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करोड़पति साइबर ठग के भाई व रिश्तेदार पर कसेगा शिकंजा

करोड़पति साइबर ठग के फरार भाई व रिश्तेदार पर कसेगा शिकंजा

By JagranEdited By: Published: Sat, 01 Feb 2020 07:01 AM (IST)Updated: Sat, 01 Feb 2020 07:01 AM (IST)
करोड़पति साइबर ठग के भाई व रिश्तेदार पर कसेगा शिकंजा
करोड़पति साइबर ठग के भाई व रिश्तेदार पर कसेगा शिकंजा

जागरण संवाददाता, जामताड़ा : पुलिस गिरफ्त में आ चुके विद्यासागर निवासी करोड़पति साइबर ठग टिकू की गिरफ्तारी के बाद भी उसके परिवार को राहत मिलती नहीं दिख रही है। वर्तमान में ठगी इस काले कारनामे में साझेदार रहे टिकू के भाई संतोष मंडल व रिश्तेदार मुकेश मंडल फरार चल रहा है। पुलिस उसकी गिरफ्तारी के लिए लगातार छापेमारी कर रही है। अब साइबर पुलिस कोर्ट से वारंट लेकर दोनों पर कानूनी शिकंजा कसेगा।

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---जसिम व सद्दाम की गिरफ्तार में नाम आया था सामने : दरअसल, विद्यासागर थाना क्षेत्र के दुधानी गांव निवासी टिकू मंडल इसी मंगलवार को पुलिस के हाथों गिरफ्तार होकर न्यायिक हिरासत में गया है। जबकि उसका भाई संतोष मंडल व रिश्तेदार मुकेश मंडल भागा-भागा फिर रहा है। साइबर पुलिस के समक्ष टिकू, संतोष व मुकेश के साइबर अपराध की गतिविधियों से जुड़े होने का खुलासा इसी तीन दिसम्बर को बिहार के पूर्व चंपारण निवासी दो साइबर अपराधियों की गिरफ्तारी से उजागर हुई थी। उस दिन नारायणपुर थाना क्षेत्र बिहार के सद्दाम व जसीम परवेज एसपी अंशुमान कुमार के इनपुट पर साइबर इंस्पेक्टर सुनील चौधरी के हत्थे चढ़ा था। उस दिन यहां परवेज व सद्दाम संतोष की शादी के बाद स्वागत पार्टी में शरीक होने पहुंचा था। पूछताछ में दोनों ने बताया कि वे यहां टिकू, संतोष व मुकेश को ठगी के कमीशन के साढे़ पांच लाख रुपए देने आए थे। बिहार से फर्जी सिम व ठगी की राशि जमा करने को फर्जी बैंक खाता यही दोनों मंडल बंधुओं को मुहैया कराता था। तब से पुलिस तीनों के पीछे साइबर थाना की पुलिस पड़ी थी। टिकू तो धरा गया पर संतोष व मुकेश के ठिकाने का पता पुलिस को नहीं चल रहा है। संतोष ने भी शहर में बना रखा है बंगला : पुलिस की मानें तो संतोष ने भी जामताड़ा में आलीशान मकान बनाया है। साइबर अपराध भले साझा रहकर करता है पर आवासीय ठिकाना दोनों भाई ने शहर में अलग-अलग बना रखा था। संतोष व मुकेश के संभावित ठिकानों पर अब तक पुलिस आधा दर्जन बार छापेमारी कर चुकी पर हाथ खाली रहे। पांच-छह साल पहले टिकू की तरह ही संतोष की भी माली हालत थी। संतोष अनुज है। तीन सालों के दौरान उसका रहन-सहन बदला। नया पक्का मकान भी हाल में ही बनाया। जबकि मुकेश दुधानी के नीचे टोला का निवासी है। टिकू का ये दोनों हैलो मास्टर के रूप में दूसरे राज्यों के बैंक खाता धारकों को बैंक अधिकारी बनकर झांसा देने, उनसे एटीएम आदि का गोपनीय नंबर लेकर उनके खातों से रुपए उड़ाने में सहयोग करता था। आत्मसमर्पण से ही कम होगा दबाव : पुलिस की मानें तो साइबर ठगी व आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने के मामले में टिकू मंडल के खिलाफ प्रस्ताव ईडी को भेजने की तैयारी पुलिस ने शुरू कर दी है। अवैध अचल संपत्ति जांच व जब्त करने से जुड़ी इस प्रस्ताव में कार्रवाई के लिए टिकू मंडल के भाई संतोष का नाम भी शामिल किया जाएगा। चूंकि दोनों भले अलग-अलग रह रहे हैं पर यह जुगत पुलिस की कार्रवाई से बचने के लिए ऐसे आरोपी करते हैं। मिरगा निवासी प्रदीप मंडल के खिलाफ ईडी की जांच शुरू हो गई है। इस मामले में भी साइबर अपराध में सहयोगी रहे प्रदीप के अन्य परिजनों को नामजद किया गया है। पिटू, संतोष व मुकेश के खिलाफ दर्ज मामले के अनुसंधान अधिकारी ने बताया कि फरार संतोष व मुकेश आत्मसर्मपण नहीं किया तो दोनों के खिलाफ कोर्ट से वारंट शीघ्र लिया जाएगा। वे बहुत दिनों तक पुलिस की पकड़ से बाहर नहीं रह सकते।


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