हो भाषा के साहित्यकार कमल लोचन का लाइफ टाइम एचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित
आदिवासी हो समाज महासभा की ओर से झारखंड के हो भाषा साहित्य के मुख्य कर्णधारों में से एक कमल लोचन कोड़ाह को गोइलकेरा प्रखंड स्थित आराहासा के सेयां नितिर तुरतुंग आकड़ा के पुस्तकालय सह अध्ययन केंद्र की स्थापना दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में लाइफ टाइम एचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया।
जागरण संवाददाता, चाईबासा : आदिवासी हो समाज महासभा की ओर से झारखंड के हो भाषा साहित्य के मुख्य कर्णधारों में से एक कमल लोचन कोड़ाह को गोइलकेरा प्रखंड स्थित आराहासा के सेयां नितिर तुरतुंग आकड़ा के पुस्तकालय सह अध्ययन केंद्र की स्थापना दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में लाइफ टाइम एचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया। झारखंड सरकार के कार्मिक प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग के अवर सचिव के पद से सेवानिवृत्त कमल लोचन कोड़ाह ने हो भाषा साहित्य के गद्य एवं पद्य दोनों विधाओं में उच्च स्तरीय लेखन से समाज को काफी लाभ पहुंचाया है। उनकी कृतियों में जोहार, ईटा भट्ठा नला बसा, बीर बुरु बोंगा, सरजोम बा तरल, जिबोन बाड़ा, लड़का हो कोल-एक परिचय, बले बुरु ओंडो: सिड राजा, सरजोम बा डुम्ब:, पेरेम सनड, हो लोक गीत-एक संग्रह, लाको बोदरा व्यक्तित्व एवं कृतित्व, हो आदिवासी एक परिचय, हो आदिवासी का पारंपरिक मानकी-मुंडा स्वशासन, लुकु प्रमुख हैं। कार्यक्रम में साहित्यकार कमल लोचन को आदिवासी हो समाज महासभा के शिक्षा सचिव जवाहरलाल बांकिरा, शिक्षा प्रेमी सह बैंक अधिकारी दुम्बी दिग्गी के हाथों प्रशस्ति पत्र और शाल ओढ़ाकर सम्मानित किया गया। पूर्व में कमल लोचन को राज्य सरकार के द्वारा कई पुरस्कारों से नवाजा गया है। इसमें पद्मश्री डा. राम दयाल मुंडा स्मृति सम्मान, ओत गुरु कोल लाको बोदरा स्मृति सम्मान, हनुमान सरावगी सम्मान समेत दस पुरस्कार शामिल हैं। सम्मान समारोह में युवा साहित्यकार सह सहायक प्रोफेसर दिलदार पुरती, युवा साहित्यकार जगन्नाथ हेस्सा, रवींद्र बाल शिक्षा केंद्र असुरा, झींकपानी के निदेशक सिकंदर बुड़ीउली, शिक्षा प्रेमी संग्राम सिंह समेत बड़ी संख्या में अभिभावक व विद्यार्थी उपस्थित थे।