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झारखंड के स्कूलों के बायोमेट्रिक टैब में अभी भी मुख्यमंत्री रघुवर दास, 20 माह बाद भी स्थिति जस की तस

Biometric tab of schools झारखंड के स्कूलों के बायोमेट्रिक टैब में अभी भी मुख्यमंत्री रघुवर दास ही हैं। टैब ऑन करते ही रघुवर दास का चेहरा दिखता है और उनका संदेश सुनने के बाद ही शिक्षकों की हाजिरी बनती है। इसपर शिक्षक संघ भी सवाल उठाने लगा है।

By Rakesh RanjanEdited By: Published: Thu, 23 Sep 2021 05:07 PM (IST)Updated: Thu, 23 Sep 2021 05:07 PM (IST)
झारखंड के स्कूलों के बायोमेट्रिक टैब में अभी भी मुख्यमंत्री रघुवर दास, 20 माह बाद भी स्थिति जस की तस
झारखंड के स्कूलों के बायोमेट्रिक टैब में रघुवर दास।

वेंकटेश्वर राव, जमशेदपुर। झारखंड के सभी सरकारी स्कूलों को आवंटित किए गए बायोमेट्रिक टैब में अभी भी मुख्यमंत्री रघुवर दास ही हैं। हेमंत सरकार के गठन के 20 माह बाद भी सरकार इन टैबों को लेकर कोई निर्णय अब तक नहीं ले पाई है। इस कारण अभी भी तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास का चेहरा टैब ऑन करते ही दिखता है और उनका संदेश सुनने के बाद ही शिक्षकों की हाजिरी बनती है। सरकारी स्कूलों में इन्हीं टैबो से हाजिरी बनाई जाती है।

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पूर्वी सिंहभूम जिला में लगभग 1600 प्राइमरी, मिडिल व उच्च विद्यालयों को ये टैब दो वर्ष पूर्व स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग द्वारा आवंटित किए गए थे। तब शिक्षकों ने इनबिल्ट वीडियो या ऑडियो संदेश का विरोध किया था, लेकिन इस संबंध में उस वक्त भी कोई सुनवाई नहीं हुई। अब तो झारखंड में हेमंत सोरेन मुख्यमंत्री तथा उनकी सरकार है इसके बावजूद इस वीडियो संदेश को हटाने या डिलीट करने को लेकर अब तक कोई आदेश विभाग की ओर से नहीं आया है। स्कूलों में इन टैब के माध्यम से शिक्षकों को हाजिरी बनाने के दौरान ऐसा लगता है कि क्या सरकार है? बच्चों को सामान्य ज्ञान समझाने वाले शिक्षक खुद ही अपनी हाजिरी रघुवर दास का संदेश सुन बनाते हैं।

शिक्षक संघ सरकार पर साध रहे निशाना

शिक्षक संघों ने अब हेमंत सरकार पर ही निशाना साधना शुरू कर दिया है कि अगर तत्कालीन मुख्यमंत्री रघुवर दास के संदेश को हटाने को वर्तमान सरकार गंभीर नहीं है तो फिर हम कुछ नहीं बोल सकते। यह सरकार पर ही सवालिया निशान है। अखिल झारखंड प्राथमिक शिक्षक संघ तथा झारखंड प्राथमिक शिक्षक संघ की प्रदेश कमेटी ने इस और झारखंड सरकार को कई बार ध्यान आकृष्ट कराया, मगर अब तक बात नहीं बनी।

पूर्वी सिंहभूम में खराब टैबों को ठीक करने का आदेश

स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग द्वारा आवंटित टैब में से 60 प्रतिशत टैब खराब हो चुके हैं। अब इन टैबों को फिर से बनाने का आदेश जिला शिक्षा विभाग की ओर से दिया गया है। इन टैबों को बनाने के लिए अधिकृत डीलर के पास जाने से कोटेशन के रूप में शिक्षकों से 300 रुपए की मांग की जा रही है। इसके बाद कोटेशन दिया जा रहा है। एक टैब को ठीक कराने के लिए शिक्षकों को 6 से 8 हजार रुपया का कोटेशन दिया जा रहा है।


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