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रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए उपमहापौर के फंड से मिलेंगे 20 लाख रुपये

पानी बचाने के लिए भले ही कई सालों से कवायद चल रही हो लेकिन सफलता नहीं मिली है। डिप्टी मेयर ने कहा अपने फंड से 20 लाख रुपये देंगे।

By JagranEdited By: Published: Sun, 14 Jul 2019 04:48 AM (IST)Updated: Sun, 14 Jul 2019 06:44 AM (IST)
रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए उपमहापौर के फंड से मिलेंगे 20 लाख रुपये
रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए उपमहापौर के फंड से मिलेंगे 20 लाख रुपये

जागरण संवाददाता, रांची :

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पानी बचाने के लिए भले ही कई सालों से कवायद चल रही हो, लेकिन अभी भी रांची के हजारों घरों में हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं लगाया जा सका है। इसके लिए यह जरूरी है कि नगर निगम और सरकार द्वारा ना सिर्फ कड़े नियम बनाएं जाएं बल्कि खुद के प्रयास से भी हार्वेस्टिंग सिस्टम का निर्माण कराएं। ऐसे प्रयास को डिप्टी मेयर संजीव विजयवर्गीय ने हरी झंडी दिखाई है और अपने फंड से 20 लाख रुपये देने को तैयार हैं। उनसे बातचीत की है विवेक आर्यन ने। क्या वजह है कि तालाबों की नगरी में आज पानी के लिए हाहाकार मच रहा है?

पानी की समस्या की मुख्य वजह है कि पिछले 50 सालों में रांची के लोगों को पानी सप्लाई करने के लिए पाइप नहीं बिछ सका। इसका परिणाम यह हुआ कि लोग बोरिग पर निर्भर रहे और पानी बचाने का कार्य नहंी हुआ। हमने भी लोगों की जरूरत के हिसाब से मिनी एचवायडीटी बना कर भूजल का दोहन किया है। रांची की समुचित आबादी को सप्लाई पानी देने के लिए क्या कोई प्रयास किया गया?

जी हां, पहले मिसिंग पाइपलाइन को मुख्य पाइप से जोड़ने के लिए 33 करोड़ की योजना बनी है जिसके तहत कार्य लगभग पूरा होने को है। इसके बाद अमृत योजना के तहत ओवरहेड टैंक और रुक्का डैम से सप्लाई बढ़ाने के लिए कार्य किया जाएगा। मुझे लगता है आने वाले डेढ़ सालों में यह योजना पूरी होगी जिसके बाद भूजल का दोहन कम हो जाएगा। पिछले 50 सालों से रुक्का डैम की सफाई नहीं हुई है। रांची के तीनो डैमों को साफ करने की कोई योजना कभी क्यों नहीं बन सकी है?

देखिए, डैम की सफाई के लिए हमने इस बार की बोर्ड मीटिंग में प्रस्ताव लाया है। हम सरकार को पत्र लिख कर फंड की मांग करने वाले हैं। सरकार द्वारा फंड मिलते ही तीनों डैमों की सफाई के लिए कार्य योजना बनाई जाएगी। वाटर हार्वेस्टिंग के लिए क्या केवल डेढ़ गुणा टैक्स काफी है, या कोई ठोस कदम उठाया जाएगा?

बिल्कुल ठोस कदम उठाया जाएगा। आज की बोर्ड मीटिंग में हम दो प्रमुख बदलाव लाने वाले हैं। एक तो वाटर हार्वेस्टिंग के लिए 3000 वर्गफुट के दायरे को घटा कर हम 1000 वर्गफुट करने वाले हैं। ऐसा करने से शहर के करीब 80 हजार घरों में रेन वाटर हार्वेस्टिंग अनिवार्य हो जाएगा। दूसरी ओर ऐसे लोग जो केवल फाइन दे कर हार्वेस्टिंग नहीं कर रहे हैं, उनके लिए निगम की सुविधाओं में कटौती की जाएगी। कई घर व अपार्टमेंट हैं, जिन्होंने रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम के फर्जी दस्तावेज दिए हैं। उनके लिए क्या करेंगे?

सभी वार्डो के भवनों की दोबारा जांच कराई जाएगी। यदि यह पाया गया कि हार्वेस्टिंग सिस्टम नहीं होने के बाद भी उन्हें क्लीन चिट मिली है तो टैक्स कलेक्टर भी कार्रवाई के दायरे में आएंगे। इसके साथ ही उन भवनों से अतिरिक्त फाइन लेकर वहां हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाना सुनिश्चित कराया जाएगा। आप अपनी ओर से रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए क्या करेंगे?

नगर निगम ने पहले ही यह निर्णय लिया है कि नागरिक सुविधा मद के पैसों को रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए खर्च किया जाएगा। मैं उपमहापौर के फंड का 20 फीसद हिस्सा वाटर हार्वेस्टिंग के लिए खर्च करूंगा। इसके तहत सार्वजनिक स्थलों पर वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाया जाएगा।


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