अजी, सुनते हो बेटी बड़ी हो रही, अब तो शौचालय बना दो.

बगहा। का हो पायलिया के बाबू अपना घरे शौचालय ना बनी। हउ बाहर से आइल मेम साहब भी कहत रहली ह बबी अब बड़

By JagranEdited By: Publish:Sat, 07 Apr 2018 11:33 PM (IST) Updated:Sat, 07 Apr 2018 11:33 PM (IST)
अजी, सुनते हो बेटी बड़ी हो रही, अब तो शौचालय बना दो.
अजी, सुनते हो बेटी बड़ी हो रही, अब तो शौचालय बना दो.

बगहा। का हो पायलिया के बाबू अपना घरे शौचालय ना बनी। हउ बाहर से आइल मेम साहब भी कहत रहली ह बबी अब बड़ होत बिया। ई कबले बाहर के शौचालय जाए के कार्यक्रम चलत रही। ना ना बाबा ना अब अपनो घरे शौचालय बनी। यह बात शनिवार को प्रखंड के सपही गांव में सुगिया देवी ने अपने पति से कही। यह बात केवल सपही या सोनखर की ही नहीं है यह संवाद अब प्रखंड के कई गांवों में घर घर सुनने को मिल रही है। बस पायल के जगह पर कोई दूसरा बच्चा होता है। स्वच्छता सप्ताह के तहत आए स्वच्छाग्रहियों के दल ने जिस तरह से इस अभियान में जान डाली है। उससे अब यह चर्चा उठने लगी है कि अब प्रत्येक घर में शौचालय जरूरी है। साथ ही अब खुले में शौच बंद होना चाहिए। वर्षो पुरानी खुले में शौच की बेड़ियों से आजाद होने को आतुर अब महिलाओं के साथ बड़े होते बच्चे भी दिख रहें है। जिससे आने वाले समय में जबरदस्त बदलाव का अंदाजा लगाया जा रहा है।

उल्लेखनीय है कि सत्याग्रह से स्वच्छाग्रह कार्यक्रम की धूम पूरे प्रखंड में है। जिसमें 13 पंचायतों के लोगों को जागरूक किया जा रहा है। स्वच्छ वातावरण से ही स्वच्छ राष्ट्र का निर्माण एवं स्वस्थ्य शरीर रहता है। इसकी समझ अब लोगों को आने लगी है। जिसके वजह से अब लोग इस जागरूकता कार्यक्रम में पहले से अधिक दिलचस्पी भी ले रहें है। बता दें कि इस अभियान का फल ही है कि बीते 02 अप्रैल से लेकर अब तक करीब पांच सौ से ज्यादा लोगों के आवेदन शौचालय निर्माण को लेकर प्रखंड कार्यालय को प्राप्त हो चुके है। जबकि अभी आवेदनों के आने का सिलसिला जारी है। प्रखंड समन्वयक लोहिया स्वच्छता मिशन अभियान सुरेन्द्र ¨सह का कहना है कि अभी कई ग्रामीणों को इस लोहिया स्वच्छता अभियान के तहत मिलने वाली राशि के साथ ही खुले में शौच से होने वाली बीमारियों का ही पता नहीं था। जो इस जागरूकता कार्यक्रम के बाद लोगों को समझ आया है। साथ ही महिलाओं की सोच में भी बदलाव दिख रहा है। स्वच्छाग्रहियों के दल में यूपी प्रतापगढ से आई महिला स्वच्छाग्रहियों ने इसके लिए खासकर महिलाओं को समझाने का कार्य किया है।

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बयान : महिलाओं को एकबार समझ आ गया फिर अभियान को पंख लगने में देरी नहीं लगेगी। यह अच्छी बात है कि इस अभियान से हमें इस कार्य में बहुत सफलता मिल रही है। आने वाले समय में भी इस प्रखंड को भी ओडीएफ करने में मदद मिलेगी।

मो. असलम, बीडीओ

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