National Handloom Day : केंद्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी के कैंपेन से बहुरेंगे बुनकरों के दिन

National Handloom Day विदेशी बाजार में हथकरघा पर निर्मित रेशमी कपड़ों को खूब पसंद किया जाता है। भागलपुर के हैंडलूम की पहचान हर जगह है।

By Dilip ShuklaEdited By: Publish:Fri, 07 Aug 2020 09:31 AM (IST) Updated:Fri, 07 Aug 2020 09:31 AM (IST)
National Handloom Day : केंद्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी के कैंपेन से बहुरेंगे बुनकरों के दिन
National Handloom Day : केंद्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी के कैंपेन से बहुरेंगे बुनकरों के दिन

भागलपुर [जितेंद्र कुमार]। भागलपुर समेत देश के अन्य हिस्सों के बुनकरों के दिन बहुरने वाले हैं। केंद्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी शुक्रवार दिन में 11.30 बजे बुनकरों की सहायता के लिए एक सोशल मीडिया कैंपेन लांच करने जा रही हैं। इसके तहत फेसबुक, वाट्सएप, ट्विटर, इंस्टाग्राम आदि के माध्यमों से बुनकरों का सहयोग करने और इनके उत्पाद को अपनाने की लोगों से अपील की जाएगी।

लॅाकडाउन में बेहाल बुनकरों को मिलेगी संजीवनी

लॉकडाउन में बुनकरों की आर्थिक  स्थिति चरमरा गई थी। बाजार बंद रहे, इस कारण बुनकरों को अभी तक ऑर्डर नहीं मिल पा रहा है। इस कैंपेन के लांच होने से बुनकरों की स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है। कपड़ा मंत्रालय ने बुनकरों को ई-मार्केटिंग की सुविधा उपलब्ध कराने पर भी जोर दिया है।

बढ़ेगा संपर्क का दायरा

सोशल मीडिया कैंपेन से बुनकर, आम लोग और व्यापारी भी जुड़ेंगे। इससे बुनकरों के संपर्क का दायरा बढ़ेगा। व्यापारी और बुनकर सीधे संपर्क में आएंगे, जिससे बिचौलियों पर अंकुश लगेगा। साथ ही महाजनों के चक्कर से भी बिचौलियों को राहत मिल सकती है। अभी पूंजी व बाजार के अभाव में बुनकरों पर बिचौलिये हावी रहते हैं। बुनकर इस कैंपेन के तहत अपने उत्पादों का प्रदर्शन करने के अलावा अपने सुझाव भी दे सकेंगे। 

जेम पोर्टल का भी फायदा

हैंडलूम बुनकरों को सरकार की व्यापारिक साइट जेम पोर्टल से जोडऩे की कवायद शुरू हो गई। बिहार के करीब 50 और भागलपुर के 15 बुनकरों को इससे जोड़ा गया है। भागलपुर में पोर्टल से जुडऩे के लिए बुनकरों को बरारी स्थिति बुनकर सेवा केंद्र में संपर्क करना होगा।

ऑनलाइन व्यापार में अगर कोई परेशानी होगी तो बुनकर सीधा संपर्क कर सकते हैं। जिले में 2375 हैंडलूमों पर 3500 बुनकर कार्य करने वाले हैं। बिहार के भागलपुर, बांका, गया, नवादा, रोहतास, औरंगाबाद, मधुबनी व कैमूर में 19 हजार बुनकर हैं। इन्हें भी फायदा मिलेगा। - विनोद भैसारे, सहायक निदेशक, बुनकर सेवा केंद्र, बरारी, भागलपुर

ऐसे जुड़ सकते हैं बुनकर

मिनिस्ट्री ऑफ टेक्सटाइल की हैंडलूम डिपार्टमेंट पर बुनकर अपने ट्विटर, फेसबुक व इंस्टाग्राम अकाउंट के माध्यम से जुड़ सकते हैं।

कपड़ा मंत्री का संदेश

हथकरघा जीवन का एक तरीका है और हमारी पहचान, संस्कृति और विरासत का प्रतीक है। यह हमारे गरीब हथकरघा बुनकरों के कौशल को दर्शाता है, जिन्होंने परंपरा को जीवित रखा है। इसलिए, 'नेशनल हैंडलूम डे' अर्थात सात अगस्त को, अपने हथकरघा बुनकरों का समर्थन करने का संकल्प लें और हथकरघा उत्पाद पहनने के लिए सभी को प्रोत्साहित करें।

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