मुआवजे की घोषणाओं पर कोर्ट की तल्ख टिप्पणी, क्या सिर्फ वोट के लिए मुख्यमंत्री देते हैं आश्वासन
Jharkhand. कक्षा दो के एक छात्र की बिजली की चपेट में आने से मौत मामले की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने पूछा कि क्या मुख्यमंत्री के आश्वासन को निभाया भी जाता है।
रांची, राज्य ब्यूरो। झारखंड हाई कोर्ट ने सरकार द्वारा की जाने वाली मुआवजे की घोषणाओं पर तल्ख टिप्पणी की है। झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस एसएन प्रसाद ने एक मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि क्या सिर्फ वोट की राजनीति के लिए मुख्यमंत्री पीडि़त को मुआवजा देने का आश्वासन देते हैं या फिर उस आश्वासन को उनके द्वारा निभाया भी जाता है। दरअसल एक स्कूल में कक्षा दो के एक छात्र की बिजली की चपेट में आने से मौत हो गई थी। मामला पाकुड़ जिले का है।
वर्ष 2006 में सात साल के मिथुन राय की स्कूल में बिजली की चपेट में आने से मौत हो गई थी। तत्कालीन मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने एक लाख रुपये मुआवजे के रूप में देने की घोषणा की थी। लेकिन अभी तक पीडि़त परिवार काे मुआवजा नहीं मिला है। इसके बाद बच्चे की मां कोयला देवी ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की। बुधवार को सुनवाई के दौरान कोर्ट ने मामले में मुख्य सचिव से जवाब तलब किया है।