Dementia Prevention: कम खाना, नियमित एक्सरसाइज और शराब से दूरी डिमेंशिया से बचाने में मददगार
Dementia Prevention शोधकर्ताओं ने कहा है कि कम खाना नियमित एक्सरसाइज शराब और सिगरेट के सेवन में कमी कर डिमेंशिया को कम किया जा सकता है।
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल। अब तक यही माना जाता है कि डिमेंशिया यानी याददाश्त कम होने की बीमारी का ज्यादातर संबंध पारिवारिक पृष्ठभूमि यानी पारिवारिक जीन से संबंधित है लेकिन लेंसेट पत्रिका में छपी नई रिपोर्ट में कहा गया है कि लाइफस्टाइल का डिमेंशिया से खास संबंध है। लेंसेट में छपी रिपोर्ट में विश्व के 28 लीडिंग डिमेंशिया स्पेशलिस्ट ने इस पर कई सालों से रिसर्च किया है। इसके बाद इस नतीजे पर पहुंचे हैं कि लाखों लोग अपने लाइफस्टाइल में बदलाव लाकर डिमेंशिया से दूर हो सकते हैं।
अध्ययन में यह बात सामने आई कि लाइफस्टाइल में सुधार कर कम से कम 40 प्रतिशत डिमेंशिया के मामले को खत्म किया जा सकता है या इसे दूर किया जाता है। शोधकर्ताओं ने कहा है कि कम खाना, नियमित एक्सरसाइज, शराब और सिगरेट के सेवन में कमी कर डिमेंशिया के जोखिम को अविश्वसनीय रूप से कम किया जा सकता है।
डिमेंशिया पर अब तक का सबसे बड़ा शोध
अपनी तरह के सबसे बड़े इस शोध में पाया गया कि ब्रिटेन में डिमेंशिया से पीड़ित 8.50 लाख लोगों में से 3.40 लाख लोग ऐसे थे जिनमें लाइफस्टाइल के कारण यह बीमारी हुई थी। इनकी मेडिकल हिस्ट्री में लाइफस्टाइल और इनवायरोनमेंटल फेक्टर को डिमेंशिया के लिए मुख्य वजह माना गया। लाइफस्टाइल में 12 ऐसे फेक्टर चिन्हित किए गए जिनके कारण लोगों में डिमेंशिया की बीमारी हुई। इन फेक्टरों में शिक्षा को भी महत्वपूर्ण कारक माना गया।
शोध में कहा गया कि अगर स्कूली शिक्षा सही से नहीं हुई है तो ऐसे व्यक्ति में डिमेंशिया के लक्षण पहले दिखने लगते हैं। शोध में पाया गया कि अगर स्कूली शिक्षा सही तरीके से नहीं हुई तो ऐसे लोगों में डिमेंशिया होने का जोखिम 60 प्रतिशत तक बढ़ जाता है। शोध में देखा गया कि 7 प्रतिशत ऐसे लोग थे जिनमें अधूरी स्कूली शिक्षा डिमेंशिया के लिए जिम्मेदार थे। हीयरिंग लॉस यानी कम सुनाई की बीमारी भी डिमेंशिया का कारण बन सकता है। इसलिए शोध में सलाह दी गई है कि अगर हीयरिंग लॉस की समस्या है तो तुरंत हीयरिंग एड लगाएं। शोध में डिमेंशिया होने के जो अन्य कारण बताए गए, उनमें ब्रेन इंज्युरी, हाई ब्लड प्रेशर, 21 यूनिट से ज्यादा ड्रिंकिंग, स्मोकिंग, सोशल आइसोलेशन, डिप्रेशन, नियमित एक्सरसाइज न करना, डाइबिटीज, एयर पॉल्यूशन शामिल हैं।
Written By Shahina Noor