बरसात में ध्वस्त हुई सड़क, चचरी के सहारे जिदगी को रफ्तार

प्रखंड के कुअमा पंचायत में कोमा से भगतपुर बनवीर जाने वाली सड़क बरसात में ध्वस्त हो गई।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 23 Nov 2020 12:20 AM (IST) Updated:Mon, 23 Nov 2020 12:20 AM (IST)
बरसात में ध्वस्त हुई सड़क, चचरी के सहारे जिदगी को रफ्तार
बरसात में ध्वस्त हुई सड़क, चचरी के सहारे जिदगी को रफ्तार

शिवहर। प्रखंड के कुअमा पंचायत में कोमा से भगतपुर बनवीर जाने वाली सड़क बरसात में ध्वस्त हो गई। चार माह बाद भी सड़क के मरम्मत और निर्माण की दिशा में कोई पहल नही की जा सकी है. ऐसे में व्यवस्था के आगे मजबूर और शासन-प्रशासन की बेपरवाही से त्रस्त लोग चचरी पुल का निर्माण कर जैसे-तैसे आवागमन कर रहे है. वैकल्पिक व्यवस्था के तौर पर ग्रामीणों ने बांस की चचरी बना कर अपनी जिदगी को रफ्तार देने की कोशिश की है. लेकिन अब यह चचरी पुल भी टूटने लगा है. सड़क के अभाव में गांव में आवागमन ठप हो गया है. जर्जर चरी पुल से भी आने जाने में लोगों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है. गांव में जरूरत पड़ने पर एंबुलेंस और रसोई गैस की गाड़ी बागमती तटबंध होकर आती है जो काफी जर्जर एवं खतरनाक हो चुकी है. बड़े-बड़े गड्ढों में हिचकोले खाते हुए जान जोखिम में डालकर गांव से निकलना होता है. पंचायत के पूर्व मुखिया संजय कुमार वर्मा उर्फ डब्बू ने कई बार प्रखंड स्तर एवं जिला प्रशासन को लिखित रूप से शिकायत की थी। साथ ही सड़क निर्माण की मांग की थी। बावजूद इसके अबतक सड़क निर्माण की दिशा में कोई पहल नहीं हो सकी है. भगतपुर निवासी नसीर अंसारी, ताहिर मियां, नूर उल हक, खलील मियां और बनवीर गांव के अवधेश तिवारी, श्रीनारायण सिंह, राम स्वार्थ रावत ,राजेंद्र साहनी व भोलाराम आदि ने बताया कि गांव से निकलने वाली मुख्य सड़क के टूट जाने से हमें काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है. जान जोखिम में डालकर चचरी पार करते है.

जबकि, बागमती तटबंध वाले रास्ते से जाने में चार किलोमीटर अतिरिक्त दूरी सफर करना पड़ता है. तटबंध की हालत भी काफी खराब है. उधर,कुम्मा मुखिया शबनम सिंह ने बताया कि बाढ़ के चलते हर साल उक्त सड़क ध्वस्त हो जाता है. ऐसे में अब सड़क के साथ पुल का भी निर्माण कराया जाएगा। इसके लिए प्रयास जारी है. अधिकारियों को भी आवेदन दिया गया है।

chat bot
आपका साथी