माधी पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी

मोहनपुर में माघ पूर्णिमा के शुभ अवसर पर मंगलवार को श्रद्धालुओं ने प्रखंड के विभिन्न गंगा घाटों पर आस्था की डुबकी लगाई।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 20 Feb 2019 12:05 AM (IST) Updated:Wed, 20 Feb 2019 12:05 AM (IST)
माधी पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी
माधी पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी

समस्तीपुर। मोहनपुर में माघ पूर्णिमा के शुभ अवसर पर मंगलवार को श्रद्धालुओं ने प्रखंड के विभिन्न गंगा घाटों पर आस्था की डुबकी लगाई। स्नान करने के लिए श्रद्धालुओं से भरी गाड़ियों का तांता सुबह से ही महनार - मोहिउद्दीननगर पथ पर लगने लगा। दूर - दूर से आए श्रद्धालुओं ने सरारी, हरदासपुर, रसलपुर, बघड़ा, मटिऔर, डुमरी, जौनापुर के गंगा घाटों पर पवित्र डुबकियां लगाकर माता गंगे की पूजा व अर्चना की। फूलों की डालियां व दीप दान आवश्यक रूप से श्रद्धालुओं ने किया। इस अवसर पर जगह - जगह सत्यनारायण व्रत कथा व अष्टयाम का भी आयोजन किया गया था। मनौतियां पूर्ण होने वाले लोगों ने चांदी की बकरी, कछुआ आदि भी गंगा में अर्पित किया। इस मौके पर बच्चों के मुंडन का कार्य सर्वाधिक किया गया। स्थिति ऐसी थी कि सभी गंगा घाटों पर मेला लगा हुआ था। इसमें प्रसाधन सामग्रियों के अलावे बच्चों के खिलौने व मिठाइयां बिक रही थी। हरदासपुर गंगा कटाव से प्रभावित होने के कारण यहां वर्षों से विख्यात कुश्ती प्रतियोगिता का आयोजन नहीं हो सका। धरनीपट्टी पश्चिमी के मुखिया डॉ सुरेन्द्र प्रसाद राय का कहना है पूर्व में प्रत्येक वर्ष इस अवसर पर कुश्ती की प्रतियोगिता होती थी जिसमें दूर - दूर के पहलवान हिस्सा लेते थे। कटाव में जमीन कट जाने के बाद कुश्ती कराने के स्थल का अभाव सा हो गया है जिसके कारण कुश्ती की प्रतिभा का प्रदर्शन नहीं हो पा रहा है।

करेह नदी के तट पर कमला मेला में उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़

बिथान,संस: प्रखंड के जगमोहरा गांव स्थित चार जिले और तीन नदी के संगम स्थल करेह तटबंध के किनारे प्रतिवर्ष लगने वाले माघी कमला मेला दिन प्रतिदिन विशालता बढ़ती जा रही है। माघी पूर्णिमा से शुरु होने वाले मेले में प्रत्येक वर्ष कि भांति इस वर्ष भी करीब 1 लाख से अधिक श्रद्धालुओं के इस पवित्र संगम स्थल पर स्नान करने कि उम्मीद है। जिले के अलावे दरभंगा, खगड़िया, सहरसा, एवं सुपौल जिले तथा कमला करेह कोशी नदी के संगम स्थल पर बिथान प्रखंड के जगमोहरा गांव में माघी मेला का प्रतिवर्ष आयोजन होता है। वर्ष 1952 में पहली बार यह मेला करेह तटबंध के पूर्वी भाग स्थित दरभंगा जिला के कुशेश्वर स्थान प्रखंड के तिलकेश्वर स्थान में इस मेंला कि शुरुआत जगमोहरा एवं तिलकेश्वर के ग्रामीणों के सहयोग से की गई थी। एक बड़े भू-स्वामी राज किशोर ¨सह ने पहली बार अपनी जमीन पर मेला का आयोजन किया था। लगातार दस वर्षो तक अनवरत आयोजना से यह मेला वृहत रूप लेता रहा। जगमोहरा घाट के तत्कालिक घटवार बेगूसराय के बनारसी प्रसाद ¨सह एवं जगमोहरा गांव के उस समय के मुखिया रामऔतार ¨सह ने ग्रामीणो के सहयोग से करेह तटबंध के पश्चिम भाग में नए सिरे से मेला का आयोजन किया गया। जिसमे अक्त घटवार ने पवित्र संगम स्थल पर एक भव्य शिव मंदिर की स्थापना की।

केवल स्थान में श्रद्धालुओं ने की पूजा अर्चना

मोरवा,संस: राजकीय मेला स्थल इंद्रवारा बाबा केवल में आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा। माता कमला मंदिर के निकट हजारों श्रद्धालुओं ने स्नान करने के बाद, बाबा केवल महाराज की समाधि एवं प्रतिमा स्थल पर पूजा अर्चना की। मेला समिति के कोषाध्यक्ष उमेश साहनी, फूलचंद सहनी, राज नारायण सहनी, शिव चंद्र साह, लक्ष्मेश्वर साहनी आदि शांति एवं सुरक्षा व्यवस्था में लगे रहे।

chat bot
आपका साथी