गुनाहों से दूर रहना है तो पांच वक्त नमाज पढ़ें
जमशेदपुर के ओल्ड पुरुलिया रोड के नजदीक कपाली के अलबेला गार्डन में तबलीगी जमात का तीन दिवसीय इज्तेमा के दूसरे दिन पांच मौलाना ने लोगों को दीन की बातें बताई। इज्तेमा रविवार तक चलेगा। रविवार को सुबह नौ बजे से 11 बजे तक होने वाली इज्तेमाई दुआ के साथ इज्तेमा का समापन होगा।
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : जमशेदपुर के ओल्ड पुरुलिया रोड के नजदीक कपाली के अलबेला गार्डन में तबलीगी जमात का तीन दिवसीय इज्तेमा के दूसरे दिन पांच मौलाना ने लोगों को दीन की बातें बताई। इज्तेमा रविवार तक चलेगा। रविवार को सुबह नौ बजे से 11 बजे तक होने वाली इज्तेमाई दुआ के साथ इज्तेमा का समापन होगा।
इज्तेमा की शुरुआत दोपहर बाद जोहर की नमाज के बाद मौलाना अशफाक की तकरीर से हुई। मौलाना अशफाक ने अपनी तकरीर में मुसलमानों को पैगंबर अकरम की सुन्नत पर अमल करने और नमाज नियमित पढ़ने को कहा। मौलाना ने कहा कि नमाज पढ़ने से इंसान गुनाहों से दूर रहता है। उन्होंने कहा कि नमाज पढ़ने से दिल मजबूत रहता है और अल्लाह पाक से खौफ आता है। इसके अलावा, रमजान में रोजे भी रखना बेहद जरूरी है। नमाज दीन का सुतून है। जो शख्स नमाज नहीं पढ़ता वो दीन से दूर है। उसके दिल से अल्लाह की मोहब्बत दूर हो जाती है। अस्र की नमाज के बाद आसनसोल से आए मौलाना शफी ने तकरीर में कहा कि मुसलमान को तौहीद की रस्सी मजबूती से पकड़नी चाहिए। सभी मजहब का सम्मान भी जरूरी है। इंसान को रोज कुरआन पाक की तिलावत करनी चाहिए। जिस घर में कुरआन पाक की तिलावत होती है वो घर रोशन होता है। अर्श से देखने पर जमीन पर ये मकान चमकते हुए नजर आते हैं। मगरिब की नमाज के बाद मौलाना अल्तमश ने तकरीर की। उन्होंने भी अपनी तकरीर में लोगों से नमाज पढ़ने और रोजा रखने को कहा।
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सुबह की नमाज के बाद उलेमा का जोड़
इज्तेमागाह में सुबह की नमाज के बाद उलेमा का जोड़ हुआ। दिल्ली के निजामुद्दीन की बंग्ले वाली मस्जिद से आए उलेमा के अलावा आसनसोल और पटना से आए उलेमा ने इसमें शिरकत की।
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अस्र के बाद छह जोड़ों का निकाह
इज्तेमागाह में अस्र की नमाज के बाद छह जोड़ों का सामूहिक निकाह हुआ। निकाह मौलाना शफी ने पढ़ाया। चक्रधरपुर के मो. राशिद, मझगांव के मो. अब्दुल करीम, मझगांव के मो. खादिम, जमशेदपुर के शोएब, मो. रजा और मो. इनायत का निकाह हुआ।