Move to Jagran APP

वेनिस: जहां फिजाओं में गूंजता है रोमांस

पानी पर बसा है एक शहर। जिसकी निहायत हसीन इमारतें पुराने वेनेशियन आर्किटेक्चर की बनी हैं। यहां फिजाओं में रोमांस गूंजता है। जानेंगे वेनिस में क्या है खास।

By Priyanka SinghEdited By: Published: Thu, 11 Jul 2019 03:51 PM (IST)Updated: Thu, 11 Jul 2019 04:04 PM (IST)
वेनिस: जहां फिजाओं में गूंजता है रोमांस
वेनिस: जहां फिजाओं में गूंजता है रोमांस

नॉर्थ ईस्ट इटली का एक छोटा सा शहर है वेनिस, जो लगभग 118 द्वीपों से बना है। एक द्वीप से दूसरे द्वीप के बीच एक छोटी सी नहर ही विभाजन रेखा का काम करती है जिसे पुल से पार कर लिया जाता है। यहां मोटर गाड़ियों के बजाय कश्तियां चलती हैं क्योंकि नहरें ही सड़कों का काम करती हैं। माना जाता है कि वेनिस का निर्माण रोमन सभ्यता के पतन के बाद हुआ था और समय के साथ वेनेशियन कला भी निखरती गई।

loksabha election banner

जितना सुंदर दिन का नजारा, उतनी सुहानी शाम

वेनिस को दिन में देखना जितना आनंद देता है उतनी ही सुहानी है यहां की शाम। दरअसल पहले हमने वेनिस का रात का नजारा ही देखा। वेरोना, जिसे 'सिटी ऑफ रोमियो जूलियट' कहते हैं, में 'जूलियट की बालकनी' देखने और शहर को पैदल घूमने के बाद हम शाम को वेनिस पहुंचे। होटल में चेकइन के बाद कुछ ही देर में हम वेनिस में डिनर के लिए निकल पड़े। वाटर बस से हम चल पड़े मुख्य वेनिस की ओर। रात में समंदर और भी खूबसूरत लग रहा था। केनाल बने समंदर के दोनों किनारों पर सालों पुरानी, हेरीटेज बन गई ईमारतें नजर आ रहीं थीं जो तेरहवीं से अठारहवीं शताब्दी के दौरान वेनिस के रईस परिवारों द्वारा बनाई गई हैं। पीली रोशनी से जगमग करते किनारे और काले दिखते समंदर में बहती बोट, लगभग आधा रास्ता मोबाइल से वीडियो बनाने और इस खूबसूरती को कैद कर लेने में ही निकला।

पानी पर तैरते रेस्तरां में डिनर

वेनिस एक असली शहर नहीं बल्कि ख्वाबों में रची गई कालाकृति जैसा दिखता है। एक तरफ अद्भुत ईमारतें और दूसरी तरफ बेहद पतली, संकरी गलियां। यहां की एक गली को दुनिया की सबसे पतली गलियों में शुमार किया जाता है। इसकी चौड़ाई 53 सेंटीमीटर है। इन्हीं गलियों को पैदल पार करने के बाद हमारे सामने था वह लोकल रेस्तरां जहां हमें फोर कोर्स डिनर करना था। व्हाइट और रेड वाइन हमारे लिए तैयार थीं। इटेलियन वेटर्स किसी फिल्म के हीरो जैसे नजर आ रहे थे। इस खुशनुमा माहौल में वेनेशियन खाने के तीन मेन्यू, मीट, फिश और वेज थे। हमने वेज मेन्यू ही चुना। इटली आकर वैसे भी पिज्जा, पास्ता, नूडल्स और चीज से हमारी दोस्ती गहरी हो गई थी। हां, यहां के हर खाने में ऑलिव का होना स्वास्थ्य के प्रति संजीदगी दिखाता है। सबसे पहले ऑलिव और चीज के साथ टमाटर के स्लाइस परोसे गए और फिर वेज नूडल्स। इसके बाद सोते की गई सब्जियां, जिनमें ब्रोकली, बैंगन, टमाटर, आलू के बड़े टुकड़े सजाए गए थे। स्वीट डिश में केक सर्व हुआ।

गंडोला में लोकगीत गाते हैं कलाकार

दूसरे दिन सुबह जब फिर केनाल पार कर मुख्य वेनिस पहुंचे तो गंडोला राइड का अनुभव मिला। गंडोला एक तरह की लम्बी नोंक वाली 11 मीटर लम्बी नाव थी जिसे नाविक उसके पिछले छोर पर खड़े होकर चलाता है। पास चल रहे गंडोला में गिटार बजाता कलाकार और लोकगीत गाता गायक चल रहा था। एकदम फिल्मी माहौल था। लगभग 40 मिनट की सैर में गंडोला शहर की पानी की गलियों में ले जाता है और उन पुलों के नीचे से गुजरता है जो पूरे शहर को जोड़ते हैं। संकरी पानी की गलियों में जब सामने से दूसरी नाव या मोटर बोट आ जाती है तो उसे निकलने का रास्ता देना भी एक टास्क होता है। मोड़ पर ही रूक जाती हैं कश्तियां। पूरे शहर में 400 से ज्यादा पुल हैं। घर की खिड़की हो या दरवाजा, पानी में ही खुलता है। घर से निकले तो नीचे पानी और बाहर पार्क की गई है एक नाव। इसी से घरों में रहने वाले और उनका सामान आता जाता है।

 

सेंट मार्क स्क्वेयर बनाम यूरोप का ड्राईंग रूम

यह पूरा शहर अपने लगून के साथ 1987 में यूनेस्को की व‌र्ल्ड हेरीटेज साईट्स में शामिल किया गया। पूरा वेनिस शहर सर्पाकार ग्रैंड केनाल के आसपास ही बसा हुआ है। यही इस शहर की जीवनरेखा है। ग्रैंड केनाल पर बना रियाल्टो ब्रिज वेनिस का एक दर्शनीय स्थल है। यहां प्रमुख है सेंट मार्क स्क्वेयर। इसे नेपोलियन ने 'यूरोप का ड्राईंग रूम' कहा था। इसी के पास सेंट मार्क बेसेलिका व डाज पेलेस हैं जो वेनिस के पुरातत्व स्वरूप के प्रमाण हैं। इसके अलावा वेनिस में सेंट मार्क स्कूल, फोनिक्स थियेटर, मेडोन्ना डेल ओर्टो चर्च, सेंट जॉन एन्ड पाल चर्च, गोंडोला बोटयार्ड के अलावा कई अन्य देखने लायक जगह हैं। चौक में 323 फीट ऊंचा एक बेल टावर और दो खूबसूरत कॉलम पर लॉयन ऑफ वेनिस की मूर्ति और हाथ में भाला लिये संत सेंट थियोडोर खड़े हैं।

कला व संगीत है पहचान

तीन लाख से भी कम आबादी वाले इस शहर में रोजाना कम से कम पचास हजार सैलानी होते ही हैं। अपनी कला, शिल्प, फैशन व संगीत के लिए भी वेनिस की दुनियाभर में पहचान है। यहां का 70 साल पुराना फिल्म फेस्टिवल एक जाना-माना इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल है। यहां हॉलीवुड व बॉलीवुड की कई प्रसिद्ध फिल्मों की शूटिंग हुई है। उतना ही मशहूर यहां का थिएटर भी है। संगीत में भी इसका नाम रहा है और साहित्य में भी वेनिस का वर्णन विलियम शेक्सपीयर ने अपने प्रसिद्ध नाटक 'मर्चेंट ऑफ वेनिस' में किया है। क्रिसमस पर यहां होने वाले कार्निवाल में दुनिया भर से तकरीबन तीस लाख लोग भाग लेने के लिये आते हैं। इसमें मुखौटे व रंग बिरंगी पोशाकों में सज कर लोग भाग लेते हैं। वेनिसवासी कार्निवाल के दौरान किश्तियों को कई रंगों में रंग देते हैं। शहर भर में परेड निकलती है। कार्निवल में अलग-अलग तरह के मास्क होते हैं और दिलचस्प यह कि हर मास्क का अलग मतलब होता है।

वेनिस एड्रिआटिक सागर के उत्तर-पश्चिम की ओर एक छिछली झील (लगून) के बीच बसा है। यह लगून तकरीबन 51 किलोमीटर लंबा और 14 किलोमीटर चौड़ा है। एड्रियाटीक सागर के लगून में एक नहर बनी है जो चार किलोमीटर लम्बी है। यह एक चौड़ी नदी सी लगती है। वेनिस की गलियों में कांच के कलात्मक सामान बनाने की फैक्ट्रियां हैं। वेनिस का मुरानो द्वीप या वेनेशियन ग्लास दुनिया भर में मशहूर है। यहां के बने मुरानो बीड्स, जो कांच के मनके होते हैं, विश्व प्रसिद्ध हैं। एक और द्वीप बुरानो में लेस और कढ़ाई का काम होता है। वैसे तो इटली का हर शहर मंहगा है, लेकिन वेनिस यूरोप का सबसे महंगा शहर लगा। मुख्य वेनिस में ही विंडो शॅपिंग के लिए कई दुकानें हैं जहां टी-शर्ट ऑयल पेंटिंग्स, मूर्तियां व कई प्रकार के सोवेनियर गिफ्ट आइटम्स मिलते हैं। मजे की बात है कि इटली का अधिकतर खुदरा बाजार बंग्लादेश से आए लोगों ने संभाल रखा है।

यशा माथुर


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.