बाल विवाह व बालश्रम गंभीर अपराध : करण पाड़ेया
जिला विधिक सेवा प्राधिकार के तत्वावधान में बुधवार को सदर प्रखंड के सिम्बिया गांव स्कूलसाई मैदान में ग्रामीणों के बीच विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया।
जागरण संवाददाता, चाईबासा : जिला विधिक सेवा प्राधिकार के तत्वावधान में बुधवार को सदर प्रखंड के सिम्बिया गांव स्कूलसाई मैदान में ग्रामीणों के बीच विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। इसमें पीएलवी करन पाड़ेया, उदय शंकर प्रसाद, हेमराज निषाद, स्वाति मुखर्जी, नीतू सार व अलकमा रूही उपस्थित थीं। शिविर को संबोधित करते हुए पीएलवी करण पाड़ेया ने कहा कि लोग अपने हक और अधिकार के प्रति सजग रहे। ग्रामीण महिला एवं पुरुषों को जागरूक करते हुए भारत में वरिष्ठ नागरिक यानी सीनियर सिटीजन के कल्याण के लिए बहुत सारी योजना के तहत लाभ मिलता है। इसके बारे में बताया कि जैसे लोअर टैक्स बीमारियों के लिए कर में छूट, हवाई यात्रा में छूट, रेलवे यात्रा में छूट, मुंसिपल कॉरपोरेशन और स्टेट गवर्नमेंट के बसों में छूट दिया जाता है। इसके अलावा सीनियर सिटीजन को निवेश पर ज्यादा ब्याज मिलता है। अस्पताल, बैंक, टिकट काउंटर में उनके लिए अलग से कतार लगती है एवं वे अपने सुनवाई के लिए कोर्ट में अलग से आवेदन लिख सकते हैं। इसके अलावा बालश्रम एक अपराध है। इसके तहत 14 वर्ष से कम आयु के बच्चों से किसी भी तरह का मेहनत मजदूरी या शारीरिक काम लेना अपराध माना जाता ऐसा करने वालों को सजा एवं जुर्माना का प्रावधान है। बाल विवाह निषेध अधिनियम के बारे जानकारी देते हुए बताया कि बाल विवाह एक गंभीर अपराध है। लड़कियों के लिए 18 वर्ष एवं लड़कों के लिए 21 वर्ष न्यूनतम आयु सीमा विवाह हेतु निर्धारित की गई है। विधिक जागरूकता शिविर में काफी संख्या में स्थानीय ग्रामीण पुरुष एवं महिलाएं उपस्थित थीं।