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Yoga improves Metabolism: खराब पाचन बन सकता है कई समस्याओं की वजह, इन 2 योगासनों से रखें इसे चुस्त- दुरुस्त

Yoga improves metabolism मेटाबॉजिल्म की गड़बड़ी को मामूली समझने की गलती न करें क्योंकि ये कई सारी समस्याओं की वजह बन सकती है। तो इसे चुस्त-दुरुस्त रखने के लिए हेल्दी खानपान के साथ ही इन दो योगासनों को भी अपने रूटीन में शामिल करें।

By Priyanka SinghEdited By: Published: Thu, 19 May 2022 08:34 AM (IST)Updated: Thu, 19 May 2022 08:34 AM (IST)
Yoga improves Metabolism: खराब पाचन बन सकता है कई समस्याओं की वजह, इन 2 योगासनों से रखें इसे चुस्त- दुरुस्त
Yoga improves digestion: पाचन तंत्र को दुरुस्त रखने वाले योगासन

मेटाबॉलिज्म हर एक जीवित प्राणी को स्वस्थ्य बनाए रखने का काम करती है। इसे दुरुस्त रखकर आप पेट से लेकर किडनी, लिवर, रीढ़ की हड्डी संबंधी कई समस्याओं से दूर रह सकते हैं। हेल्दी लाइफस्टाइल और खानपान की इसमें बहुत महत्वपूर्ण भूमिका होती है। इसके अलावा आप कुछ योगासनों की मदद से भी मेटाबॉलिज्म को सुधार सकते हैं। आइए जानते हैं इनके बारे में। 

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1. विपरीत करणी

इसके फायदे

इस आसन को करने से शरीर में मौजूद खराब खून निकल जाता है और नए खून का संचार बढ़ता है। यह थायरॉयड ग्लैंड को सक्रिय कर मेटाबॉलिज्म बढ़ाने में मदद करता है।

कैसे करें

- मैट पर पीट के बल लेट जाएं।

- पैरों को एक साथ करते हुए धीरे-धीरे ऊपर उठाएं।

- हाथों को नितंब के नीचे रखकर शरीर के निचले हिस्से को अपनी क्षमतानुसार ऊपर उठाने की कोशिश करें।

- आराम से सांस लें और छोड़ते रहें।

- अपनी क्षमतानुसार जब तक इस स्थिति में रह सकते हैं बने रहें।

- धीरे-धीरे सांस छोड़ते हुए पैरों को नीचे ले आएं।

- इस आसन को कम से कम 3 से 5 बार करना है।

कब न करें

- बहुत ज्यादा वजन है तो इसे बिना ट्रेनर की मदद से न करें।

- प्रेग्नेंट महिलाएं इस आसन को करना अवॉयड करें।

- हार्ट प्रॉब्लम्स होने पर भी इस आसन को न करें।

- स्पाइन से जुड़ी समस्याओं में भी इसे नहीं करना है।

2. पश्चिमोत्तानासन

इसके फायदे

लिवर को हेल्दी रखने में फायदेमंद होता है यह आसन। किडनी के फंक्शन को इस आसन के अभ्यास से दुरुस्त रखा जा सकता है। इस आसन को करने से पेट के अंदरूनी अंगों की अच्छी तरह से मालिश हो जाती है। सबसे जरूरी यह पाचन तंत्र सुधारने में मदद करता है।

कैसे करें

- पैर आगे की तरफ फैलाकर बैठ जाएं। पंजों को अपनी तरफ खींच कर रखें।

- सांस भरते हुए दोनों हाथों को ऊपर की ओर उठाएं।

- अब धीरे-धीरे सांस छोड़ते हुए हाथों को नीचे की ओर ले आएं और पैर के पंजों को पकड़ने की कोशिश करें।

- इस स्थिति में अपने माथे यानी सिर को घुटने से स्पर्श कराने की कोशिश करें।

- कुछ सेकेंड तक इस स्थिति में बने रहें फिर नॉर्मल पोजीशन में आ जाएं।

Pic credit- freepik


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