मनोज चौधरी हत्याकांड में पंकज यादव दोषी करार

भागलपुर। चतुर्थ अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश कुमोद रंजन सिंह के न्यायालय ने नाथनगर, मधुसूदनपुर

By JagranEdited By: Publish:Fri, 11 Aug 2017 03:01 AM (IST) Updated:Fri, 11 Aug 2017 03:01 AM (IST)
मनोज चौधरी हत्याकांड में पंकज यादव दोषी करार
मनोज चौधरी हत्याकांड में पंकज यादव दोषी करार

भागलपुर। चतुर्थ अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश कुमोद रंजन सिंह के न्यायालय ने नाथनगर, मधुसूदनपुर थाना कांड संख्या 131/12 सह सेसन केस संख्या 1198/12 में गुरुवार को 302 भादवि 27 आ‌र्म्स एक्ट के मामले में पंकज यादव को दोषी पाया। सजा के बिंदु पर 18 अगस्त को सुनवाई होगी। सरकार के अपर लोक अभियोजक ओम प्रकाश तिवारी पीड़ित पक्ष की ओर से जिरह कर रहे थे।

भाई ने दर्ज कराई थी प्राथमिकी

कांड के सूचक सुबोध कुमार चौधरी ने दर्ज प्राथमिकी में कहा है कि बीस जुलाई को छह बजे अपने भाई मनोज कुमार चौधरी के साथ अपने निवास स्थान ज्योति विहार कॉलोनी में बैठे थे। तभी मकंदपुर रन्नूचक निवासी ललन राय आया और दरवाजा खटखटाया। छोटे भाई मनोज ने दरवाजा खोला। मनोज ने उसे बैठने के लिए कहा लेकिन उसने कहा कि नीचे और भी लोग हैं, जमीन लेंगे। ललन के साथ दोनों भाई नीचे उतरे। जहां तीन मोटर साइकिल पर छह लोग सवार थे। जिसमें ललन राय, हर्ष नाथ झा, मुन्ना मुखिया, पंकज यादव, राजू यादव, यमुना यादव थे। ललन ने मनोज को मोटर साइकिल पर बैठाया और कहा कि प्लॉट पर बोलेरो गाड़ी से कुछ लोग आए हैं। जमीन दिखाकर लौटेंगे। इस बीच एक घंटे बाद फोन पर खबर मिली कि मनोज चौधरी को गोली लग गई है। मनोज के भाई सुबोध कुमार चौधरी ने दावा किया कि उक्त सभी लोग हत्याकांड में संलिप्त हैं।

वारंट जारी लेकिन गिरफ्तारी नहीं

मामले में चार अगस्त को आरोप का गठन हुआ। अभियोजक की ओर से 18 गवाहों ने गवाही दी। बता दें कि इस मामले में दो मई 16 को राजू उर्फ राजेश यादव का जमानत रद किया गया। 26 सितंबर को उसे फरार घोषित कर दिया गया। वारंट जारी होने के बाद भी पुलिस उसे गिरफ्तार नहीं कर सकी है। बता दें कि अन्य मुदालयों से संबंधित सत्रवाद संख्या 510/14 जो मुन्ना मुखिया एवं सत्रवाद संख्या 68/14 जो यमुना यादव एवं हर्षनाथ झा के विरुद्ध है, दोनों मामले गवाही पर लंबित हैं। शेष अभियुक्तों पर मामले में पुलिस द्वारा अनुसंधान जारी रखा गया है।

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