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बेलबरण अनुष्ठान के साथ ही दुर्गोत्सव शुरू

गुरुवार को बेलबरन अनुष्ठान के साथ ही शहर में दुर्गोत्सव की धूम शुरू हो गई। यूं तो नवरात्र प्रारंभ होने के साथ ही शक्ति की अधिष्ठात्री मा दुर्गा की पूजन अनुष्ठान शुरू हो जाती है लेकिन षष्ठी तिथि को बेलबरन अनुष्ठान के साथ ही पाच दिवसीय दुर्गोत्सव की धूम प्रारंभ हो जाती है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 22 Oct 2020 10:15 PM (IST)Updated: Fri, 23 Oct 2020 05:09 AM (IST)
बेलबरण अनुष्ठान के साथ ही दुर्गोत्सव शुरू
बेलबरण अनुष्ठान के साथ ही दुर्गोत्सव शुरू

खूंटी : गुरुवार को बेलबरन अनुष्ठान के साथ ही शहर में दुर्गोत्सव की धूम शुरू हो गई। यूं तो नवरात्र प्रारंभ होने के साथ ही शक्ति की अधिष्ठात्री मा दुर्गा की पूजन अनुष्ठान शुरू हो जाती है, लेकिन षष्ठी तिथि को बेलबरन अनुष्ठान के साथ ही पाच दिवसीय दुर्गोत्सव की धूम प्रारंभ हो जाती है। गुरुवार शाम पूजा पंडाल के आयोजक पारंपरिक बाजे-गाजे के साथ विभिन्न जलाशयों के किनारे गए जहा पर विधिविधान से बेलबरन की पूजन अनुष्ठान कर मा दुर्गा को पंडाल में पधारने का निमंत्रण दिया गया। शुक्त्रवार सुबह देवी आगमन के साथ ही पंडालों में पूजन-अर्चन प्रारंभ हो जाएगी। शहर में लगभग एक दर्जन स्थानों पर मा दुर्गा की प्रतिमा स्थापित की जाती है। इनमें से कर्रा रोड स्थित चौधरी मंडपए मिश्रा टोली स्थित मिश्रा मंडप तथा मेन रोड स्थित हरी मंदिर में पारंपरिक रीति रिवाज से पूजन-अर्चन की परंपरा रही है। वहीं अन्य सार्वजनिक पूजा पंडालों में पूजन अर्चन के साथ ही आधुनिक साज सज्जा आकर्षण का केंद्र रहता है, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण के खतरा को लेकर विगत वषरें की भाति भव्य पूजा पंडाल व प्रतिमा का निर्माण नहीं किया गया है। कोरोना काल के कारण इस बार सरकारी गाइडलाइन के अनुसार ही पंडालों का निर्माण किया गया है।

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