संगठित अपराध है बाल शोषण
चंदवा/लातेहार : मुक्ति कारवां के निदेशक सह बाल अधिकार कार्यकर्ता नोबेल शांति पुरस्कार से
चंदवा/लातेहार : मुक्ति कारवां के निदेशक सह बाल अधिकार कार्यकर्ता नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित कैलाश सत्यार्थी के निर्देश पर गत सोमवार को चंदवा प्रखंड के बारी गांव स्थित मिडिल स्कूल, कस्तूरबा आवासीय विद्यालय लातेहार व जवाहर नवोदय विद्यालय लातेहार में मुक्ति कारवां भारत जोड़ो अभियान कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि झारखंड राज्य बाल अधिकार एवं संरक्षण आयोग की अध्यक्ष आरती कुजूर व बाल श्रम आयोग की पूर्व अध्यक्ष शांति किंडो ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कुजूर ने कहा कि बाल शोषण मानवता पर कलंक व संगठित अपराध है। इसे खत्म कर ही सभी बच्चों का सर्वागीण विकास किया जा सकता है। बाल श्रम आयोग की पूर्व अध्यक्ष शाति किंडो ने कहा कि बच्चों के साथ हुए दुर्व्यवहार का असर उनके जीवन पर पड़ता है। कई बच्चे तो जीवन भर इसका दंश झेलते रहते हैं। ऐसे में आवश्यक है कि उनके साथ होनेवाले इस शोषण को रोका जाए। एसडीएम जयप्रकाश झा ने कहा कि यह एक कानूनी अपराध है। बच्चों को बेचने वाले, मालिक, दलाल या मां-बाप को सात से 10 वर्ष तक की सजा हो सकती है। जुर्माना भी लगाया जा सकता है। मुक्ति कारवां भारत जोड़ो अभियान के जिला समन्वयक अरविन्द तिवारी ने कहा कि अभिभावक बच्चों को डिप्रेशन से बचाएं। उपस्थित लोगों को इसे जड़ से मिटाएं व बच्चों को अधिकार दिलाने का संकल्प दिलाया गया। मंच संचालन वैदिक सोसाइटी के सचिव चंद्रशेखर ¨सह ने किया। इस मौके पर जिप सदस्य सरोज देवी, शत्रुध्न सिन्हा, अर्जुन कुमार, आलोक उपाध्याय, लाल जन्मजय नाथ शाहदेव, अर्चना कुमारी, वन जीवन ग्रामीण विकास समिती सचिव महेन्द्र ¨सह, नगर पंचायत उपाध्यक्ष नवीन कुमार ¨सहा, जवाहर नवोदय विद्यालय के प्राचार्य बीके मंडल, जिला श्रम प्रर्वतन पदाधिकारी अनिल रंजन आदि उपस्थित थे। नाटक के माध्यम से किया जागरूक :
मुक्ति कारवां भारत जोड़ो अभियान के तहत नाटक मंडली के द्वारा नाटक प्रस्तुत कर बाल संरक्षण के बारे में जानकारी दी गई। इसके साथ ही इससे बचाव पर और अत्याचार पर पुलिस या हेल्प लाईन को सूचना देने की बात कही।