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झारखंड की भाषा-संस्कृति को संरक्षित करेगी सरकार : हेमंत

रांची मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से सोमवार को यह पस्ष्ट किया कि सरकार आदिवासी संस्कृति की रक्षा करेगी।

By JagranEdited By: Published: Tue, 25 Feb 2020 02:12 AM (IST)Updated: Tue, 25 Feb 2020 02:12 AM (IST)
झारखंड की भाषा-संस्कृति को संरक्षित करेगी सरकार : हेमंत
झारखंड की भाषा-संस्कृति को संरक्षित करेगी सरकार : हेमंत

रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से सोमवार को प्रोजेक्ट भवन में चक्रधरपुर विधायक सुखराम उरांव के नेतृत्व में सिंहभूम के मानकी सह न्याय पंच के एक प्रतिनिधिमंडल ने मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपकर 'हो' भाषा अकादमी के गठन, जनजातीय भाषाओं के संरक्षण तथा प्राथमिक से एमए तक की पढ़ाई में जनजातीय भाषाओं को शामिल करने, कुड़ुख भाषा की अपनी लिपि से पढ़ाई के लिए शिक्षक की बहाली तथा मानकी मुंडा के प्रशिक्षण आदि की मांग की।

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मुख्यमंत्री ने सभी मागों को सुनने के बाद कहा कि राज्य सरकार झारखंड की विभिन्न भाषा व संस्कृति के संरक्षण एवं संवर्धन हेतु तत्पर है। प्रतिनिधिमंडल ने चाईबासा के उपायुक्त कार्यालय परिसर में कोल्हान अधीक्षक कार्यालय का भवन निर्माण करने तथा मानकी तथा मुंडा का कार्यालय भवन बनाने तथा फंड उपलब्ध कराने की भी मांग की। इस मौके पर मुख्यमंत्री के ओएसडी गोपालजी तिवारी, मानकी मुंडा संघ के उपाध्यक्ष कृष्णा सामड, संस्कृति एवं विज्ञान संस्थान के निदेशक दामोदर सिंह हासदा आदि उपस्थित थे।

सीएम की पहल पर बेसहारों को मिला आशियाना

रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पहल पर रांची की सड़कों पर घूम-घूमकर अपना जीवन यापन करने के लिए मजबूर मुनिया, बासी और नीलमणि को आशियाना मिल गया। मुख्यमंत्री के निर्देश पर रांची उपायुक्त ने तीनों को इटकी स्थित वृद्धाश्रम पहुंचाया। अब इन्हें सिर छुपाने के लिए छत, फटे पुराने कपड़ों की जगह नए वस्त्र औरपैरों के लिए चप्पल मिल गए हैं।

दरअसल, मुख्यमंत्री को ट्वीट के माध्यम से बताया गया कि ये तीनों वृद्ध महिलाएं पीपी कंपाउंड में आयोजित लंगर में भोजन करने आई हैं। ये शारीरिक रूप से दुर्बल और लाचार हैं। इनके लिए सरकार कुछ विचार करे। इसपर मुख्यमंत्री ने त्वरित संज्ञान लेते हुए राची के उपायुक्त को इनके रहने की व्यवस्था का निर्देश दिया।

इधर, गोड्डा के पोड़ैयाहाट स्थित नोडिया निवासी आइटीआइ छात्र कुंदन कुमार ने ट्वीट कर मुख्यमंत्री को बताया कि उसे दो वर्ष से छात्रवृत्ति नहीं मिली है। आधार से लिंक होने के बाद भी ई-कल्याण से छात्रवृत्ति स्वीकृत नहीं हो रही है। मुख्यमंत्री ने इसपर संज्ञान लेते हुए गोड्डा उपायुक्त से संबंधित जानकारी उपलब्ध कराने तथा सभी योग्य छात्रों का छात्रवृत्ति उपलब्ध कराने का आदेश दिया।


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