गोपाल मैदान में दिखा झारखंड की समृद्ध संस्कृति, परंपरा व कला का संगम
चारों ओर ढोल-मांदर की थाप पर थिरकते लोगों की टोली टुसू गीतों की धुन पर थिरकती नजर आ रही थीं।
जासं, जमशेदपुर : चारों ओर ढोल-मांदर की थाप पर थिरकते लोगों की टोली, टुसू गीतों की धुन, उत्साह से खिले चेहरे, टुसू प्रतिमा और चौड़लों को निहारती आंखें यह नजारा था बिष्टुपुर स्थित गोपाल मैदान का। मौका था झारखंडवासी एकता मंच द्वारा आयोजित 14वां विशाल टुसू महोत्सव का। झारखंड समेत पश्चिम बंगाल और ओडिशा के सीमावर्ती जिलों से पहुंचे लाखों लोगों का हुजूम मेला की रौनक बढ़ा रहे थे। बूढ़ी गाड़ी नाच, पांता नाच, मुंडारी नाच, घोड़ा नाच, काठी नाच से मेला का उत्साह देखते ही बन रहा था। माथे पर पीतल का गगरा और लोटा लिए महिलाओं का लयबद्ध नृत्य लोगों को बरबस ही अपनी ओर आकर्षित कर रही थी।
कोल्हान के सबसे बड़े मेले के रूप में विख्यात हो चुके बिष्टुपुर का टुसू मेला में झारखंड की समृद्ध कला, परंपरा और संस्कृति का ऐसा संगम दिखा कि यहा पहुंचे लोग आश्चर्यचकित रह गए। मेले में जहा एक से बढ़कर एक टुसू प्रतिमा थी, वहीं गगनचुंबी चौड़ल सबको अपनी ओर आकर्षित कर रही थी। इसके साथ लोग ढोल, नगाड़ा, मांदर सहित अन्य पारंपरिक वाद्य यंत्रों की थाप पर नाचने गाने में मस्त थे। समूचा मैदान मिनी झारखंड बन चुका था। महोत्सव के लिए बनाए गए आकर्षक मंच से झारखंडी गीत-संगीत लोगों को आनंदित कर रहा था।
शहीदों को दी गई श्रद्धाजलि :
महोत्सव का शुभारंभ शहीदों को श्रद्धा सुमन अर्पित कर किया गया। मंच के समीप झारखंड के कई शहीदों की तस्वीर लगाई गई थी, जिसमें रघुनाथ महतो, वीर बिरसा मुंडा, सिदो-कान्हू, शहीद निर्मल महतो, पूर्व सांसद सुनील महतो, पूर्व उप मुख्यमंत्री स्व. सुधीर महतो की तस्वीर थी। महोत्सव में शामिल होने वाले अतिथियों ने तमाम शहीदों को माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किया।
महोत्सव में ये रहे शामिल :
झारखंडवासी एकता मंच के तत्वावधान में आयोजित विशाल टुसू मेला में बतौर मुख्य अतिथि बिहार विधानसभा के पूर्व उप सभापति रहे देवेंद्र चंपिया उपस्थित थे। अन्य अतिथियों में सासद विद्युत वरण महतो, ईचागढ़ के विधायक सविता महतो, बहरागोड़ा के विधायक समीर महंती, जुगसलाई के विधायक मंगल कालिंदी, जमशेदपुर पश्चिम के विधायक बन्ना गुप्ता, पूर्व सांसद शैलेंद्र महतो, पूर्व सांसद आभा महतो, पूर्व सांसद सुमन महतो, मंच के मुख्य संयोजक आस्तिक महतो, फणिंद्र महतो, अरुण बकरेवाल, रोडया सोरेन समेत कई गणमान्य मौजूद थे।
इन्हें मिला पुरस्कार
टुसू प्रतिमा में :- न्यू स्टूडेंट क्लब, टिकिया, मयूरभंग, ओडिशा के मनोज महतो को पहला पुरस्कार 31 हजार,
बड़ा भूमरी, पोटका के विप्लव मंडल को दूसरा 25 हजार, सोसोमोली, राजनगर के प्रभांशु महतो को तीसरा 20 हजार, महावीर क्लब, बहलदा, ओडिशा के अजित कुमार दे को चौथा 15 हजार, चाररी, राजनगर के सुधीर चंद्र महतो को पांचवां 11 हजार, लकड़ाकोचा, चाडिल के मुकेश महतो को छठा सात हजार और उदयडीह, राजनगर के सुनील महतो को सातवां पुरस्कार पांच हजार रुपये दिए गए।
चौड़ल में :- चौड़ल में पहला पुरस्कार जय मां क्लब, कुचियांबा, आड़की, खूंटी के शक्तिधर पुराण को 25 हजार, श्रीश्री मां चौड़ल समिति, आड़की, खूंटी के मादल पुराण को दूसरा पुरस्कार 20 हजार, झारखंड संस्कृति क्लब, सुधीर महतो को तीसरा पुरस्कार 15 हजार, कुचियाबेडा खूंटी के पंचानन पातर को चौथा पुरस्कार 11 हजार और मेघनाथ सिंह, कुइयानी, बोड़ाम को पांचवां पुरस्कार के रूप में नौ हजार रुपये दिए गए।
बूढ़ी गाड़ी नाच :- बामनघाटी जातरा पार्टी के घनश्याम हेम्ब्रम को पहला पुरस्कार 15 हजार, बिदु चंदन रास्का महाल, कांटासोना के रघुनाथ बेसरा को दूसरा 11 हजार, आदिवासी सावता सुसार, मालियांता को तीसरा नौ हजार, दामपाड़ा बाहा रासा क्लब के दुखुराम मुर्मू को चौथा सात हजार और टीकरटांड, बाघमुंडी के सोमचांद बेसरा को पांचवां पुरस्कार पांच हजार रुपये दिए गए।