जमानत में हाईकोर्ट की शर्त, कोविड अस्पताल में एक माह देनी होगी सेवा, जानिए मामला...

अहियापुर के बाड़ा जगन्नाथ में पिछले साल कंपाउंडर शैलेंद्र सिंह की गोली मारकर कर दी गई थी हत्या। मामले के आरोपित लालबाबू साह की जमानत स्वीकार करते हुए हाईकोर्ट ने रखी शर्त ।

By Murari KumarEdited By: Publish:Thu, 04 Jun 2020 10:54 PM (IST) Updated:Thu, 04 Jun 2020 10:54 PM (IST)
जमानत में हाईकोर्ट की शर्त, कोविड अस्पताल में एक माह देनी होगी सेवा, जानिए मामला...
जमानत में हाईकोर्ट की शर्त, कोविड अस्पताल में एक माह देनी होगी सेवा, जानिए मामला...

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। अहियापुर  कंपाउंडर शैलेंद्र सिंह हत्याकांड के  आरोपित बोचहां थाना के डरिया गांव के लालबाबू साह को हाईकोर्ट ने सशर्त जमानत दी है। कहा है कि जेल से निकलने के बाद उसे कोविड के लिए प्रतिबद्ध अस्पताल में स्वयंसेवक के रूप में अपनी सेवा देनी होगी। क्षेत्र के नोडल पदाधिकारी को रिपोर्ट करनी होगी। वे तय करेंगे कि उसकी सेवा कहां ली जाए।

 लालबाबू की जमानत पर सुनवाई के बाद न्यायमूर्ति अनिल उपाध्याय ने यह आदेश जारी किया है। जिले में यह पहला मामला है जिससे में हाईकोर्ट ने जमानत की शर्तों में इसे शामिल किया है। 25 हजार रुपये की प्रतिभूति के बंधपत्र के साथ दो जमानतदारों को सीजेएम कोर्ट में पेश करने के बाद ही जेल से रिहा करने का आदेश दिया है। आरोपित के अधिवक्ता सुमित कुमार सुमन ने बताया कि कोर्ट के आदेश का पूरी तरह पालन किया जाएगा।  

कंपाउंडर हत्याकांड में जेल में बंद था 

अहियापुर थाना क्षेत्र के बाड़ा जगन्नाथ गांव के निकट स्थित एक निजी क्लीनिक में कार्यरत कंपाउंडर शैलेंद्र सिंह को पिछले साल पांच अक्टूबर की गोली मार हत्या कर दी गई थी। यह घटना उस समय हुई जब वे अपने घर गायघाट थाना क्षेत्र के मैठी गांव से बाइक से क्लीनिक पर पहुंचे थे। बाइक सवार बदमाशों ने अंधाधुंध फायङ्क्षरग कर उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया। एसकेएमसीएच में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। उनके पुत्र अक्षय राज ने अहियापुर थाना में प्राथमिकी दर्ज कराई थी।

 इसमें बोचहां थाना के कर्णपुर उत्तरी पंचायत के चौपार मदन गांव के घनश्याम पटेल व उसकी पत्नी को नामजद आरोपित बनाया था। घटना के पीछे जमीन खरीदने के लिए दिए गए रुपये का विवाद बताया गया। पुलिस ने घनश्याम पटेल व उसकी पत्नी को गिरफ्तार किया। पुलिस के समक्ष आए बयान में लालबाबू साह व अन्य का नाम भी सामने आया। इस आधार पर उसे अप्राथमिकी अभियुक्त बनाया था। वह पिछले साल सात अक्टूबर से न्यायिक हिरासत में जेल में बंद है। लालबाबू साह सहित चार आरोपितों के खिलाफ पिछले साल 30 दिसंबर को कोर्ट में आइओ वानेश्वर किस्कू ने आरोप पत्र दाखिल किया था। 

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