चेहरे पर मुहांसे हो या दांतों में की़ड़े, नीम दिलाएगा इन सबसे निजात
नीम में डायबिटिज बैक्टिरिया और वायरस से लड़ने के गुण पाए जाते हैं। नीम के तने जड़ छाल और कच्चे फलों में कई रोगों से लड़ने का गुण पाया जाता है। जानते हैं ऐसे ही दूसरे फायदों के बारे में।
नीम में इतने गुण हैं कि ये कई तरह के रोगों के इलाज में काम आता है। यहां तक कि इसे भारत में ‘गांव का दवाखाना’ कहा जाता है। यह अपने औषधीय गुणों की वजह से आयुर्वेदिक मेडिसिन में पिछले चार हजार सालों से भी ज्यादा समय से इस्तेमाल हो रहा है। नीम को संस्कृत में ‘अरिष्ट’ भी कहा जाता है, जिसका मतलब होता है, ‘श्रेष्ठ, पूर्ण और कभी खराब न होने वाला।’ नीम के अर्क में मधुमेह यानी डायबिटिज, बैक्टिरिया और वायरस से लड़ने के गुण पाए जाते हैं। नीम के तने, जड़, छाल और कच्चे फलों में शक्ति-वर्धक और मियादी रोगों से लड़ने का गुण भी पाया जाता है। इसकी छाल खासतौर पर मलेरिया और त्वचा संबंधी रोगों में बहुत उपयोगी होती है, आइए जानते हैं नीम के आयुर्वेदिक गुणों के बारे में...
नीम का आयुर्वेदिक उपयोग
जॉन्डिस/पीलिया या पेट में कीड़े
नीम के रस को शहद के साथ दिन में 2 बार लें।
त्वचा रोग
1-3 ग्राम पंचनिंबादि चूर्ण का प्रयोग करें।
नीम का काढ़ा 20-25 ml दिन में 2 बार लें।
नीम के पानी से नहाएं।
एक्जिमा
धतूरे के स्वरस में पान, नीम के पत्ते मिलाएं। पेस्ट बनाकर लगाएं।
मासिक दर्द
नीम के छाल का काढ़ा दिन में 2 बार लें।
दांतों में कीड़े
नीम के काढ़े से कुल्ला करें।
मुहांसों की परेशानी
नीम और दही को मिलाकर लेप बनाएं। लेप को मुंह पर लगाएं।
बाल झड़ना या सफेद होना
नीम का तेल या नीम का पेस्ट बनाएं। बालों की जड़ों में लगाएं।