मरी नहीं है अभी संस्कृत भाषा : डॉ. ब्रजेश गौतम

जागरण संवाददाता, पश्चिमी दिल्ली : संस्कृत शिक्षक संघ दिल्ली व दिल्ली संस्कृत अकादमी के संयुक्त तत्वा

By JagranEdited By: Publish:Fri, 19 May 2017 08:03 PM (IST) Updated:Fri, 19 May 2017 08:03 PM (IST)
मरी नहीं है अभी संस्कृत भाषा : डॉ. ब्रजेश गौतम
मरी नहीं है अभी संस्कृत भाषा : डॉ. ब्रजेश गौतम

जागरण संवाददाता, पश्चिमी दिल्ली : संस्कृत शिक्षक संघ दिल्ली व दिल्ली संस्कृत अकादमी के संयुक्त तत्वावधान में ज्ञानदीप मॉडल स्कूल में चल रहे संस्कृत संभाषण शिविर के छठे दिन संस्कृत शिक्षक संघ के अध्यक्ष डॉ. ब्रजेश गौतम ने कहा कि संस्कृत भाषा अभी मरी नहीं है, इसका प्रमाण शिविर में उपस्थित 200 विद्यार्थी हैं। दिल्ली संस्कृत अकादमी की संस्कृत शिक्षिका कुमारी प्रीति ¨सह उत्तमनगर से आकर यहां बच्चों में संस्कृत भाषा का संचार कर रही हैं। उनका अभिनय के साथ पढ़ाना बच्चों को इतना मनोरंजक लगता है कि वे भी उनका अनुकरण करते हुए संस्कृत में रुचि दिखा रहे हैं व संस्कृत को सीख रहे हैं।

शिविर संयोजक संदीप कुमार उपाध्याय ने बताया कि संस्कृत की कक्षा प्रारंभ करने से पूर्व इन्हें संस्कृत में प्रार्थना कराई जाती है। अंत में कल्याण मंत्र के साथ संस्कृत कक्षा समाप्त होती है। बालक जब आंखें बंद करके भगवान का ध्यान करते हुए वेद मंत्रों का उच्चारण करते हैं तो नि:संदेह उन्हें शांति की प्राप्ति होती है व मन भी एकाग्र होता है। संस्कृत कक्षा के पश्चात बच्चों को वैदिक गणित, पर्यावरण शिक्षा, व्यक्तित्व विकास, चरित्र निर्माण की शिक्षा भी दी जाती है, जिससे बच्चों में पर्यावरण के प्रति जागरुकता बढ़े व बालक चारित्रिक शिक्षा के द्वारा समाज व स्वयं का उत्थान कर सकें। संस्कृत शिक्षक संघ के महासचिव डॉ. विश्वंभर दयाल ने विद्यार्थियों को अभिवादन अर्थात नमस्ते करने से होने वाले लाभों को बताते हुए कहा कि जो बालक-बालिकाएं अपने माता पिता को, अपने से बड़ों को, अपने बुजुर्गो को नमस्कार करते हैं, निश्चित रूप से उनकी आयु, विद्या, यश और बल बढ़ता है।

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