यूके में एजुकेशन और वर्क एक्सपीरियंस का चांस
अगर आप यूके के वर्क कल्चर को समझने के साथ-साथ वहां चल रहे रिसर्च वर्क से एक्सपीरियंस लेना चाहते हैं, तो यह ग्रांट आपके सपने को पूरा कर सकती है। इस ग्रांट के लिए अप्लाई करने की लास्ट डेट 31 दिसंबर 2013 रखी गई है।
बहुत से स्टूडेंट्स यूके के वर्क कल्चर और वहां चल रहे रिसर्च वर्क्स का एक्सपीरियंस लेना चाहते हैं, लेकिन आर्थिक कारणों से अपना यह सपना पूरा नहीं कर पाते। चार्ल्स वैलेस इंडिया ट्रस्ट स्कॉलरशिप ऐसे स्टूडेंट्स के लिए शॉर्ट रिसर्च ऐंड प्रोफेशनल विजिट ग्रांट लेकर आई है। जो कैंडिडेट्स इस ग्रांट के लिए सेलेक्ट होते हैं, उन्हें 10 हजार यूरो दिए जाते हैं।
सब्जेक्ट
यह ग्रांट हिस्ट्री, लिट्रेसी, आर्कियोलॉजी, हिस्ट्री ऑफ ऑर्ट, फिलॉसिफी, परफॉर्मिग ऐंड क्रिएटिव ऑर्ट्स सब्जेक्ट्स के लिए दी जाती है। ग्रांट के लिए हर साल 10 से 15 स्टूडेंट्स सेलेक्ट होते हैं। इसके लिए चुने गए स्टूडेंट्स को यूके के रिसर्च वर्क में शामिल होने का चांस मिलता है और वे आर्ट, हेरिटेज कंजर्वेशन ऐंड ह्यूमैनिटीज की फील्ड में प्रोफेशनल्स के साथ वर्क का एक्सपीरियंस भी मिलता है।
एक्स्ट्रा बेनिफिट
इस ग्रांट के लिए चुने गए कैंडिडेट अगर अपनी निर्धारित समय सीमा (तीन सप्ताह) से ज्यादा दिनों तक यूके में रुकना चाहते हैं, तो वे इंडियन काउंसिल फॉर हिस्टारिकल रिसर्च जैसी ग्रांट्स का बेनिफिट उठा सकते हैं। इसके लिए उन्हें पहले से निर्धारित की गई प्रक्रिया का पालन करना होगा।
फैसिलिटीज
ग्रांट में दिए जाने वाले दस हजार यूरो अमाउंट की फेलोशिप में यूके की शार्ट टर्म रिसर्च में आने वाला खर्च, प्रोफेशनल विजिट में लगने वाली राशि, प्रोफेशनल्स के साथ वर्किग में खर्च होने वाला अमाउंट आदि शामिल है।
एलिजिबिलिटी
इस स्कॉलरशिप के लिए वही कैंडिडेट अप्लाई कर सकते हैं, जिनकी उम्र 25 से 45 साल के बीच हो और वे इंडियन सिटीजन हों। कैंडिडेट ग्रेजुएशन कंप्लीट कर चुके हों और किसी रिसर्च प्रोजेक्ट में कम से कम चार साल तक काम भी किया हो। ग्रांट के लिए अप्लाई करते समय कैंडिडेट से पूछा जाता है कि यूके में मिले एक्सपीरियंस को वह इंडिया में आकर किस तरह यूज करेगा।
हाऊ टु अप्लाई
इस ग्रांट के लिए कैंडिडेट सीडब्ल्यूआईसी लंदन में सीधे ईमेल के जरिए अप्लाई कर सकते हैं। अप्लाई करने वाले कैंडिडेट को दो या तीन पेज का एक क्लीयर स्टेटमेंट भी देना है कि वह यूके जाकर क्या सीखना चाहता है और वहां मिले एक्सपीरियंस का इंडिया में कैसे यूज करेगा, एप्लीकेशन के साथ ही कैंडिडेट्स को रिफरेंस भी भेजने होंगे, जिनसे आपके वर्क और परफॉर्मेस के बारे में पूछा जा सके। कैंडिडेट को अपनी एज का सर्टिफिकेट भी भेजना है और साथ ही यह भी प्रमाणित करना है कि उसे इससे पहले इस स्कीम का कोई बेनिफिट नहीं मिला है। ग्रांट के लिए सेलेक्ट लोगों को साल 2014 मार्च के अंत या फिर अप्रैल की शुरुआत में कॉल किया जाएगा।
मोर डिटेल्स
ग्रांट से रिलेटेड अधिक जानकारी के लिए www.wallace-trusts.org.uk/cwt_india.html या cwit@in.britishcouncil.orgको लिखें।
शरद अग्निहोत्री