Dengue in Patna: कोरोना के थमते ही पटना में मंडराने लगा डेंगू का खतरा, लार्वा मिलने के बाद बढ़ी चिंता
Dengue in Patna पटना में मिले डेंगू मच्छर के लार्वा पटना सिटी के गायघाट क्षेत्र में सडक़ किनारे महामारी पदाधिकारी को मिले लार्वा एडीज मच्छर के काटने के चार से पांच दिन में पीडि़त को तेज बुखार होता है
पटना, जागरण संवाददाता। Dengue Alert for Patna: कोरोनावायरस संक्रमण तो अब थमने लगा है, लेकिन बारिश के साथ पटना में डेंगू बुखार का खतरा मंडराने लगा है। पटना सिटी के गायघाट क्षेत्र में सडक़ किनारे डेंगू वाहक एडीज मच्छर के लार्वा पाए गए हैं। सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के चिकित्सा पदाधिकारियों को डेंगू से बचाव के लिए प्रचार-प्रसार और इलाज की तैयारी रखने को कहा गया है। जिला महामारी पदाधिकारी प्रशांत कुमार ने पटना सिटी के गायघाट क्षेत्र में भ्रमण के दौरान सडक़ किनारे लगे पेड़-पौधों के बीच जमा पानी में डेंगू मच्छर के लार्वा देखे। उन्होंने इसका वीडियो बनाकर वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा, जिसके बाद डेंगू फैलने की आशंका को देखते हुए तैयारियां पूरी रखने का निर्देश दिया गया।
डेंगू के लक्षण
एडीज मच्छर के काटने के चार से पांच दिन में पीडि़त को तेज बुखार होता है। कई बार बुखार के साथ इतना तेज दर्द होता है कि सामान्य भाषा में इसे हड्डी तोड़ बुखार भी कहा जाता है। भूख न लगना, उल्टी-दस्त, गले में खरास, पेट दर्द और लिवर में सूजन इसके अन्य लक्षण हैं। इसके दो रूप हैमरेजिक व शाक सिंड्रोम हैं, जो जानलेवा होते हैं। इसमें शरीर में लाल चकत्ते पडऩे के साथ कई बार त्वचा, नाक व मुंह से खून निकलना भी शुरू हो जाता है।
डेंगू वाहक मच्छर की पहचान
एडीज मच्छर सामान्य मच्छरों से काफी छोटे व काले रंग के होते हैं। इनकी खास पहचान इनकी लंबी टांगें होती हैं। इन मच्छरों की टांगों पर सफेद और काले रंग की धारियां होती हैं। ये मच्छर साफ पानी में ही अंडे देते हैं।
काटने से भी होती पहचान
एडीज मच्छर रात के बजाय सामान्यत: सूर्योदय और सूर्यास्त के दो से तीन घंटे के बीच काटते हैं। शाम के समय ये मच्छर ज्यादा सक्रिय रहते हैं। ये मच्छर अधिक ऊंचाई तक नहीं उड़ पाते हैं इसलिए आमतौर पर एड़ी पर काटते हैं।
डेंगू से ऐसे करें बचाव घर या आसपास पानी नहीं जमा होने दें। कूलर, गमला या अन्य खाली बर्तन कहीं भी पानी जमाकर नहीं रखें। खुद को मच्छरों से बचाएं, इसके लिए खिड़कियों-दरवाजों में जाली व सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग करें। घर के आसपास फागिंग करवाएं, और यदि आसपास पानी जमा है तो उसमें एंटी लार्वा या केरोसिन तेल डलवाएं।