दिनदहाड़े बैंक में लूट पर उठ रहे सुरक्षा पर सवाल

नालंदा। जिस तरह से सोहसराय चौक पर स्थित केनरा बैंक में दिनदहाड़े लुटेरों ने वारदात को

By Edited By: Publish:Sat, 28 Nov 2015 03:03 AM (IST) Updated:Sat, 28 Nov 2015 03:03 AM (IST)
दिनदहाड़े बैंक में लूट पर उठ रहे सुरक्षा पर सवाल

नालंदा। जिस तरह से सोहसराय चौक पर स्थित केनरा बैंक में दिनदहाड़े लुटेरों ने वारदात को अंजाम दिया, इससे सुरक्षा व्यवस्था पर सवालिया निशान खड़ा हो गया है। बैंक कैंपस में ही कपड़ा व्यवसाय का मंडी होने के बावजूद जिस तरह से लूट को अंजाम दिया गया, यह वाकई पुलिस के लिए किसी चुनौती से कम नहीं है। सबसे हैरानी की बात तो यह है कि लुटेरे कैसे आए और बैंक लूट के बाद कैसे वहां से निकल गए। इस बात की भनक आसपास को भी नहीं लगी। बैंक कर्मियों की मानें तो बैंक का मुख्य द्वारा खुलने के चंद मिनटों में ही कुछ ग्राहकों के साथ चार की संख्या में अपराधी घुस आए। इससे पहले की लोग कुछ समझ पाते चारों ने पिस्तौल निकाल कर सभी कर्मियों को अपने कब्जे में ले लिया। इसके बाद एक महिला कर्मियों सहित सभी स्टाफ को जमीन पर लेटा दिया। यही नहीं पांच-छह की संख्या में रहे ग्राहकों को भी पिस्तौल के बल पर कब्जे में ले लिया। इसके बाद अपराधी स्ट्रांग रूम का दरवाजा खुलवा कर अपना काम निकाल लिया।

बैंक में नहीं है सुरक्षा गार्ड की तैनाती

जिले में अभी भी कई ऐसे बैंक हैं, जहां पर सुरक्षा गार्ड की प्रतिनियुक्ति नहीं की गई है। जबकि सुप्रीम कोर्ट का सख्त निर्देश है कि कोई भी बैंक बिना सुरक्षा गार्ड के नहीं चलाए जाए। बावजूद बैंक में सुरक्षा गार्ड की तैनाती नहीं होना ¨चता का विषय है। लोगों की मानें तो यदि बैंक में सुरक्षा गार्ड होता तो शायद सोहसराय जैसे व्यस्त इलाके में इतने बड़े वारदात को दिनदहाड़े अंजाम देने से पहले अपराधियों को भी कई बार सोचना पड़ता।

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कर्मियों को इमरजेंसी अलार्म भी बजाने का नहीं मिला मौका

बैंक में किसी प्रकार की अप्रिय घटना होने पर बैंक के पदाधिकारी व कर्मी तत्काल अलार्म बजा कर खतरे का संकेत दे देते हैं। लेकिन अपराधियों ने बैंक कर्मियों को इसका भी मौका नहीं दिया। लुटेरों ने जिस तरह से वारदात को अंजाम दिया। इससे यही प्रतीत होता है कि अपराधी बैंक के हर गतिविधियों से पूरी तरह वाकिफ थे। यही वजह है कि बैंक में प्रवेश करते ही सबसे पहले व सीसीटीवी कैमरे का हार्ड डिस्क को अपने कब्जे में ले लिया। ताकि वारदात के बाद किसी की पहचान न हो। बहरहाल घटना के बाद बैंक के कर्मी पूरी तरह से सहमे थे।

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पूर्व में भी हो चुकी है बैंक में लूट की घटना

वर्ष 2012 में सोहसराय के किसान कालेज कैंपस में सेंट्रल बैंक में भी अपराधियों ने लूट का प्रयास किया था लेकिन लोगों के जागरूक होने के कारण यहां पर लूट को अंजाम देने से पहले ही अपराधी फरार हो गए थे। बाद में जांच दल की टीम आकर पूरे मामले की जांच की थी। उसी वर्ष बारादरी स्थित ¨सडिकेट बैंक में दिनदहाड़े अपराधी ग्राहकों व बैंक कर्मियों के काउंटर से लाखों रुपये लूट कर फरार हो गए थे। लूट के दौरान मौजूद गार्ड को भी अपराधियों ने गोली से घायल कर दिया था। इसके बाद तकरीबन दस वर्ष पहले बिचली खंदकपर स्थित केनरा बैंक में लूट को अंजाम दिया गया था।

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