जादूगोड़ा माइंस खोलने के लिए खनन विभाग की हरी झंडी
सात सितंबर 2014 से बंद यूरेनियम कारपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड इस माह के अंत से शुरू हो जाएगी।
अर¨वद प्रसाद, जादूगोड़ा : सात सितंबर 2014 से बंद यूरेनियम कारपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (यूसीआइएल) के जादूगोड़ा माइंस को खोलने की अनुमति पूर्वी सिंहभूम जिला खनन विभाग ने दे दी है। सितंबर के अंत तक माइंस खुल जाने की संभावना है। इसकी पुष्टि जीएम माइंस मनोज कुमार ने की है। बताया कि माइंस में काम करने के लिए सुरक्षित खान होने का प्रमाणपत्र डीजीएम, चाईबासा ने भी दे दिया है।
बताया कि माइंस बंद होने के कारण यहां से जिन कर्मचारियों को दूसरी जगह भेजा गया था, उनमें से 52 कर्मचारियों को यहां बुला लिया गया है। इसमें 20 मैकेनिकल व 32 मेंटनेंस कर्मचारी शामिल हैं। इससे पहले सात मैकेनिकल कर्मचारी बुलाए गए थे। हाल में 13 मैकेनिकल कर्मचारी आ चुके हैं।
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मशीन दुरुस्त करने का काम शुरू : जादूगोड़ा माइंस में 15 दिनों से फि¨लग व मशीन ठीक किए जा रहे हैं। करीब 20 मैकेनिकल कर्मी 555 मीटर से 830 मीटर में लगीं मशीनों को दुरुस्त कर रहे हैं। 32 मजदूर माइंस के अंदर जहां-जहां फि¨लग का काम कर रहे हैं। इस माइंस में लगभग 970 स्थाई मजदूर कार्यरत हैं। वर्तमान में कुछ मजदूरों को अन्य स्थानों में भेजा गया है। जादूगोड़ा माइंस में खनन काम बंद है। इसके अलावा आपातकालीन सेवा शुरू है। माइंस के अंदर डी वाट¨रग, बिजली, ड्रेन आदि का काम चल रहा है।
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राज्य सरकार के निर्देश के बाद बंद हुई माइंस : सितंबर 2014 में राज्य सरकार के निर्देश के बाद जादूगोड़ा माइंस को बंद कर दिया गया था। इसके बाद यूसीआइएल प्रबंधन की एक टीम ने नई दिल्ली जाकर पीएम कार्यालय में बातचीत की थी। इसके बाद लगातार माइंस शुरू करने को लेकर राज्य सरकार के नेता, अधिकारी, श्रमिक संगठन प्रयास में लगे थे। इधर माइंस शुरू नहीं होने से अबतक लगभग 903000 टन यूरेनियम अयस्क का उत्पादन नहीं हो पाया है। इससे कंपनी को प्रतिदिन लगभग एक अरब 80 करोड़ का नुकसान हो रहा है।
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माइंस बंद होने के कारण भत्ते पर लगी रोक : जादूगोड़ा माइंस बंद होने के कारण कुछ माह पहले अधिकारियों के भत्ते पर रोक लगा दी गई थी। प्रबंधन के अनुसार माइंस में फिहलाल कोई उत्पादन नहीं हो रहा है इसलिए ऐसा कदम उठाया गया। माइंस के शुरू होने के साथ ही भत्ता शुरू कर दिया जाएगा। हालांकि मजदूरों के भत्तों में कोई कटौती नहीं की हुई है।