Move to Jagran APP

टाटा स्टील में बहाली 44 या 50, उम्र सीमा पर फंसा पेच

टाटा स्टील कंपनी में ग्रेड रिवीजन समझौते पर सहमति के बाद 500 कर्मचारी पुत्रों में उम्र का पेच फंस गया है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 23 Jan 2020 08:15 AM (IST)Updated: Thu, 23 Jan 2020 08:15 AM (IST)
टाटा स्टील में बहाली 44 या 50, उम्र सीमा पर फंसा पेच
टाटा स्टील में बहाली 44 या 50, उम्र सीमा पर फंसा पेच

जासं, जमशेदपुर : टाटा स्टील कंपनी में ग्रेड रिवीजन समझौते पर सहमति के बाद 500 कर्मचारी पुत्रों की बहाली होने वाली है। लेकिन, बहाली की उम्र सीमा 44 हो या 50, इस पर पेच फंस गया है।

loksabha election banner

टाटा स्टील में वर्ष 2008-09 में कर्मचारी पुत्रों की बहाली हुई थी। तब कंपनी प्रबंधन ने उम्र सीमा 40 से बढ़ाकर 44 कर दिया था। लेकिन, लगातार आंदोलन कर रहे कर्मचारी पुत्र 44 वर्ष की उम्र सीमा पार कर चुके हैं। वे उम्र सीमा बढ़ाकर 50 करने की मांग कर रहे हैं। उनका तर्क है कि यदि 44 उम्र सीमा को ही मान्य किया गया तो कई निबंधित कर्मचारी पुत्र सीधे बाहर हो जाएंगे। टाटा वर्कर्स यूनियन नेतृत्व ने निबंधित कर्मचारी पुत्रों की बातों से कंपनी प्रबंधन को अवगत करा दिया है। अब यह कंपनी प्रबंधन को तय करना है कि उम्र सीमा 44 होगी या 50। यूनियन सूत्रों की मानें तो जल्द ही इस मामले में कंपनी प्रबंधन के साथ वार्ता होने वाली है। पूर्व में वैसे कर्मचारी जो 25 वर्ष तक कंपनी में काम कर चुके हैं, उनके बच्चों का लेबर ब्यूरो में रजिस्ट्रेशन होता था। प्रतिमाह नौ कर्मचारी पुत्रों को कंपनी में अस्थायी तौर पर बहाल किया जाता था। फिर वरीयता के आधार पर स्थायी किए जाते थे। लेकिन वर्ष 2005 में टी ग्रेड की बहाली के बाद यह प्रक्रिया बंद हो गई।

इम्प्लाई रिलेशन या इम्प्लाई वार्ड, इस पर नहीं बनी है सहमति :

टाटा स्टील में निकलने वाली बहाली में सिर्फ इम्प्लाई रिलेशन को मौका दिया जाए या इम्प्लाई वार्ड वालों को भी शामिल किया जाए, इस पर भी अभी तक कंपनी प्रबंधन और यूनियन नेतृत्व के बीच सहमति नहीं बन पाई है। निबंधित कर्मचारी पुत्रों का शुरू से कहना है कि कंपनी की बहाली उनके लगातार आंदोलन का ही नतीजा है, इसलिए इसमें केवल उन्हें मौका मिलना चाहिए। यदि इम्प्लाई वार्ड को इसमें शामिल किया गया तो वे बाजी मार जाएंगे।

लिखित परीक्षा न हो चयन का आधार :

निबंधित कर्मचारी पुत्रों की मांग है कि अधिकतर की पढ़ाई छूटे 20 से 25 वर्ष हो चुके हैं। यदि चयन का आधार लिखित परीक्षा या अंग्रेजी में वर्तमान समय के सवाल पूछे गए तो भी निबंधित कर्मचारी पुत्रों का सफल होना संभव नहीं है। इसलिए चयन का आधार लिखित परीक्षा के बजाए कोई अन्य योग्यता को अपनाया जाए।

जिसे नहीं मिले मौका उन्हें मिले एकमुश्त राशि :

निबंधित कर्मचारी पुत्रों की मांग है कि जिनकी बहाली नहीं हो पाए, उन्हें कंपनी प्रबंधन एकमुश्त राशि दे। क्योंकि, लगभग 7000 कर्मचारी पुत्र हैं और बहाली मात्र 500 की होगी। इसलिए जो निबंधित पुत्र इससे वंचित हो जाएं उन्हें प्रबंधन की ओर से एकमुश्त राशि मिले। पूर्व में भी कंपनी प्रबंधन निबंधित कर्मचारी पुत्रों को इसका लाभ दे चुकी है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.