामने नहीं आईं। प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण के दौरान कहा कि जब तक केंद्र में कांग्रेस की सरकार थी, तब तक छत्तीसगढ़ की भाजपा सरकार की नीतियों को कमजोर करने का प्रयास किया जाता रहा। उन्होंने कहा कि अब चूंकि केंद्र की सरकार है इसलिए विकास का इंजन दोगुनी तेजी के साथ दौड़ रहा है।

उधर राहुल ने कहा कि केंद्र सरकार और राज्य सरकार मिलकर यहां की भोली भाली जनता को चूना लगा रही है। राहुल ने कहा कि छत्तीसगढ़ की भाजपा सरकार ने किसानों को सिर्फ धोखा दिया है। उनके हित में की गई घोषणाओं को कभी पूरा नहीं किया। राहुल ने घोषणा की कि यदि राज्य में कांग्रेस की सरकार बनती है तो धान का समर्थन मूल्य प्रति क्वींटल 2500 स्र्पये देंगे। उधर मोदी ने राहुल की बातों के विपरीत बताया कि राज्य में भाजपा की सरकार बनने के बाद किस तरह साल दर साल किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार आया है।

प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में स्वार्थपूर्ण राजनीति की बात उठाई। उन्होंने कहा कि पहले नेता सिर्फ व्यक्तिगत स्वार्थपूर्ति के लिए चुनाव लड़ते थे, लेकिन अब भाजपा के नेता जनहित में काम करने के लिए चुनाव लड़ रहे हैं। दूसरी तरफ राहुल का आरोप था कि भाजपा की सरकार पूरी तरह से स्वार्थपूर्ति में लिप्त है। वोट बैंक बढ़ाने के लिए मुफ्त के सामान बांटने की योजनाएं चला रहे हैं। स्थानीय मुद्दों को ताक पर रख कर नेता स्वार्थपूर्ति में लिप्त हैं।

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