Gaya: हीरा-मोती की जोड़ी अब देखने को मिल रही, बारिश होते ही हल-बैल से खेत की जोताई करने में जुटे किसान

मानपुर के भेड़िया कला गांव के बधार में खेत की जोताई कर रहे किसान रामानंद प्रसाद कहते हैं कि हल बैल से खेत की जोताई करने पर कादो बेहतर ढंग से तैयार होता है। उक्त कादो में धान की रोपाई करने के बाद उपज काफी अच्छी होती है।

By Prashant KumarEdited By: Publish:Fri, 30 Jul 2021 09:38 AM (IST) Updated:Fri, 30 Jul 2021 09:38 AM (IST)
Gaya: हीरा-मोती की जोड़ी अब देखने को मिल रही, बारिश होते ही हल-बैल से खेत की जोताई करने में जुटे किसान
गया के मानपुर में हल बैल से हो रही जोताई। जागरण।

जागरण संवाददाता, मानपुर (गया)। देहाती इलाका में आज भी धान की रोपाई करने के लिए किसान हल बैल से खेत की जोताई करते हैं। वर्षा के अभाव में कई दिन से किसान खेत की जोताई नहीं कर रहे थे। लेकिन, दो तीन दिन से  बारिश होने से खेत में पानी जमा हो गया। उसके बाद किसान हल बैल से खेत की जोताई करने में जुट गए।

मानपुर के भेड़िया कला गांव के बधार में खेत की जोताई कर रहे किसान रामानंद प्रसाद कहते हैं कि हल बैल से खेत की जोताई करने पर कादो बेहतर ढंग से तैयार होता है। उक्त कादो में धान की रोपाई करने के बाद उपज काफी अच्छी होती है। दिनेश कुमार कहते हैं कि डीजल के दाम बढ़ने से ट्रैक्टर से खेत की जोताई करना काफी मंहगा पड़ने लगा है।

जिसके कारण छोटे एवं मध्यम वर्गीय किसान हल बैल से ही खेत की जोताई कर धान की रोपाई करने में जुटे हैं। यहां के किसान बताते हैं कि इसी तरह बारिश होते रही तो एक सप्ताह में सारे खेत में धान की रोपाई हो जाएगा।

गांव के बुजुर्ग किसानों का कहना है कि कई साल बाद इस वषॅ मौसम साथ दे रहा है। बिचड़ा तैयार करने से लेकर धान की रोपाई करने तक बर्षा की  कमी नहीं हो रही है। अगर मौसम की  यही स्थिति रही तो इस बषॅ धान का फसल काफी बेहतर होगा।

65 प्रतिशत धान की हुई रोपा

प्रखंड कृषि पदाधिकारी नवीन शर्मा का कहना है कि मानपुर में 65 प्रतिशत धान की रोपा हुई है। एक पखवारे में सत प्रतिशत धान की रोपा हो जाएगी। यहां अभी तक जो भी धान की रोपा हुआ फसल काफी अच्छा है। अगर बारिश इसी तरह होते रही तो उपज भी काफी बेहतर होगा।

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