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लैम्पस में अधिकतर किसानों को दें दायित्व

जामताड़ा : पंचायतस्तरीय सहकारिता लैम्पस सशक्त होगा तो स्थानीय किसान व समिति को अधिक लाभ मिलेग

By JagranEdited By: Published: Sun, 04 Nov 2018 11:26 AM (IST)Updated: Sun, 04 Nov 2018 11:26 AM (IST)
लैम्पस में अधिकतर किसानों को दें दायित्व
लैम्पस में अधिकतर किसानों को दें दायित्व

जामताड़ा : पंचायतस्तरीय सहकारिता लैम्पस सशक्त होगा तो स्थानीय किसान व समिति को अधिक लाभ मिलेगा। लेकिन लैम्पस को सशक्त बनाने के लिए प्रगतिशील किसानों को समिति सदस्य का दायित्व देना होगा। जितने अधिक सदस्य समिति में होंगे उतना शक्तिशाली व सक्रिय समिति बनेगी। सदस्यता शुल्क अधिक संग्रह होने पर समिति राजस्व के मामले में भी आत्मनिर्भर होगा। यह बातें जिला कृषि पदाधिकारी सबन गुड़िया ने शनिवार को रेडक्रास सभागार में आयोजित कार्यक्रम में कही। कहा कि प्रशिक्षण का मुख्य उद्देश्य सहकारिता समिति का व्यापक विस्तार कर उसे सक्रिय बनाना है। जिले में 119 पंचायतस्तरीय लैम्पस हैं, लेकिन अधिकतर समिति में सदस्यों की संख्या नगण्य है। समिति अध्यक्ष से कहा कि समिति में कम से कम 500 सक्रिय सदस्य अवश्य बनाएं। लैम्पस पर पूरे पंचायतों के किसानों की निगाहें लगी रहती है। लेकिन लैम्पस आर्थिक एवं सांगठनिक रूप से मजबूत नहीं रहने के कारण किसानों की जरूरत को पूरा करने में हाथ खड़ा कर देता है। इन सभी समस्याओं का एक मात्र निदान है, समिति में अधिक से अधिक प्रगतिशील किसानों की भागीदारी सदस्य के रूप में सुनिश्चित कराएं। अनुमंडल अंकेक्षण पदाधिकारी टीएन झा ने समिति सदस्यों व अध्यक्षों को सहकारिता लैम्पस समिति के प्रति लोगों का रूझान बढ़े इस निमित गांव में प्रचार-प्रसार करने को कहा। पारदर्शी व्यवस्था में समिति का संचालन सुनिश्चित कराने को लेखापंजी समेत कई अन्य पंजियों के संधारण की जानकारी दी।

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समिति संचालन में लेखा पंजी का संधारण पारदर्शी होना अनिवार्य है। सहकारिता प्रशिक्षण महाविद्यालय देवघर के व्याख्याता मंजू एक्का व चंद्रमणि कुमारी ने समिति सदस्यों से समिति के वर्तमान स्थिति की जानकारी ली। समिति अध्यक्ष से कहा कि समिति की गतिविधियों का पर्यवेक्षण के साथ साथ मूल्यांकन अनिवार्य है। किसानों का आकर्षण समिति की ओर बढ़े इसके लिए सहकारिता लैम्पस के उद्देश्य को जन-जन तक पहुंचाने की आवश्यकता है। जनहित में लैम्पस के माध्यम से चल रहे योजनाओं के बारे में किसान समेत जरूरतमंद को अवगत कराने की आवश्यकता है। इस क्रम में समिति सदस्यों ने भी सरकारी भवन, खाद-बीज क्रय बिक्री में पूंजी का अभाव होना समेत कई अन्य समस्याओं को वरीय पदाधिकारी के समक्ष बारिकी से रखा गया। मौके पर इदरीश अनवर, जीतेंद्र दत्ता, कृष्णचंद्र महतो, अबुल हुसैन समेत कृषि व सहकारिता विभाग के पदाधिकारी प्रशिक्षण में शामिल थे।


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