यज्ञ देखकर लौट रहे 12 बच्चों को पुलिस ने लिया हिरासत में
बारह नाबालिक बच्चों को पुलिस ने लिया हिरासत में
---फतेहपुर पुलिस कर रही पूछताछ, अभिभावक रोषित
फोटो नं. 6
संवाद सहयोगी,
फतेहपुर (जामताड़ा) : फतेहपुर पुलिस अपनी कार्यशैली के लिए हमेशा चर्चा में बनी रहती है। मंगलवार को भी कुछ ऐसा ही कारनामा सबों को देखने को मिला। देवघर जिला के चितरा में आयोजित यज्ञ मेला देखकर आ रहे 12 नाबालिग बच्चों को सुबह करीब आठ बजे पुलिस पकड़ कर थाना ले गई। बच्चों को यह भी जानकारी नहीं मिली कि किस जुर्म के कारण पुलिस पकड़ कर ले जा रही है। अभिभावकों को जब इसकी जानकारी हुई तो आनन-फानन में सभी थाना जा पहुंचे। अभिभावकों में भी गुनाह को लेकर संशय बना हुआ था।
आक्रोशित अभिभावकों ने कहा की पुलिस की यह कार्यशैली समझ से परे है। चोर को तो पुलिस पकड़ नहीं पाती है निर्दोषों को परेशान कर रही है। गरीब होना कोई जुर्म नहीं है। भाड़े के वाहन से मेला देख कर सभी बच्चे फतेहपुर उतर कर अपना घर जाना चाह रहे थे। इसी बीच पुलिस उन्हें पकड़कर अपने साथ ले गई। अभिभावकों ने कहा कि इससे हमारी मान प्रतिष्ठा का भी हनन हुआ है। पहले पुलिस को बताना चाहिए था कि किस जुर्म के तहत पकड़ रहे हैं। मनमाने ढंग से ऐसा करना पुलिस की दबंगई साबित होती है। पुलिस किसी के बहकावे में आकर ही दलितों के साथ ऐसा कर रही है। आरक्षी अधीक्षक से इसकी जांच कराने की मांग की है। आखिर यहां की पुलिस निर्दोष बच्चों को थाना क्यों लेकर गई। कहा कि इसकी लिखित शिकायत भी की जाएगी। अधिकांश बच्चे दलित समाज से आते हैं। इसमें राहुल बाउरी (17), मोहन रजक (17), सूरज बाउरी (17), परवीन बाउरी (15), विकाश बाउरी (12), भोला बाउरी (11), धोना बाउरी (17), सजल बाउरी (14), काजल बाउरी (10), संतु बाउरी (13), सबीन बाउरी (16), अजय मंडल (12) को पुलिस पकड़ कर ले गई। इस संदर्भ में थाना प्रभारी मुकेश कुमार ने बताया कि पूछताछ के लिए लाया गया था। पूछताछ के बाद सभी को अभिभावकों के साथ छोड़ दिया गया है।