बच्चों की उपस्थिति बढ़ाने में अभिभावकों का सहयोग जरूरी
हिरणपुर/महेशपुर (पाकुड़) अभिभावक-शिक्षक दिवस को लेकर गुरुवार को प्रखंड संसाधन कें
हिरणपुर/महेशपुर (पाकुड़) : अभिभावक-शिक्षक दिवस को लेकर गुरुवार को प्रखंड संसाधन केंद्र में प्रखंड स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। इसमें प्रखंड के सभी विद्यालयों के प्रधान शिक्षकों ने भाग लिया। शुभारंभ बीपीओ किशन भगत ने किया। बीपीओ ने बताया कि विद्यालय को समाज से जोड़ने के लिए सभी विद्यालयों में 13 व 14 सितंबर को कार्यक्रम होगा। इसमें विद्यालय के अभिभावकों को विशेष रूप से आमंत्रित करना है। पंचायत जन प्रतिनिधि भी उपस्थित रहेंगे । कार्यक्रम में विद्यालय के सर्वागीण विकास को लेकर अभिभावकों के साथ विचारों का आदान प्रदान करना है। बच्चों की शत प्रतिशत उपस्थिति व गुणात्मक शिक्षा को लेकर अभिभावकों से सहयोग लेना है। बीपीओ ने बताया कि सरकार के द्वारा शिक्षा व्यवस्था दुरुस्त करने के लिए बच्चों का एमडीएम , पोशाक, छात्रवृत्ति, भवन निर्माण सहित कई मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है। विद्यालय में किसी प्रकार की कमियां हो तो कार्यक्रम में रख इसका निराकरण करना होगा । विद्यालय में शौचालय , पेयजल , विद्युतीकरण आदि को लेकर भी चर्चा की जाएगी।। वही विद्यालय में सांस्कृतिक कार्यक्रम , क्विज सहित अन्य कार्यक्रम प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया। विद्यालयों में आहूत कार्यक्रमों का अनुश्रवण बीआरपी , सीआरपी सहित जिला स्तरीय टीम द्वारा की जाएगी। इस मौके पर बीआरपी संजय जयसवाल , प्रेम सागर कुशवाहा , सुजीत चार , रुमीना यास्मीन , प्रमोद भंडारी , प्रधानाध्यापक मुकुंद महतो, द्वेतवादीन पांडे, मुनि मिलिसेंट मुर्मू आदि उपस्थित थे।
महेशपुर (पाकुड़): सरकारी स्कूलों में शिक्षक-अभिभावक दिवस मनाए जाने को लेकर गुरुवार को प्रखंड मुख्यालय स्थित प्राथमिक विद्यालय भवन में शैक्षिक अंचल दो के प्रधानाध्यापकों की कार्यशाला हुई। इसमें एडीपीओ जयेंद्र कुमार मिश्रा एवं उज्जवल कुमार ओझा के अलावे बीईईओ मिलन कुमार घोष उपस्थित थे। बीईईओ ने बताया कि सभी विद्यालयों में 13 से 14 सितंबर के बीच किसी एक दिन शिक्षक अभिभावक दिवस मनाया जाना है। कार्यक्रम का उद्देश्य विद्यालय में बच्चों की नियमित उपस्थिति और समुदाय की सहभागिता सुनिश्चित करना है। उन्होंने कहा कि समुदाय की सहभागिता के बिना विद्यालय व बच्चों का विकास नहीं हो सकता है। उन्होंने कहा कि विद्यालय में बच्चों की नियमित उपस्थिति हो उसके लिए अभिभावकों को भी जागरूक होना होगा।