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Conversion: धर्मांतरण रोकने के लिए विश्‍व हिंदू परिषद चलाएगी अभियान, घर-घर जाएंगे कार्यकर्ता

RSS Meeting VHP News संघ प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि देश में हो रहे धर्मांतरण को रोकना होगा। संघ के पदाधिकारियों का जीवन व आचरण अनुकरणीय हो।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Published: Sat, 19 Sep 2020 09:48 AM (IST)Updated: Sat, 19 Sep 2020 08:30 PM (IST)
Conversion: धर्मांतरण रोकने के लिए विश्‍व हिंदू परिषद चलाएगी अभियान, घर-घर जाएंगे कार्यकर्ता
Conversion: धर्मांतरण रोकने के लिए विश्‍व हिंदू परिषद चलाएगी अभियान, घर-घर जाएंगे कार्यकर्ता

रांची, [संजय कुमार]। झारखंड सहित आदिवासी बहुल राज्यों में मिशनरियों की ओर से चल रहे धर्मांतरण के खेल को रोकने के लिए विश्व हिंदू परिषद (विहिप) अभियान चलाएगी। इसके साथ ही अनुसूचित जाति, जनजाति एवं समाज के अन्य वर्गो के बीच सामाजिक समरसता बनाए रखने का प्रयास करेगी। भव्य राममंदिर निर्माण के लिए 15 जनवरी से धन संग्रह करने के लिए विहिप के कार्यकर्ता हिंदुओं के घर-घर जाएंगे। यह निर्णय भोपाल में विहिप की केंद्रीय मार्गदर्शक मंडल की बैठक में लिया गया।

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वहीं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत ने अपने संबोधन में कहा कि अंतरराष्ट्रीय योजनाओं के अंतर्गत देश में हो रहे धर्मांतरण को रोकना होगा। साथ ही जो धर्मांतरित हो गए हैं, उनकी घर वापसी करानी होगी। अब तक ये काम जिस गति से होने चाहिए, उस गति से नहीं हो पाए। अबतक हमारी ज्यादा ऊर्जा श्रीरामजन्मभूमि आंदोलन में लगी रही। अब यह कार्य सफल हुआ, तो हमको धर्मांतरण रोकने और नैतिक व सांस्कृतिक मूल्यों के विकास पर ध्यान देने के काम पर लगना होगा।

इन उद्देश्यों के लिए कार्यकर्ताओं की संख्या बढ़ानी होगी। उन्होंने कहा कि प्रांत स्तर के पदाधिकारियों का भी जीवन एवं आचरण अनुकरणीय बने, क्योंकि अधिकारियों के चरित्र का प्रभाव कार्यकर्ताओं पर पड़ता है। संघ प्रमुख ने कहा कि हजार वर्षों के आक्रमण और विदेशियों की गुलामी के काल में समाज में जन्मी कुरीतियों का निवारण करना होगा। संघ प्रमुख के संबोधन के बाद दोनों दिन बैठक में इन्हीं बिंदुओं पर विचार होता रहा। बैठक में आरएसएस के सरकार्यवाह भय्याजी जोशी सहित विहिप के 45 पदाधिकारी उपस्थित थे।

धर्मांतरित आदिवासियों को मिलता है दोहरा लाभ

धर्मांतरण पर चर्चा के दौरान यह बात सामने आई की मिशनरियां आदिवासियों के धर्मांतरण पर जोर देती हैं। वहीं, धर्मांतरण के पीछे जिस गरीबी का हवाला दिया जाता है, वह गरीबी तो मुसलमानों में हैं। फिर मिशनरियां उनका धर्मांतरण क्यों नहीं कराती है। निष्कर्ष में यह बात सामने आई कि आदिवासियों का धर्मांतरण कराने के बाद भारतीय संविधान के तहत उसे दोगुना फायदा होता है। पहला आदिवासी होने का लाभ मिलता है और दूसरा ईसाई बनने के बाद अल्पसंख्यक का भी लाभ मिलने लगता है।

इसलिए बैठक में मांग की गई कि सरकार को ऐसा कानून बनाना चाहिए कि धर्मांतरित आदिवासी को दोहरा लाभ नहीं मिले। वैसे धर्मांतरण को रोकने के लिए आदिवासियों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए अभियान चलाया जाएगा। उन्हेंं कौशल विकास का प्रशिक्षण देकर आत्मनिर्भर भारत अभियान से जोडऩे का काम किया जाएगा। संतों का गांवों में प्रवास बढ़ाया जाएगा। बैठक में निर्णय लिया गया कि विहिप के कार्यकर्ता अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं समाज के अन्य वर्गों के बीच सामाजिक समरसता बढ़ाने के लिए काम करेंगे।

राममंदिर निर्माण के लिए संघ परिवार के कार्यकर्ता करेंगे धन संग्रह

अयोध्या में बन रहे राम मंदिर के लिए विहिप के साथ-साथ अनुषांगिक संगठनों के कार्यकर्ता पूरे देश में धन संग्रह का काम करेंगे। सभी लोगों से कम से कम 10 रुपये और 100 रुपये देने को कहा जाएगा। विहिप के झारखंड-बिहार के क्षेत्र मंत्री वीरेंद्र विमल ने कहा कि राम मंदिर आंदोलन में करोड़ों लोग परोक्ष व प्रत्यक्ष रूप से जुड़े रहे। मंदिर निर्माण में सबकी सहभागिता हो इस निमित गांव-गांव तक अभियान चलाकर लोगों से सहयोग लिया जाएगा।

'धर्मांतरण रोकने के लिए काम तो कर ही रहे हैं। सरसंघचालक के आह्वïान के बाद और तेजी से इस काम को करेंगे। जो लोग गलती से दूसरे धर्म को स्वीकार कर लिए हैं और अब अपने धर्म में वापस आना चाहते हैं, उनके लिए घर वापसी का व्यापक अभियान चलाएंगे।' -वीरेंद्र विमल, क्षेत्र मंत्री, विहिप।


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