Move to Jagran APP

Amitabh Chaudhary: इंजीनियरिंग पास करने के अगले यूपीएससी क्रेक कर आइपीएस बन गए थे अमिताभ चौधरी

IPS Amitabh Chaudhary झारखंड पुलिस मुख्यालय में डीजीपी सहित सभी अधिकारियों-कर्मियों ने दी दिवंगत पूर्व आइपीएस अधिकारी अमिताभ चौधरी को श्रद्धांजलि। बिहार के दरभंगा जिले के मनिगाछी में छह जुलाई 1960 को हुआ था जन्म। आइआइटी खड़गपुर से की थी इंजीनियरिंग।

By M EkhlaqueEdited By: Published: Tue, 16 Aug 2022 09:17 PM (IST)Updated: Tue, 16 Aug 2022 09:19 PM (IST)
Amitabh Chaudhary: इंजीनियरिंग पास करने के अगले यूपीएससी क्रेक कर आइपीएस बन गए थे अमिताभ चौधरी
JPSC IPS Amitabh Chaudhary: जेपीएससी के पूर्व चेयरमैन अमिताभ चौधरी का फाइल फोटो।

रांची, राज्य ब्यूरो। Jharkhand IPS Amitabh Choudhary झारखंड पुलिस मुख्यालय में मंगलवार को दिवंगत पूर्व आइपीएस अधिकारी अमिताभ चौधरी को श्रद्धांजलि दी गई। डीजीपी नीरज सिन्हा सहित सभी अधिकारियों-कर्मियों ने अपने पूर्व आइपीएस अधिकारी के चित्र पर श्रद्धा सुमन अर्पित किया। अधिकारियों ने कहा कि अमिताभ चौधरी की गिनती एक तेजतर्रार आइपीएस अधिकारी के रूप में होती है। बिहार के दरभंगा जिले के मनिगाछी में छह जुलाई 1960 को जन्मे अमिताभ चौधरी ने वर्ष 1984 में आइआइटी खड़गपुर से बीटेक की डिग्री हासिल की थी। शिक्षा के क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन की बदौलत उन्होंने अगले ही वर्ष 1985 में यूपीएससी की परीक्षा पास की और आइपीएस अधिकारी बन गए। उन्हें बिहार कैडर आवंटित हुआ था।

loksabha election banner

वर्ष 1997 में रांची के एसएसपी बने थे अमिताभ चौधरी

अपने कार्यकाल के दौरान अमिताभ चौधरी वर्ष 1997 में रांची के एसएसपी बने थे। वर्ष 2000 में जमशेदपुर के एसपी बने व वर्ष 2002 में डीआइजी पलामू के रूप में सेवा दी। वर्ष 2003 में उन्हें डीआइजी विशेष शाखा व उसी वर्ष उन्हें डीआइजी सह निदेशक कला संस्कृति खेलकूद एवं युवा कार्य विभाग बनाया गया। वर्ष 2006 में आइजी मानवाधिकार के पद पर उन्हें पदस्थापित किया गया। उसी वर्ष सीआइडी में आइजी संगठित अपराध के पद पर पदस्थापित हुए। वर्ष 2009 में उन्हें आइजी सह विशेष सचिव गृह विभाग एवं वर्ष 2011 से 2013 तक एडीजी सह विशेष सचिव गृह विभाग के पद पर रहे।

खेल प्रेम की वजह से 2013 में ली स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति

आइपीएस अधिकारी अमिताभ चौधरी को खेल में रूचि थी। उन्होंने खेल प्रेम की वजह से ही वर्ष 2013 में एडीजी सह विशेष सचिव गृह विभाग के पद पर रहते हुए पुलिस विभाग से स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ले ली थी और पूरी तरह से खेल में सेवा करने लगे। राज्य में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम के निर्माण में अमिताभ चौधरी का महत्वपूर्ण नेतृत्व रहा। इसके फलस्वरूप ही झारखंड राज्य को क्रिकेट के क्षेत्र में एक विश्वस्तरीय पहचान मिली। वे भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के उपाध्यक्ष और सचिव भी रहे। एक कुशल खेल प्रशासक के रूप में पूरे देश में उनकी अलग पहचान थी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.