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इस दीपावली में वॉल पेंटिग पर चढ़ा महंगाई का रंग

राजधानी रांची में दीपावली की तैयारियां शुरू हो गई है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 22 Oct 2021 06:30 AM (IST)Updated: Fri, 22 Oct 2021 06:30 AM (IST)
इस दीपावली में वॉल पेंटिग पर चढ़ा महंगाई का रंग
इस दीपावली में वॉल पेंटिग पर चढ़ा महंगाई का रंग

जागरण संवाददाता, रांची : राजधानी रांची में दीपावली की तैयारियां शुरू हो गई है। लोग घरों की साफ-सफाई और रंगाई-पुताई में भी जुट गए हैं। वहीं, मनपसंद रंग खरीदने के लिए शहर में स्थित विभिन्न पेंट शॉप की ओर रुख कर रहे हैं। लेकिन पेंट की बढ़ी कीमत सुनने के बाद लोग मायूस भी हो रहे हैं, क्योंकि इस दीपावली में वॉल पेंटिग पर महंगाई का रंग चढ़ गया है और कोविड काल के कारण लोगों के जेब उन्हें पेट्रो उत्पादों में मूल्यवृद्धि का असर रंगों पर हुआ है। इस वजह से रंगों की कीमत में 10-25 प्रतिशत तक का उछाल आया है। वहीं, त्योहार को लेकर लोग विशेषकर युवा गहरे एवं चमकदार प्लास्टिक पेंट को पसंद कर रहे हैं। लेकिन महंगाई बढ़ने की वजह से लोग मन मुताबिक पेंट की खरीदारी नहीं कर पा रहे हैं। इधर, पिछले साल कोरोना काल में आर्थिक नुकसान सहने के बाद पेंट व्यवसायियों ने इस दीपावली में अच्छी कमाई की उम्मीद लगाई थी। लेकिन पेट्रो उत्पादों में मूल्यवृद्धि ने उनकी रही-सही उम्मीदों पर पानी फेर दी है। विक्रेताओं का कहना है कि कोरोना के कारण लोगों की जेबे खाली हैं। दीपावली में भी मार्केट में पैसा मूव नहीं कर रहा है। कारोबार में 50 प्रतिशत का असर पड़ा है। शहर में पेंट की लगभग 200 छोटी-बड़ी दुकानें हैं। अप्रैल से अब तक रंगों की कीमत में आया 25 प्रतिशत तक का उछाल

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कोरोना काल के दौरान अप्रैल से अब तक रंगों की कीमत में 25 प्रतिशत तक का उछाल आया है। वहीं, कई कंपनियां तो हर माह अपने प्रोडक्ट की कीमतें बढ़ा रही हैं। जिससे विक्रेता भी परेशान हैं। बताया जा रहा है कि इस मूल्यवृद्धि का सबसे बड़ा कारण पेट्रो उत्पादों की कीमतों में अप्रत्याशित उछाल आना है। वहीं, पेंट बनाने के लिए केमिकल, पिगमेंट सहित कई अन्य रॉ मैटीरियल की आवक चीन से होती है। इनकी कीमतें भी पिछले एक साल के दौरान बढ़ गई हैं, जिसका असर भारतीय पेंट बाजार पर पड़ा है। इस मूल्यवृद्धि के चलते विगत अप्रैल से अब तक प्लास्टिक पेंट, डिस्टेंपर, इमल्सन, प्राइमर, थिनर आदि की कीमतों पर भी असर पड़ा है। पिछले साल जहां 10 लीटर प्लास्टिक पेंट की कीमत 1080-1000 रुपये थी। वहीं, इस साल बढ़कर 1300 रुपये तक पहुंच गई है। पेंटरों ने भी बढ़ाई मजदूरी

वॉल पेंटिग से लेकर खिड़की एवं दरवाजे की रंगाई-पुताई के लिए पेंटर जहां पिछले साल 400-450 रुपये प्रतिदिन मजदूरी लेते थे। वहीं महंगाई बढ़ने के कारण इस दीपावली के अवसर पर वे 600-700 रुपये प्रतिदिन मजदूरी ले रहे हैं। एक तो रंगों की कीमत में उछाल और ऊपर से पेंटरों द्वारा मजदूरी बढ़ाए जाने से लोग मन-मुताबिक काम भी नहीं करवा पा रहे हैं। विभिन्न पेंट एवं उत्पादों की कीमत

प्लास्टिक पेंट : 125 से 750 रुपये प्रति लीटर

प्लास्टिक पेंट : 1300 रुपये (10 ली. बकेट)

प्लास्टिक पेंट : 2400 रुपये (20 ली. बकेट)

प्लास्टिक पेंट : 550-600 रुपये (4 ली. बकेट)

डिस्टेंपर : 50 से 80 रुपये प्रति किलो

डिस्टेंपर : 500 रुपये (10 किलो)

वेदर कोट : 900 से 950 रुपये प्रति लीटर

पीयू पेंट : 1450 रुपये प्रति लीटर

प्राइमर (वाटर बेस्ड) : 2400 रुपये (20 ली. बकेट)

प्राइमर (सॉलवेंट बेस्ड) : 3000 रुपये (20 ली. बकेट)

तारपीन : 70 रुपये (900 एमएल)

थिनर : 3400 से 3600 (20 ली. बकेट) कोरोना काल के बाद से उम्मीद के मुताबिक व्यापार नहीं हो पा रहा है। वर्ष 2019 तक इस समय हाल यह रहता था कि हम विक्रेताओं को बात करने की फुर्सत नहीं रहती थी। पितृ पक्ष की समाप्ति के बाद से ही लोग पेंट की खरीदारी के लिए आ रहे हैं। लेकिन उनकी आमद कम है।

- केशव शर्मा, पेंट विक्रेता जून से पेंट की कीमत लगातार हर माह बढ़ रही है। अगले माह के प्रथम सप्ताह में फिर से दाम बढ़ने की संभावना है। कारोबार पहले जैसा नहीं रहा। बिक्री पर लगभग 50 प्रतिशत का असर है।

- फैयाज अहमद, पेंट विक्रेता


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