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एके राय के निधन पर राज्‍यपाल-मुख्यमंत्री समेत कई नेताओं ने जताया शोक Ranchi News

Jharkhand. पूर्व सांसद एके राय के निधन पर मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर उन्हें झारखंड के लिए बड़ी क्षति बताया। झामुमो ने कहा कि उनके संघर्ष को लंबे समय तक याद किया जाएगा।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Published: Sun, 21 Jul 2019 06:33 PM (IST)Updated: Sun, 21 Jul 2019 10:16 PM (IST)
एके राय के निधन पर राज्‍यपाल-मुख्यमंत्री समेत कई नेताओं ने जताया शोक Ranchi News
एके राय के निधन पर राज्‍यपाल-मुख्यमंत्री समेत कई नेताओं ने जताया शोक Ranchi News

रांची, राज्य ब्यूरो। पूर्व सांसद एके राय ने निधन पर मुख्यमंत्री रघुवर दास, केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा समेत राज्य के तमाम शीर्ष नेताओं ने शोक जताया है। मुख्यमंत्री ने उनकी अंत्येष्टि को राजकीय सम्मान के साथ करने का निर्देश दिया है। मंत्री अमर कुमार बाउरी एके राय की अंत्येष्टि में मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि के रूप में शामिल होंगे। अपने शोक संदेश में मुख्यमंत्री ने एके राय के निधन को झारखंड के लिए बड़ी क्षति बताया है। वहीं, जनजातीय मामलों के केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि स्वर्गीय राय सादगी और ईमानदारी की मिसाल थे। उनसे बहुत कुछ सीखने को मिला। भगवान उनकी आत्मा को शांति प्रदान करे। राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू ने भी शोक प्रकट किया है। उन्होंने उनकी आत्मा की शांति के लिए ईश्वर से प्रार्थना की तथा पूर्व सांसद के परिजनों के प्रति संवेदना जताई है।

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सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी ने एके राय के असामयिक निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया। कहा, झारखंड आंदोलन को एकजुट करने के अगुवा के रूप में उन्हें हमेशा याद किया जाएगा। वे ईमानदारी, निष्ठा व साफगोई की मिसाल थे। वे मजदूरों और आम जनों के नेता थे। कोडरमा सांसद अन्नपूर्णा देवी ने कहा कि कामरेड के निधन से झारखंड की राजनीति के एक युग का अवसान हो गया है। हमने एक विद्वान, ईमानदार और जनता के प्रति सदैव समर्पित रहने वाले महान नेता को खो दिया है। रांची के सांसद संजय सेठ ने एके राय के निधन को एक अपूर्णीय क्षति बताया। राज्‍य के मंत्री सीपी सिंह ने भी एके राय के निधन पर दुख जताया।

मजदूरों की आवाज थे एके राय : झामुमो

झामुमो ने पूर्व सांसद एके राय के निधन पर गहरा शोक जताया है। पार्टी अध्यक्ष शिबू सोरेन और कार्यकारी अध्यक्ष हेमंत सोरेन ने कहा कि वे मजदूरों की आवाज थे। उनके संघर्ष को लंबे समय तक याद किया जाएगा। झामुमो के लिए यह बड़ी क्षति है। दुख की घड़ी में पार्टी उनके परिजनों के साथ खड़ी है।

इन्‍होंने भी जताया दुख
पार्टी ने आज अपना अभिभावक खो दिया है। हम सभी के लिए यह दुखदायी समय है। राय दा की कमी कभी पूरी नहीं हो सकती है। उनके जैसे संत व्यक्तित्व की अगुवाई में माक्र्सवादी समन्वय समिति परिपूर्ण थी। -अरूप चटर्जी।
राय दा का जाना बड़ा दुखदायक है। जब भी सिद्धांत, नैतिकता, संघर्ष व त्याग की बातें होगी तो राय दा का नाम आदर से लिया जाएगा। उनकी सोच, विचारधारा अलग हो सकती है, लेकिन उनका सादा जीवन हम सभी के लिए प्रेरणा दायक है। -राज सिन्हा।
राय दा ने शोषण के विरुद्ध मजदूरों को संगठित किया। उनकी कमी हमेशा खलेगी। आज वे हम सभी को छोड़कर चले गए, मजदूरों ने अपना मसीहा खो दिया है। -एसके बख्शी, अध्यक्ष, बीसीकेयू।
राय दा सादगी व संघर्ष की प्रतिमूर्ति थे। शोषित मजदूरों के लिए उन्होंने आवाज बुलंद की। उनको एकजुट किया। -जलेश्वर महतो।
राय दा ने हमेशा सिद्धांत की बात की। मजदूरों के लिए वह हमेशा संघर्ष करते रहे। राय दा के जाने से ऐसा शून्य हो गया है, जिसकी शायद कभी भरपाई नहीं हो सकेगी। -मथुरा प्रसाद महतो।


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