जेल में बंद कैदियों की बदल रही जीवनशैली

लखीसराय। राज्य सरकार की जेल में बंद कैदियों के जीवन स्तर में बदलाव लाने की हो रही पहल क

By JagranEdited By: Publish:Thu, 01 Feb 2018 02:55 AM (IST) Updated:Thu, 01 Feb 2018 02:55 AM (IST)
जेल में बंद कैदियों की बदल रही जीवनशैली
जेल में बंद कैदियों की बदल रही जीवनशैली

लखीसराय। राज्य सरकार की जेल में बंद कैदियों के जीवन स्तर में बदलाव लाने की हो रही पहल का असर लखीसराय मंडलकारा में भी दिखने लगा है। अब कैदियों की दिनचर्या बदल रही है। इससे उसकी जीवनशैली में भी बदलाव आने लगा है। कैदी जेल के भीतर खुद को बदलने एवं अपनी गलती को सुधारने में लगे हैं। जेल प्रशासन भी इस मुहिम को मुकाम तक पहुंचाने में कैदियों की जीवनशैली बदलने में मददगार की भूमिका निभा रह है। मंडलकारा में कैदियों के बीच सांस्कृतिक चेतना जगाने के लिए भी संसाधन उपलब्ध कराए गए हैं। कंप्यूटर शिक्षा भी दी जा रही है। जिलाधिकारी ने साक्षरता कार्यक्रम से जुड़े पदाधिकारी को मंडलकारा में बंद असाक्षर बंदियों को साक्षर करने तथा जेल से बाहर निकलने पर एक बेहतर इंसान बनकर जीने की कला सिखाने के लिए प्रेरणा कार्यक्रम चलाने को कहा है। जिला लोक शिक्षा समिति के सचिव सुरेश प्रसाद ने बताया कि वर्ष 2010 से 14 तक पूर्व में भी मंडलकारा में कैदियों को साक्षर करने के लिए प्रेरणा कार्यक्रम चलाया गया था।

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सेहत बनाने के लिए कैदी सिख रहे हैं योग

मंडल कारा लखीसराय में बंद कुख्यात से लेकर साधारण अपराधी भी अपनी सेहत व स्वास्थ्य के प्रति सजग हैं। हर रोज जेल के अंदर योग की क्लास लगती है जहां सभी कैदी एक साथ बैठकर योग करते हैं। यह बदलाव की कहानी बयां कर रही है। योग को दिनचर्या में शामिल करने से कैदी भी खुद को फिट महसूस करने लगे हैं।

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जेल में होता है धार्मिक प्रवचन

लूट, हत्या, चोरी, छिनतई, मारपीट सहित अन्य अपराध के जुर्म में जेल में बंद कैदियों एवं भटके हुए युवाओं को समाज की मुख्य धारा से जोड़ने एवं उसे नेक इंसान बनाने की भी पहल की जारी है। जेल प्रशासन द्वारा जेल के भीतर धार्मिक प्रवचन की पाठशाला लगाई जाती है जहां कैदियों को एक साथ बैठाकर जेल प्रशासन द्वारा नियुक्त किए गए धर्माचार्य द्वारा उन्हें धार्मिक बातों से अवगत कराकर सोच को बदलने का प्रयास किया जा रहा है।

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बागवानी में भी कैदियों को लग रहा मन

लखीसराय मंडल कारा में कैदियों को बागवानी में खूब मन लग रहा है। जेल के अंदर कैदियों द्वारा फूल, हरी सब्जी की बागवानी की जा रही है। पिस्तौल और कारतूस से खेलने वाले हाथों में कुदाल व खुरपी नजर आती है। जेल की ऊंची चहारदीवारी के अंदर रंग बिरेंगे फूलों से सजी क्यारी, जगह-जगह फलदार व छायादार पौधे, हरी सब्जी कैदियों द्वारा की गई मेहनत व बदलाव की कहानी कह रही है।

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लखीसराय मंडलकारा में बंद कैदियों के जीवन स्तर को बदलने एवं उन्हें मुख्यधारा से जोड़ने के लिए जेल के अंदर कई प्रकार की गतिविधि चलाई जा रही है। योग, धार्मिक प्रवचन, बागवानी, कंप्यूटर शिक्षा के माध्यम से कैदियों की जीवनशैली में बदलाव लाने की पहल की जा रही है।

राजेश कुमार, प्रभारी जेल अधीक्षक, लखीसराय

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