रांची के अपराधी अरुण राम पर लगा सीसीए, पढ़ें हाई कोर्ट की खबरें Ranchi News
Jharkhand. बोर्ड ने अरुण राम पर सीसीए लगाने की अनुमति देकर बाकी सभी की अनुशंसा को अस्वीकृत कर दिया। इधर गुरुवार को तीन जस्टिस हाई कोर्ट में स्थायी जज की शपथ लेंगे।
रांची, राज्य ब्यूरो। झारखंड हाई कोर्ट में सीसीए (क्राइम कंट्रोल एक्ट) एडवाइजरी बोर्ड की बैठक हुई। इसमें अपराधी अरुण राम पर सीसीए लगाने की स्वीकृति दी गई है। दरअसल, रांची जिला प्रशासन ने अपराधी बबन खान उर्फ साजिद खान, इमरोज अंसारी, महताब आलम, जफर अंसारी उर्फ जफरुद्दीन अंसारी, अफताब अंसारी और अरुण राम पर सीसीए लगाने की अनुशंसा की थी। बोर्ड ने अरुण राम पर सीसीए लगाने की अनुमति देकर बाकी सभी की अनुशंसा को अस्वीकृत कर दिया। बोर्ड की बैठक में हाई कोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल अंबुज नाथ, न्यायायुक्त नवनीत कुमार, रांची के सिटी एसपी और डीडीसी शामिल हुए थे।
जस्टिस राजेश कुमार, अनुभा रावत व केपी देव आज लेंगे शपथ
झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस राजेश कुमार, जस्टिस अनुभा रावत चौधरी व जस्टिस कैलाश प्रसाद देव गुरुवार को स्थायी जज के रूप में शपथ लेंगे। ह्वïईट हॉल में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह में सुबह दस बजे चीफ जस्टिस डॉ. रवि रंजन तीनों जजों को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाएंगे। करीब दो साल पहले तीनों जजों ने हाई कोर्ट में अपर न्यायाधीश के रूप में योगदान दिया था। सुप्रीम कोर्ट की कोलेजियम की अनुशंसा के बाद केंद्र सरकार ने इस संबंध में अधिसूचना जारी की है।
साक्ष्य के अभाव में रिश्वत के आरोपित बरी
सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश दिवाकर पांडेय की अदालत ने बुधवार को रिश्वत लेने के 13 साल पुराने मामले के आरोपित महेश्वर चौधरी को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया। इस मामले में सीबीआइ ने 18 गवाहों को प्रस्तुत किया, लेकिन रिश्वत लेने का आरोप साबित नहीं हो सका। सीबीआइ ने अर्जुन चौधरी की शिकायत पर 17 अप्रैल 2006 को प्राथमिकी दर्ज की थी। आरोपित पर केसीसी लोन पास करने के एवज में शिकायतकर्ता से एक हजार रुपये रिश्वत मांगने का आरोप था। उस दौरान महेश्वर चौधरी हजारीबाग के क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक में शाखा प्रबंधक थे।