अब पड़ोसी राज्यों के भी जंगल बचाएंगी लेडी टार्जन, जानिए किसके कहने पर करेंगी यह काम
Jamuna Tudu. लेडी टार्जन अब झारखंड के पड़ोसी राज्यों बिहार ओडिशा और बंगाल में भी जंगल बचाने का अभियान चलाएंगी। पीएम के कहने पर जमुना अब यह कदम उठाने जा रही हैं।
जमशेदपुर, जागरण संवाददाता। पद्म सम्मान प्राप्त करनेवाली लेडी टार्जन जमुना टुडू अब झारखंड के पड़ोसी राज्यों बिहार, ओडिशा और बंगाल में भी जंगल बचाने का अभियान चलाएंगी। इसके लिए वह इन राज्यों में वन बचाओ समिति बनाएंगी। साथ ही झारखंड के अन्य जिलों में भी जंगल बचाओ समिति बनाएंगी। जमुना टुडू से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है वह (जमुना) अब बड़ी जिम्मेदारी निभाएं। झारखंड से बाहर भी काम करें। पीएम के ऐसा कहने पर जमुना अब यह कदम उठाने जा रही हैं।
सम्मान लेकर दिल्ली से लौटीं चाकुलिया के मुटुरखाम गांव निवासी जमुना टुडू दैनिक जागरण के दफ्तर आईं। उन्होंने अपने अभियान को इस मुकाम तक लाने के लिए दैनिक जागरण का शुक्रिया अदा किया। उन्होंने दैनिक जागरण से बातचीत में बताया कि पद्म सम्मान मिलने के बाद वह बेहद खुश हैं। बहुत अच्छा लग रहा है। लेकिन, उन्होंने सम्मान हासिल करने के लिए काम नहीं किया। अपना कर्तव्य निभाया।
पांच महिलाओं संग शुरू किया था अभियान
10 वीं पास जमुना ने बताया कि उनके मायके ओडिशा के रायरंगपुर में पेड़ बेहद कम थे। इसलिए उन्हें पेड़ की कद्र मालूम थी। जब वो ब्याह कर चाकुलिया के मुटुरखाम आईं तो यहां विशाल जंगल देखा। लेकिन, लोग पेड़ काट-काट कर लकड़ी ले जाते थे तो देखा नहीं जाता था। उन्होंने पांच महिलाओं को एकत्र कर जंगल बचाने का अभियान शुरू किया। शुरुआत में लोगों से झगड़े हुए लेकिन, हिम्मत नहीं हारी। नतीजा सामने है।
पेड़-पौधे ही मेरे बेटा व बेटी हैं
एक सवाल के जवाब में जमुना टुडू ने बताया कि उनकी अब तक कोई औलाद नहीं है। लेकिन, इसका गम उन्हें नहीं। पेड़-पौधे ही उनके बेटा-बेटी हैं। अब उम्र इनकी सेवा में ही कट जाएगी।
लेडी टार्जन के साथ मेरा फोटो खींचो
जमुना टूडू ने बताया कि मंच पर किस तरह पद्म सम्मान हासिल करना है इसका रिहर्सल कराया गया था। जब वो मंच पर पहुंचीं तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बड़े गर्मजोशी के साथ हाथ जोड़ कर बोले, इधर आइए। फिर फोटोग्राफर की तरफ इशारा किया और कहा, 'लेडी टार्जनÓ के साथ मेरी फोटो लीजिए।
राम मंदिर कमेटी ने किया जमुना टुडू का अभिनंदन
पद्म सम्मान प्राप्त करने के बाद जमुना टुडू गुरुवार को पहली बार जमशेदपुर पहुंचीं। यहां उन्होंने बिष्टुपुर राम मंदिर में पूजा अर्चना की। इस मौके पर बिष्टुपुर राम मंदिर कमेटी की ओर से जमुना का भव्य अभिनंदन किया गया। उन्हें भगवान बालाजी का स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। इस मौके पर बिष्टुपुर राम मंदिर कमेटी के अध्यक्ष सीएच शंकर राव, शंकर रेड्डी, एम चंद्रशेखर, मनमद राव, पप्पू राव सहित कई सदस्य उपस्थित थे।
झारखंडी परिधान देख सभी हुए मंत्रमुग्ध : जमुना
अभिनंदन के बाद जमुना ने बताया कि पद्म सम्मान लेने के लिए जब वह पेंड़े साड़ी (संतालों की पारंपरिक साड़ी) पहनकर पहुंची तो सभी मंत्रमुग्ध हो गए। जुमना बोलीं-'प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी मेरी तस्वीर ली। यह मेरे लिए और झारखंड के लोगों के लिए सौभाग्य की बात है कि यह सम्मान प्राप्त हुआ। उन्होंने कहा कि यह सम्मान झारखंड वासियों के साथ-साथ जंगल बचाने वाले हर सदस्य को समर्पित है। इस सम्मान से पर्यावरण बचाने वाले सदस्यों का मनोबल बढ़ेगा।