शिक्षा क्षेत्र में जान फूंकने का मंत्र साबित हो रहा है सोशल मीडिया

अध्ययन में उच्च शिक्षा के मद्देनजर सोशल मीडिया छात्रों के साथ शिक्षकों के लिए लाभदायक साबित हुआ है।

By JP YadavEdited By: Publish:Fri, 30 Sep 2016 03:17 PM (IST) Updated:Mon, 03 Oct 2016 04:43 PM (IST)
शिक्षा क्षेत्र में जान फूंकने का मंत्र साबित हो रहा है सोशल मीडिया

नई दिल्ली (जेएनएन)। वर्तमान में मोबाइल फोन और इंटरनेट ने हमारे जीने के तरीके को पूरी तरह से बदलकर रख दिया है। हम चारों तरफ से मोबाइल और इंटरनेट से घिरे हुए हैं। वहीं, सोशल नटवर्किंग साइट्स ने तो जैसे हमारी पूरी दुनिया को ही बदल दिया है। यही वजह है कि मोबाइल फोन फेसबुक और इंटरनेट पर हमारी एक अलग ही दुनिया बन गई है। ऐसे में जाहिर तौर पर सोशल मीडिया का प्रभाव उच्च शिक्षा के मद्देनजर छात्र-छात्राओं पर भी पड़ रहा है। यह बात दौलत राम कॉलेज में इनोवेटिव प्रोजेक्ट के दौरान सर्वे में सामने आई है।

क्या था प्रोजेक्ट में

इस प्रोजेक्ट के तहत दिल्ली विश्वविद्यालय (DU) के अंतर्गत आने वाले दौलत राम कॉलेज की छात्राओं की टीम ने सैंपल के तौर पर ऑन लाइन प्राइमरी डाटा जुटाए। ये डाटा प्रीटेस्ट और पोस्ट टेस्ट के तहत जुटाए गए। इसके तहत सोशल मीडिया के जरिये कई तरह के एकेडमिक और अन्य विभिन्न कार्यक्रम के लिए विचार विमर्श हुए। अध्ययन में यह भी पाया गया कि सोशल मीडिया की उच्च शिक्षा में स्वीकार्यता बढ़ी है। शिक्षा के लिहाज से सोशल मीडिया एक प्रभावी जरिया साबित हो रहा है। उच्च शिक्षा के मद्देनजर सोशल मीडिया छात्रों के साथ शिक्षकों के लिए लाभदायक साबित हुआ है।

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यहां पर बता दें कि यह प्रोजेक्ट सरकार के डिजिटल इंडिया इनीशिएटिव के तहत प्रायोजित था। अध्ययन में पता चला है कि उच्च शिक्षा के मद्देनजर सोशल मीडिया छात्रों के साथ शिक्षकों के लिए लाभदायक साबित हुआ है। इसके जरिये क्लास खत्म होने के बाद छात्र और शिक्षक दोनों एक-दूसरे से आसानी से संवाद कर रहे हैं। सोशल मीडिया का ही कमाल है कि इससे आसानी से दूरदराज इलाकों में संपर्क स्थापित किया जा सकता है। इसका सबसे ज्यादा लाभ देश में शिक्षा में सुधार के लिए किया जा सकता है।

जीता बेस्ट पेपर का अवॉर्ड

गौरतलब है कि इस प्रोग्राम के तहत विभिन्न जगहों पर वर्कशॉप और सेमीनार का भी आयोजन किया गया। इस दौरान उच्च शिक्षा में सोशल मीडिया के सकारात्मक प्रभाव के बारे में भी बताया। इस बाबत दिल्ली के स्कूलों के अलावा, अखिल जन संचार संस्थान (IIMC) में सर्वे किया गया। इनोवेटिव प्रोजेक्ट की टीम में विभिन्न कॉन्फ्रेंस में अपने पेपर रखे और बेस्ट पेपर का अवॉर्ड भी जीता।

टीम में कौन-कौन हैं शामिल

मुख्य जांच कर्ताः मालिनी शर्मा, पूजा खन्ना, दिव्या गुप्ता,दिव्या गुप्ता और नरेश

प्रोजेक्ट में शामिल छात्राएं

अक्षिता निधि, भारती शर्मा, भव्या गुप्ता, गुंजिता ढींगरा, हर्षिता वाधवा, हिया सहारिया, शैव्या गुप्ता, स्मृति बनाती, स्निग्धा शर्मा और वैष्णवी वी.जी,

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