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नेचुरोपैथी से जिंदगी भर रह सकते निरोग : डॉ. अनिल Jamshedpur News

मानव शरीर खुद रोगों से लडऩे में सक्षम होता है बस विधि का ज्ञान होना चाहिए। संसाधनों से समृद्ध प्रकृति से निकटता के जरिए आप सेहतमंद बने रह सकते हैैं।

By Vikas SrivastavaEdited By: Published: Wed, 12 Feb 2020 10:42 PM (IST)Updated: Wed, 12 Feb 2020 10:48 PM (IST)
नेचुरोपैथी से जिंदगी भर रह सकते निरोग : डॉ. अनिल Jamshedpur News
नेचुरोपैथी से जिंदगी भर रह सकते निरोग : डॉ. अनिल Jamshedpur News

जमशेदपुर (जागरण संवाददाता)। मानव शरीर खुद रोगों से लडऩे में सक्षम होता है बस विधि का ज्ञान होना चाहिए। संसाधनों से समृद्ध प्रकृति से निकटता के जरिए आप सेहतमंद बने रह सकते हैैं।

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उक्त बातें बुधवार को प्राकृतिक चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. अनिल राय ने कहीं। वह दैनिक जागरण के लोकप्रिय कार्यक्रम प्रश्न-प्रहर में उपस्थित होकर लोगों को उनके सवालों का जवाब दे रहे थे। डॉ. अनिल राय ने कहा कि तनाव होने पर एलोपैथी के चिकित्सक भी प्राकृतिक स्थल पर घूमने या बागवानी की सलाह देते हैैं। उन्होंने कहा कि भागदौड़ की जिंदगी में नेचुरोपैथी (प्राकृतिक चिकित्सा) की उपयोगिता बहुत है।

आजकल मोटापा, रक्तचाप, हृदय संबंधित रोग, थायराइड, आर्थराइटिस, मानसिक तनाव, नींद की समस्या में काफी फायदेमंद है। अगर कोई व्यक्ति नेचुरोपैथी की जानकारी लेकर अपने जीवन शैली में सुधार कर ले तो शत-फीसद वह निरोग रह सकता है। नेचुरोपैथी का उपचार के लिए पंच तत्वों आकाश, जल, अग्नि, वायु और पृथ्वी को आधार मानकर चिकित्सा संपन्न की जाती है। डॉ. अनिल राय से लोगों की बातचीत का प्रमुख अंश...।

सवाल : सांस लेने में दिक्कत होती है। मौसम बदलने से परेशानी बढ़ जाती है। श्यामसुंदर शर्मा, जोजोबेड़ा।

जवाब : सुबह में गुनगुना पानी पीएं। इसके बाद थोड़ा टहलिए, इससे पेट में गैस नहीं बनेगा। गुनगुना पानी में पैर को रखिए। इससे कफ निकलेगा। ज्यादा परेशानी हो तो आकर मिले।

सवाल : पेट निकल गया है। इसे कैसे कम किया जा सकता है। सुरेश गुप्ता, सोनारी।

जवाब : दिनचर्या ठीक करें। शाकाहारी व सादा भोजन करें। दिनभर में 1200 कैलोरी से अधिक लेने पर वह हमारे शरीर में जम जाता है। जिससे मोटापा की शिकायतें बढ़ती है।

सवाल : मधुमेह की बीमारी है। क्या करें। विश्वनाथ राम साहू, मानगो।

जवाब : मधुमेह को नियंत्रित रखने के लिए प्रैैंक्रियाज के पास एक सेक दिया जाता है। इससे शरीर के सेल एक्टिव हो जाता है। इसके साथ ही और भी कई विधि द्वारा इलाज किया जाता है।

सवाल : पैदल चलने या फिर वजन उठाने पर सांस फूलने लगता है। लखन गोराई, पटमदा।

जवाब : काली तुलसी में सेंधा नमक व गोलकी डालकर उबाल ले और उसे चाय की तरह पीए। इससे राहत मिलेगी।

सवाल : मुझे आर्थराइटिस की समस्या है। रोहित सिंह, आदित्यपुर।

जवाब : इसका इलाज संभव है। आप आकर मिले।

सवाल : नेचुरोपैथी में कैसे इलाज होता है। मनोज कुमार, बिष्टुपुर।

जवाब : नेचुरोपैथी में दो तरह से इलाज होता है। असाध्य रोग में लंबा इलाज चलता है। जबकि तीव्र रोग (एक्यूट) में कम समय तक दवा खानी होती है।

सवाल : छह साल की बेटी है। उसके पैर की तलवा फट जाता है। बहुत परेशान हैै क्या करें? शिवपूजन ठाकुर, मानगो।

जवाब : शरीर में विटामीन कम होने से इस तरह की परेशानियां होती है। विटामीन बी, सी का सेवन करें। गुनगुना पानी में नमक डालकर पैर को धोएं। नारियल का तेल व कपूर मिलाकर लगाए। मोम का लेप भी नारियल तेल में मिलाकर लगा सकते है।

सवाल : पिताजी को बोलने में परेशानी हो रही है। रुक-रुक कर आवाज निकल रही है। टीके सिंह, बागबेड़ा

जवाब : गर्म पानी में फिटकिरी डालकर कुल्ला करे। कुंजल क्रिया से फायदा होगा।

सवाल : खड़ा होने पर पैर दर्द देता है। आरपी शर्मा, आदित्यपुर।

जवाब : मधुमेह की वजह से भी इस तरह की परेशानी होती है। अगर पार्किंसन बीमारी है तो उसके लिए व्यायाम करना होगा।

सवाल : नाती का शरीर गर्म हो जाता है। दवा खाने से ठीक हो जाता है। साधना चक्रवर्ती, कदमा।

जवाब : बच्चे को पौष्टिक आहार दें। प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने से बीमारियां जल्दी घेर लेती हैं।


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