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रांची में राष्ट्रीय रेस वाकिंग चैंपियनशिप शुरू, रेलवे की भावना ने किया ओलंपिक क्वालीफाई

Jharkhand. रेस वाकिंग चैंपियनशिप 15 और 16 फरवरी को होगी। पहली बार झारखंड इस चैंपियनशिप की मेजबानी कर रहा है।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Published: Sat, 15 Feb 2020 10:02 AM (IST)Updated: Sat, 15 Feb 2020 03:13 PM (IST)
रांची में राष्ट्रीय रेस वाकिंग चैंपियनशिप शुरू, रेलवे की भावना ने किया ओलंपिक क्वालीफाई
रांची में राष्ट्रीय रेस वाकिंग चैंपियनशिप शुरू, रेलवे की भावना ने किया ओलंपिक क्वालीफाई

रांची, जासं। राष्ट्रीय रिकाॅर्ड के साथ रेलवे की भावना जाट ने टोक्यो ओलंपिक के लिए क्वालीफाई कर लिया है। राजस्थान की रहने वाली भावना ने यह उपलब्धि शनिवार को रांची के मोरहाबादी मैदान में आयोजित सातवीं राष्ट्रीय व तीसरी अंतरराष्ट्रीय वाकिंग रेस चैंपियनशिप  में प्राप्त की। पुरुष वर्ग में सेना के संदीप कुमार 34 सेकेंड से क्वालीफाई करने से पीछे रह गए। भावना टोक्यो ओलंपिक में क्वालीफाई करने वाली भारत की दूसरी व पहली महिला एथलीट है। भारत के इरफान पुरुष वर्ग में पहले ही ओलंपिक का टिकट कटा चुके हैं। सपना ने 20 किलोमीटर वाकिंग में एक घंटा 29 मिनट व 54 सेकेंड के साथ नया राष्ट्रीय रिकाॅड बनाते हुए स्वर्ण पर भी कब्जा जमाया। महिलाओं के लिए ओलंपिक क्वालीफाई का समय एक घंटा 31 मिनट व पुरुषों के लिए एक घंटा 21 मिनट है। पहले दिन पुरुष वर्ग में 40 व महिला वर्ग में 32 एथलीटों ने भाग लिया।

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दो दिवसीय रेस वाकिंग चैंपियनशिप का समापन कल यानि 16 फरवरी को होगा। पहली बार झारखंड इस चैंपियनशिप की मेजबानी कर रहा है। झारखंड एथलेटिक्स संघ के तत्वावधान में हो रहे इस दो दिवसीय चैंपियनशिप में 140 एथलीट भाग ले रहे हैं। इसमें श्रीलंका, बांग्लादेश, नेपाल के पांच एथलीट भी भाग ले रहे हैं। इस चैंपियनशिप में भाग ले रहे एथलीटों की नजर टोक्यो ओलंपिक क्वालीफाइ करने पर है।

भावना ने शुरू में ही बढ़त हासिल की

सुबह साढ़े छह बजे से मोरहाबादी स्थित उपायुक्त निवास से गांधी प्रतिमा तक 500 मीटर का लूप तैयार किया गया था। इसमें एथलीटों को चलना था। 20 किलोमीटर महिला वर्ग की स्पर्धा शुरू होते ही भावना जाट ने तेज शुरुआत करते हुए अन्य पर बढ़त बना ली। 20 किलोमीटर में एथलीटों को 500 मीटर लूप में 20 बार आना व जाना पड़ा। इसमें भावना ने 2018 में बेबी सौम्या द्वारा बनाए गए एक घंटा 31 मिनट व 29 सेकेंड के रिकाॅर्ड को ध्वस्त करते हुए स्वर्ण पर भी कब्जा जमाया। महिला वर्ग में रेलवे की प्रियंका गोस्वामी ने अपना सर्वश्रेष्ठ समय के साथ (1:31:36 सेकेंड) रजत पदक व करमजीत कौर (1:33:41 सेकेंड) कांस्य पदक जीतने में सफल रही।

संदीप कुमार क्वालीफाई करने से चूके पर स्वर्ण पर जमाया कब्जा

पुरुष वर्ग में संदीप कुमार भले ही ओलंपिक क्वालीफाई करने से चूक गए पर 20 किलोमीटर का स्वर्ण जीतने में सफल रहे। संदीप 01:21:34 सेकेंड के साथ पहले स्थान पर रहे। राहुल कुमार 01:21:59  सेकेंड के साथ रजत व सेना के ही 01:22:27 सेकेंड के साथ कांस्य पदक जीता। विकास रामगढ़ के रहने वाले हैं और सेना से जुड़े हैं। देवेंद्र सिंह 01:23:17 सेंकेंड के साथ चौथे व गणपित कृष्णन 01:24:04 सेकेंड के साथ पांचवें स्थान पर रहे।

रांची का मौसम व माहौल देख गदगद हुए एथलीट

वाकिंग चैंपियनशिप में भाग लेने आए एथलीट रांची का मौसम व माहौल देखकर गदगद नजर आए। साई के कोच व 34वें नेशनल गेम्स में झारखंड का प्रतिनिधत्व करने वाले पंजाब के गुरमीत सिंह ने कहा कि रांची का माहौल शानदार है। मौसम ऐसा कि एथलीटों को कोई परेशानी नहीं। आयोजन स्थल पर हरियाली है। इस कारण खिलाड़ियों को ऑक्सीजन की कमी भी नहीं पड़ी। दर्शकों ने भी उत्साह बढ़ाया। सड़क समतल, बीच में कोई डिवाइडर नहीं। ऐसा बहुत कम मिलता है। यही कारण है कि आज जिन एथलीटों ने भाग लिया, उनके अपने प्रदर्शन में सुधार देखने को मिला।

भावना ने रांची को कहा थैंक्यू

ओलंपिक की टिकट पाने के बाद प्रसन्न रेलवे की भावना जाट ने रांची को थैंक्यू कहा। बातचीत के क्रम में भावना ने कहा कि जो माहौल हमें यहां मिला, वह कम ही मिलता है। चैंपियनशिप के लिए परफेक्ट मौसम व माहौल ने हमलोगों में नई उर्जा का संचार किया जिसका परिणाम है कि मेरे व्यक्तिगत प्रदर्शन में सुधार हुआ और टोक्यो ओलंपिक के लिए क्वालीफई करने में सफल रही। दर्शकों का भी प्यार मिला। रांची को मैं थैक्यू कहूंगी। यहां बड़े-बड़े खेल आयोजन हो सकते हैं। भावना ने कहा कि ओलंपिक का टिकट पाने के बाद मेरी जिम्मेदारी बढ़ गई है। सबसे बड़े खेल में मैं देश का प्रतिनिधत्व करूंगी, ऐसे में मुझे और परिश्रम करने की आवश्यकता है। अब मेरा पूरा ध्यान ओलंपिक पर है और वहां भी बेहतर प्रदर्शन करना चाहूंगी।

सड़क के दोनों ओर खड़े होकर दर्शकों ने बढ़ाया उत्साह

मोरहाबादी में वैसे ही सुबह टहलने वालों की भीड़ रहती है। शनिवार को जब रेस वाकिंग चैंपियनशिप के लिए स्पर्धा शुरू हुई तो खिलाड़ियों के अलावा आम लोग व सुबह टहलने वालों ने एथलीटों का सड़क के दोनों ओर खड़े होकर उत्साह बढ़ाया। हालांकि इस आयोजन को लेकर मोरहाबादी की एक सड़क को बंद कर दिया गया था। इससे सुबह टहलने वालों को थोड़ी परेशानी भी हुई।

एथलीटों के लिए एक और मौका

रांची में चल रहे रेस वाकिंग में जो एथलीट ओलंपिक का टिकट नहीं कटा पाएंगे, उनके लिए एक और मौका होगा। झारखंड एथलेटिक्स संघ के अध्यक्ष मधुकांत पाठक ने बताया कि बेलारूस में विश्व चैंपियनिशप का आयोजन होना है। जो एथलीट यहां सफल नहीं होंगे, उनके पास एक और मौका होगा। पाठक ने एथलीटों के प्रदर्शन पर कहा कि यहां उन्हें ऑक्सीजन की कमी नहीं हो रही है। इस कारण उनका दम नहीं फुल रहा है। रांची में पहली बार इस चैंपियनशिप का आयोजन हो रहा है और खिलाड़ी यहां के मौसम व व्यवस्था से खुश हैं। यह बड़ी बात है।

बता दें कि इस चैंपियनशिप में 300 से ज्यादा एथलीटों के भाग लेने की संभावना थी। लेकिन अधिकांश विदेशी खिलाडिय़ों ने कोरोना वायरस के कारण इस प्रतियोगिता से दूरी बना ली और शुक्रवार की रात तक 140 एथलीट ही रांची पहुंचे। एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के हाई परफारर्मेंस डायरेक्टर वोल्कर हारमन ने बताया कि जो भी एथलीट ओलंपिक क्वालीफायर समय को छुएगा, वह टोक्यो ओलंपिक के लिए क्वालीफाइ कर जाएगा। भारतीय एथलीटों के संबंध में उन्होंने कहा कि वे बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं और एक एथलीट पहले ही ओलंपिक के लिए क्वालीफाइ कर चुका है।

झारखंड एथलेटिक्स संघ के अध्यक्ष मधुकांत पाठक ने बताया कि रांची में पहली बार इस चैंपियनशिप का आयोजन किया जा रहा है। 500 मीटर दूरी में ही इसका आयोजन करने का उद्देश्य है कि दर्शक इसे देखें और समझें। वैसे भी इस आयोजन के लिए समतल सड़क की आवश्यकता होती है तो रांची जैसे शहर में संभव नहीं है। मोरहाबादी में 500 मीटर तक सड़क समतल है, इसलिए इसका आयोजन यहां किया जा रहा है।


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