मकर राशि में प्रवेश कर गए सूर्य, आज प्रात: से मध्याह्न तक संक्रांति स्नान का पुण्यकाल

बक्सर सनातन संस्कृति में दिन और ऋतु के अनुरूप व्रत-त्योहार मनाने की परंपरा रही है जो मा

By JagranEdited By: Publish:Fri, 14 Jan 2022 05:09 PM (IST) Updated:Fri, 14 Jan 2022 05:09 PM (IST)
मकर राशि में प्रवेश कर गए सूर्य, आज प्रात: से मध्याह्न तक संक्रांति स्नान का पुण्यकाल
मकर राशि में प्रवेश कर गए सूर्य, आज प्रात: से मध्याह्न तक संक्रांति स्नान का पुण्यकाल

बक्सर : सनातन संस्कृति में दिन और ऋतु के अनुरूप व्रत-त्योहार मनाने की परंपरा रही है, जो मानव जीवन में ऊर्जा का संचार करता है। साथ ही, यह समाज को एक सूत्र में बांधने का काम करता है। उन्हीं में से एक है मकर संक्रांति का उत्सवी त्योहार। धर्मानुरागियों की धारणा है कि जब सूर्य धनु राशि को छोड़कर मकर राशि में प्रवेश करते हैं तो इसे मकर संक्रांति कहते हैं, जो हिदू पंचांग रूपेण शुक्रवार की रात्रि 8:34 बजे मकर राशि को प्रवेश कर गए हैं। इसके साथ ही अब देवता अपने दिन की ओर उन्मुख होने लगे हैं, यानी कि सभी शुभ मांगलिक कार्य आज से प्रारंभ हो जाएंगे।

धार्मिक दृष्टि से इस काल अवसर पर स्नान दान करने का विशेष महत्व है। बक्सर में पावनी गंगा का प्रवाह उत्तरायणी होने से श्रद्धालुओं की स्नान-ध्यान, दान-धर्म को अपार भीड़ जुटती है। जहां स्नान किए जाने के बाद सामथ्र्यानुसार श्रद्धालु जरूरतमंदों के बीच वस्त्र, अन्न, द्रव्य आदि का दान करते हैं। कहा जाता है कि पुण्यकाल में स्नान दान करने से मनुष्य कई जन्मों तक निरोगी रहता है। इस बाबत मनीषियों ने शनिवार को प्रात: से मध्याह्न 1:00 बजे से पूर्व तक संक्रांति स्नान का पुण्य काल समय बताए हैं। इनके मुताबिक संक्रांति का दिन शनिवार का होने से यह सुख प्रदान करने वाली है।

दही-चूड़ा व खिचड़ी खाने-खिलाने की है परंपरा

मकर-संक्रांति पर्व पर दही-चूड़ा, खिचड़ी आदि खाने-खिलाने एवं गुड़, चावल व तिल दान करने की पुण्य फलदायक परंपरा है। जिसका निर्वहन सभी तनमन से करते हैं। बल्कि, खाने-खिलाने के इस दौर को काफी उत्सवी माहौल दिया जाता है। जिसमें सभी शुभ चितकों को बुलाकर लोग इन भोज्य पदार्थों से उनका स्वागत भरपूर आनन्द के साथ करते हैं। हालांकि, पाटी-परिपाटी देने की यह परंपरा धीरे-धीरे राजनीतिज्ञों तक ही सिमट कर रह गई है।

गंगा तटों की राहों पर पुलिस का कड़ा पहरा, की बैरिकेडिग

कोविड-19 महामारी की तेजी से हो रहे प्रसार में जिला प्रशासन ने आमजनों की सुरक्षा के हित में गंगा स्नान पर रोक लगा रखी है। इसे लेकर गंगा तटों की राहों पर पुलिस का कड़ा पहरा लगा हुआ है। वहीं, रामरेखाघाट स्थल तक पहुंचने वाले रास्ते में बांस-बल्ले से बैरिकेडिग की गई है। इस दौरान शुक्रवार को भी गंगा स्नान को पहुंचे श्रद्धालुओं को मौजूदा पुलिस जाने से रोकती रही। मौके पर डेहरी आन सोन से जसदेव सिंह, बिक्रमगंज इलाके से धनंजय कुमार मिश्र आदि अपने स्वजनों संग गंगा स्नान को पहुंचे हुए थे। उन्होंने कहा कि पुलिस से काफी मान-मनौव्वल किए जाने के बाद भी उन्हें स्नान करने से रोका गया। यह और बात है कि काफी दूरी की यात्रा कर यहां पहुंच जाने के बाद किसी तरह छिपकर सपरिवार स्नान कर लिए। लेकिन, घाट पर स्नान करने वालों की संख्या ना के बराबर ही रही।

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