Jharkhand Crime: गैंगस्टर सुजीत सिन्हा ने खोला अपने गिरोह का राज, ये रही पूरी जानकारी
गैंगस्टर सुजीत सिन्हा ने जेल से रिमांड पर लेकर हुई पूछताछ में अपने गिरोह का पूरा राज खोल दिया है। उसने कई हत्याकांड रंगदारी के मामले और अंडरवर्ल्ड से जुड़े चौंकाउ खुलासे भी किए।
जमशेदपुर, जासं। Jharkhand crime परसुडीह में रंगदारी व जेल से गिरोह संचालित करने के मामले में रिमांड पर लिए गए गैंगस्टर सुजीत सिन्हा ने अपने गिरोह से जुड़े सारे राज खोल दिए हैं। उसने अंडरवर्ल्ड से जुड़ी कई चौंकाउ जानकारी भी आम किए हैं।
सुजीत ने बताया कि जमशेदपुर के कदमा थाना क्षेत्र में पतरातू के गैंगस्टर किशोर पांडेय, उसके अंगरक्षक बबलू सिंह और एक अन्य की गोली मारकर हत्या 16 अक्टूबर 2014 को की गई थी। इस मामले में भी सुजीत ने कई महत्वपूर्ण जानकारी पुलिस को दी है। उसके अनुसार हत्या को संजय सिंह, विशाल सिंह और सूरज ने अंजाम दिया था। सभी सुशील श्रीवास्तव के लिए काम करते थे। अब हत्या का मुकदमा हजारीबाग के सुशील श्रीवास्तव के खिलाफ किशोर पांडेय की पत्नी की शिकायत पर दर्ज किया गया था।
सुजीत सिन्हा ने कहा लाखों रुपये मिलती रंगदारी
सुजीत सिन्हा ने बताया कि उसने अपनी कारबाइन, दो पिस्तौल चार साल पहले धनबाद के तेतुलमारी निवासी सूरज सिंह को रखने के लिए दी थी। एक कारबाइन व 200 राउंड गोली एक साल पहले बबलू खान के पास से पकड़ी गयी थी। गिरोह के पास स्कार्पियो गाड़ी और 40-50 दोपहिया वाहन हैं, जिन्हें ओएलएक्स से खरीदा गया था। रांची में पकड़े गए गिरोह के साथ इमरान को भी बाइक ओएलक्स से ही खरीद कर दी थी। तुपुदाना बीयर फैक्ट्री के मालिक योगेंद्र तिवारी को 50 लाख रुपये दिए थे। जब भी कॉल करता हूं। चार-पांच लाख पहुंचा जाता है। बताया कि चतरा जिले के शिवपुर साइडिंग में गोली अमन साव ने चलवायी है, जिसमें राजकिशोर सिंह यादव व लखीसराय के विशाल सिंह की संलिप्तता है। सुधीर ने बताया कि मैंने हत्या भी करायी है। पत्नी रिया सिन्हा रांची जेल मे बंद है।
कई कारोबारियों से मांगी रंगदारी
सुजीत सिन्हा ने बताया कि उसके निर्देश पर शिवपुर साइडिंग पर गिरोह के अमन साहू, आशीष साहू, विशाल सिंह, राजकिशोर यादव व अन्य ने गोलियां चलाई। एक पेलोडर मालिक की हत्या कर दी गई। अंबे माइनिंग कंपनी से 50 लाख रुपये रंगदारी एवं प्रति टन 100 रुपये रंगदारी मांगी गई थी। विशाल के नाम से मेरे गिरोह के अमन साहू, आशीष एवं अन्य ने सारे कारोबारियों को फोन किया। वाट्सएप आदि के माध्यम से धमकी दी जा रही है। इसके लिए सिम नंबर 7079480574 के नंबर प्रयोग किए गए। उस पर प्रोफाइल तस्वीर मेरी (सुजीत सिन्हा) की है। इसके लिए कई विदेशी नंबरों एवं अन्य नंबरों का प्रयोग करके भी रंगदारी मांगी जा रही है। जान से मारने की धमकी दी जा रही है। जनवरी में राजेंद्र साहू के नाम से ट्रांसपोर्टर के लिफ्टर अशोक साव की बोलेरो को मेरे कहने पर ही गिरोह के सदस्यों ने जलवाया।
पीएलएफआइ के सदस्य प्रेम गोप ने दिया था मोबाइल सिम
सुजीत बताया कि जिस मोबाइल नंबर 7563828476 का प्रयोग घाघीडीह सेंट्रल जेल में रहकर कर रहा था। वह सिम उसे पीएलएफआइ का सदस्य प्रेम गोप, जो जेल में था। उसने दिया था। इस सिम से वह अपने गुर्गों और कारोबारियों से बात करता था। उसे तोड़कर फेंक दिया गया। जेटू कंपनी का मोबाइल और सैमसंग का छोटा वाला मोबाइल प्रेम गोप ने जेल से छूटने के बाद उपलब्ध कराया था। मोबाइल का पासवर्ड नहीं रहने के कारण मोबाइल नहीं खुला, तो उसको तोड़कर फेंक दिया। दूसरे मोबाइल में आइडिया कंपनी का सिम प्रयोग करने के बाद सिम निकालकर मोबाइल जेल में ही बंदी को दे दिया।
आइपीएल सट्टा के लिए अभिजीत के भाई ने लिए थे पांच लाख
इमरान का परिचय सेंटी उर्फ अभिजीत सिंह मोबाइल संख्या 6205837838 फोन से घटना के पांच-छह दिन पहले कराया था। सेंटी उर्फ अभिजीत सिंह को वह जानता है। उसका भाई बंटी सिंह है, जो तेतुलमारी धनबाद जिला का रहने वाला है। धनबाद जाने के क्रम में उससे परिचय हुआ था। उसने मुझसे आइपीएल में सट््टा लगाने के लिए पांच लाख रुपये लिए थे। इमरान का नाम साहिल मलिक है। सुजीत सिन्हा ने बताया कि जिस सिम का वह इस्तेमाल इमरान की मोबाइल सिम से बातचीत करने में करता था। इमरान के साथ जो दो लड़के थे। उसे वह नहीं जानता। ये सभी ङ्क्षहडाल्को के बीके झा की रेकी कर रहे थे। इस दौरान रांची मेंं इमरान पकड़ा गया।
बीयर फैक्ट्री के मालिक की हत्या से इंकार
सुजीत सिन्हा ने पुलिस को बताया कि अविनाश झा हिंडाल्को और बीयर फैक्ट्री के रमेश सिंह की हत्या की योजना मेरी नहीं थी। कटोटिया माइंस में काम चाहिए था, इसलिए बीके झा की रेकी कराई थी। फोन करके दबाव बना रहा था। कोई रंगदारी नहीं मांगी ताकि काम मिल जाए। संग्रामपुर ङ्क्षरग रोड स्थित जमीन से मेरा कोई लेना-देना नहीं है।